पटना: बिहार की राजधानी पटना में रेल पुलिस ने बड़ी कार्रवाई की है. पुलिस ने 6 बाल तस्करों को गिरफ्तार किया है. वहीं, 18 नाबालिग बच्चों को तस्करों से मुक्त कराया है. बताया जा रहा है कि तस्करों द्वारा बच्चों को मजदूरी कराने के लिए बिहार से सूरत ले जाया जा रहा था. इसी दौरान पुलिस ने कार्रवाई करते हुए सभी को गिरफ्तार किया है.
गुवाहाटी उधना एक्सप्रेस से किया गिरफ्तार: मिली जानकारी के अनुसार, पाटलिपुत्र स्टेशन पर गुवाहाटी उधना ट्रेन में आरपीएफ द्वारा छापेमारी की गई. इस दौरान 6 बाल तस्कर को गिरफ्तार किया है. इसके साथ ही 18 बच्चों को उन तस्करों से मुक्त कराया गया है. इस संबंध ने पाटलिपुत्र आरपीएफ प्रभारी ने बताया कि बचपन बचाओ आंदोलन के कर्मियों ने सूचना दी थी की ट्रेन नंबर 05679 गुवाहाटी उधना एक्सप्रेस से कुछ बाल तस्कर नाबालिग बच्चों की तस्करी कर रहे है. जिसके बाद आरपीएफ की टीम ने बचपन बचाओ आंदोलन कर्मियों के साथ मिलकर उक्त ट्रेन में छापेमारी की. जहां बोगी संख्या S1, S2, S3, ST और S6 से 6 बाल तस्कर को दबोचा गया.
"बचपन बचाओ आंदोलन के कर्मियों ने हमे बच्चों की तस्करी होने की सूचना दी थी. जिसपर आरपीएफ और कर्मियों ने मिलकर कार्रवाई करते हुए 6 तस्करों को दबोचा. वहीं, इस दौरान 18 नाबालिग बच्चों को मुक्त भी कराया गया." - शंकर अजय पटेल, पाटलिपुत्र आरपीएफ प्रभारी.
साड़ी फैक्ट्री में काम करने ले जा रहे थे: गिरफ्तार बाल तस्कर की पहचान कटिहार जिले के रहने वाला सिताबुल रहमान, मोहम्मद तनवीर आलम, मोहम्मद फरीद आलम, मोहम्मद मसूद आलम, मोहम्मद इब्राहिम और मोहम्मद अजमल के रूप में हुई है. वहीं, पूछताछ में तस्करों ने बताया कि सभी नाबालिग बच्चों को सूरत के साड़ी फैक्ट्री में काम करने के लिए ले जा रहे थे. इसके एवज में बच्चों के परिजनों को पांच से आठ हजार तक अग्रिम भुगतान किया गया है.
पाटलिपुत्र जीआरपी में मामला दर्ज: बता दें कि पटना में बचपन बचाओ आंदोलन के द्वारा सूचना पर पाटलिपुत्रा आरपीएफ ने गवहाटी उधना एक्सप्रेस ट्रेन में छापेमारी कर 18 बच्चों के साथ 6 तस्कर को पकड़ा हैं. वहीं बचपन बचाओ आंदोलन अधिकारी जितेंद्र कुमार के लिखित आवदेन पर पाटलिपुत्र जीआरपी में मामला दर्ज किया गया है. बाल तस्करों से मुक्त कराए गए बच्चों को चाइल्ड वेलफेयर कमिटी के हवाले कर दिया गया है. वहीं, गिरफ्तार तस्करों को न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है.