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Makar Sankranti Festival 2023: मकर संक्रांति के दिन गंगा स्नान करने पहुंचे श्रद्धालु

बिहार में मकर संक्रांति का पर्व (Makar Sankranti Festival in Bihar) आज काफी धूमधाम से मनाया जा रहा है. यह पर्व हिन्दू धर्म के लोगों के लिए विशेष महत्व रखता है. मकर संक्रांति के दिन सूर्य उत्तरायण होते हैं और मकर राशि में प्रवेश कर जाते हैं, इसलिए इसे मकर संक्रांति के नाम से जाना जाता है. आज के दिन गंगा स्नान का काफी महत्व है. आगे पढ़ें पूरी खबर...

मकर संक्रांति पर्व 2023
मकर संक्रांति पर्व 2023
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Published : Jan 15, 2023, 11:39 AM IST

गंगा घाट पर श्रद्धालुओं की भीड़

पटना: बिहार में आज 15 जनवरी को मकर सक्रांति पर्व (Makar Sankranti Festival) के मौके पर गंगा में स्नान करने के लिए श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ गई है. आज पटना के घाटों पर बिहार के कई हिस्सों से श्रद्धालु गंगा स्नान के लिए आ रहे हैं. माना जाता है मकर सक्रांति के दिन गंगा में स्नान करने से काफी पुण्य की प्राप्ति होती है. पापों का नाश होता है और सभी कष्टों से छुटकारा मिलता है.

पढ़ें-तिलकुट की सौंधी-सौंधी खुशबू से गुलजार हो रहा मसौढ़ी बाजार, मकर संक्रांति पर्व की तैयारियां जोरों पर




15 जनवरी को मकर संक्रांति का त्यौहार: बता दें कि हर साल 14 जनवरी को ही मकर संक्रांति मनाया जाता है लेकिन इस बार 15 जनवरी को मकर सक्रांति मनाया जा रहा है. श्रद्धालुओं का कहना है कि 100 साल में 1 दिन बढ़ता है इसलिए 14 जनवरी को नहीं 15 जनवरी को मनाया जा रहा है. सूर्य ने 14 तारीख के 12:00 बजे रात के बाद मकर में प्रवेश किया है इसलिए 15 जनवरी को मनाया जा रहा है. काफी पुरानी कहावत है कि जिसका उदय होता है उसी का अस्त होता है इसलिए 15 जनवरी को मकर सक्रांति माना जा रहा है.



क्या है गंगा में स्नान का महत्व: श्रद्धालुओं का साफ तौर से कहना है कि गंगा में स्नान करने का काफी महत्व होता है इसलिए आज हम लोग गंगा में स्नान कर रहे हैं. साथ-साथ तिल दान करने का भी बहुत महत्व होता है इसलिए गंगा में स्नान करके हम लोग यहीं पर तिल दान करके पुण्य के भागी बन रहे हैं. वहीं घाट पर मौजूद पंडित जी ने बताया कि आज के दिन गंगा में स्नान करके तिल और गुड़ का दान करने से काफी अच्छा फल मिलता है और लोग पुण्य के भागी होते है.

"सूर्य ने 14 तारीख के 12:00 बजे रात के बाद मकर में प्रवेश किया है इसलिए 15 जनवरी को मकर सक्रांति मनाया जा रहा है. आज के दिन गंगा में स्नान करके तिल और गुड़ का दान करने से काफी अच्छा फल मिलता है और लोग पुण्य के भागी होते है."- पंडित जी

गंगा घाट पर श्रद्धालुओं की भीड़

पटना: बिहार में आज 15 जनवरी को मकर सक्रांति पर्व (Makar Sankranti Festival) के मौके पर गंगा में स्नान करने के लिए श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ गई है. आज पटना के घाटों पर बिहार के कई हिस्सों से श्रद्धालु गंगा स्नान के लिए आ रहे हैं. माना जाता है मकर सक्रांति के दिन गंगा में स्नान करने से काफी पुण्य की प्राप्ति होती है. पापों का नाश होता है और सभी कष्टों से छुटकारा मिलता है.

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15 जनवरी को मकर संक्रांति का त्यौहार: बता दें कि हर साल 14 जनवरी को ही मकर संक्रांति मनाया जाता है लेकिन इस बार 15 जनवरी को मकर सक्रांति मनाया जा रहा है. श्रद्धालुओं का कहना है कि 100 साल में 1 दिन बढ़ता है इसलिए 14 जनवरी को नहीं 15 जनवरी को मनाया जा रहा है. सूर्य ने 14 तारीख के 12:00 बजे रात के बाद मकर में प्रवेश किया है इसलिए 15 जनवरी को मनाया जा रहा है. काफी पुरानी कहावत है कि जिसका उदय होता है उसी का अस्त होता है इसलिए 15 जनवरी को मकर सक्रांति माना जा रहा है.



क्या है गंगा में स्नान का महत्व: श्रद्धालुओं का साफ तौर से कहना है कि गंगा में स्नान करने का काफी महत्व होता है इसलिए आज हम लोग गंगा में स्नान कर रहे हैं. साथ-साथ तिल दान करने का भी बहुत महत्व होता है इसलिए गंगा में स्नान करके हम लोग यहीं पर तिल दान करके पुण्य के भागी बन रहे हैं. वहीं घाट पर मौजूद पंडित जी ने बताया कि आज के दिन गंगा में स्नान करके तिल और गुड़ का दान करने से काफी अच्छा फल मिलता है और लोग पुण्य के भागी होते है.

"सूर्य ने 14 तारीख के 12:00 बजे रात के बाद मकर में प्रवेश किया है इसलिए 15 जनवरी को मकर सक्रांति मनाया जा रहा है. आज के दिन गंगा में स्नान करके तिल और गुड़ का दान करने से काफी अच्छा फल मिलता है और लोग पुण्य के भागी होते है."- पंडित जी

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