पटना: बिहार की परिवहन मंत्री शीला मंडल (Minister Sheela Mandal) ने कहा है कि डीजल ऑटो (Diesel Auto) चालकों की मांग पर सरकार एक बार फिर से समय बढ़ाने को लेकर विचार कर रही है. 30 सितंबर तक ही पटना में डीजल ऑटो चलाने की अनुमति सरकार ने दी थी. पहले जनवरी में ही डीजल ऑटो पर रोक का फैसला लिया गया था, लेकिन उस समय भी सितंबर तक इसे बढ़ाने का फैसला लिया गया और अब 30 सितंबर के बाद भी डीजल ऑटो चालकों को राहत मिल सकती है.
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''ऑटो चालकों की ओर से आवेदन आया था, जिसे लेकर सरकार गंभीर है. सीएनजी को लेकर कोई परेशानी नहीं है. अब तो राजधानी में बसें भी चलने लगी हैं. अभी सीएनजी के 12 स्टेशन काम कर रहे हैं, इसका लगातार विस्तार किया जा रहा है. कोरोना को देखते हुए डीजल ऑटो चालकों को सरकार राहत देने पर विचार कर रही है.''- शीला मंडल, मंत्री, परिवहन विभाग
डीजल ऑटो चालकों की मांग पर समय बढ़ाने के लिए कैबिनेट में परिवहन विभाग की ओर से इसी महीने प्रस्ताव लाया जाएगा. ऐसी जानकारी मिल रही है कि इसे मार्च तक बढ़ाया जा सकता है. वायु प्रदूषण में कमी लाने के लिए पुराने डीजल ऑटो को 30 सितंबर के बाद पटना की सड़क से हटाने का डेडलाइन लागू किया गया है. ऐसे में ऑटो चालकों की डेडलाइन एक्सटेंशन की मांग पर सरकार विचार कर रही है. कोरोना संक्रमण की वजह से ऑटो चालकों की उम्मीदें अब सरकार से ही लगी है.
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बता दें कि प्रदूषण नियंत्रण पर्षद की एडवाइजरी के मुताबिक डीजल चालित तीन पहिया वाहनों और पुराने पेट्रोल चालित तिपहिया वाहनों के परिचालन से पटना शहर की वायु गुणवत्ता पर प्रतिकूल असर पड़ रहा है. इसे देखते हुए बिहार सरकार (Bihar Government) ने 31 जनवरी 2021 से पटना नगर निगम और 31 मार्च 2021 से दानापुर खगौल और फुलवारी शरीफ नगर परिषद में डीजल चालित ऑटो का परिचालन प्रतिबंध करने का निर्णय लिया था. हालांकि, बाद में इस डेडलाइन को बढ़ाकर 30 सितंबर कर दिया गया था.