पटना: बिहार कैबिनेट का विस्तार (Nitish Cabinet Expansion) होने के साथ ही पूर्व उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी ने नीतीश कैबिनेट में आपराधिक छवि वाले नेताओं की भरमार होने के आरोप लगाए थे. अब एक ताजा मामला ने सरकार की मुसीबत बढ़ा दी है तो बीजेपी को हमला करने का बड़ा मौका दे दिया है. दरअसल बिहार सरकार के कानून मंत्री बिहार के कानून मंत्री कार्तिकेय सिंह (Bihar Law Minister kartikeya singh) के खिलाफ कोर्ट ने वारंट जारी किया हुआ है. इसको लेकर नीतीश सरकार पर बीजेपी ( BJP On Bihar Law Minister) ने हमला किया है तो वहीं राजद (RJD On Bihar Law Minister) ने भी पलटवार करते हुए नई सरकार का बचाव किया है.
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'बिहार का कानून मंत्री अपहरण कांड का भगोड़ा': नीतीश मंत्रिमंडल में 31 मंत्रियों ने शपल ली है. कैबिनेट में दागियों को भी जगह दी गई है. भाजपा लगातार दागियों को लेकर हमलावर है. कानून मंत्री बिहार के कानून मंत्री कार्तिकेय सिंह को जब कोर्ट में हाजिर होना था तब वह कैबिनेट की शपथ ले रहे थे, इस पर बीजेपी ने सरकार पर कई सवाल उठाए हैं. भाजपा प्रवक्ता निखिल आनंद ने कहा कि बिहार में अपराधियों की सरकार है. बिहार का कानून मंत्री अपहरण कांड का भगोड़ा है.नीतीश ने जनादेश का अपमान किया है. बिहार की जनता के मान सम्मान को गिरवी रखने का काम किया है. आने वाले वक्त में बीजेपी इनको इनकी हैसियत बताने का काम भी करेगी.
"बिहार में महागठबंधन सरकार के नए मंत्रिमंडल के गठन के बाद जो नई तस्वीर पेश हो रही है वह वाकई बहुत भयावह है. ऐसे मंत्रिमंडल के हाथों बिहार की जनता के मान- सम्मान को गिरवी कतई नहीं रखा जा सकता. करीब एक दर्जन मंत्री पर आपराधिक और संगीन मामले हैं. हत्या, अपहरण, पॉक्सो एक्ट और फिरोती जैसे कई मामले हैं, यह दुर्भाग्यपूर्ण है. आरजेडी ने जिसे बिहार का कानून मंत्री बनाने का काम किया है जब वह शपथ ले रहे थे ठीक उसी समय उन्हें कोर्ट में पेश होना था. बिहार की जनता के मान सम्मान की ऐसे लोग कभी रक्षा नहीं कर सकते हैं."- निखिल आनंद, भाजपा प्रवक्ता
राजद का बीजेपी पर पलटवार: वहीं राजद ने बीजेपी के आरोपों का जवाब दिया है. राजद प्रवक्ता शक्ति सिंह यादव ने कहा कि जो भी कानून के रास्ते में आएगा उसको माफी नहीं मिल सकती है. हमलोग भाजपा की तरह नहीं है कि अपनो को बचाइये और गैरों को फंसाये. साथ ही राजद नेता ने मीडिया पर भी अपनी भड़ास निकाली.
"भाजपा 95 फीसदी विपक्ष के लोगों को ईडी के रडार पर लेते हैं. कानून मंत्री पर जो आरोप लगा है अगर सत्य साबित नहीं होता है तो आप कार्रवाई के भागी बनेंगे क्या? आरोप लग जाने मात्र से कोई आरोपित हो गया क्या?"- शक्ति सिंह यादव,राजद प्रवक्ता
क्या है पूरा मामला: आपको बता दें कि राजीव रंजन की 2014 में किडनैपिंग हुई थी. इसके बाद कोर्ट ने इस मामले में संज्ञान लिया था. राजीव रंजन की किडनैपिंग मामले में एक आरोपी बिहार के कानून मंत्री बिहार के कानून मंत्री कार्तिकेय सिंह भी हैं. बिहटा थाना में उनके खिलाफ मामला दर्ज है. जिनके खिलाफ कोर्ट ने वारंट जारी किया हुआ है. धारा 164 के तहत बयान में नाम आया है. कार्तिकेय सिंह ने अभी तक ना तो कोर्ट के सामने सरेंडर किया है ना ही जमानत के लिए अर्जी दी है. कल यानी 16 अगस्त को इनको कोर्ट में पेश होना था, लेकिन वो मंत्री पद की शपथ ले रहे थे.
सुशील मोदी ने लगाया था बड़ा आरोप: सुशील मोदी ने नीतीश सरकार पर हमला करते हुए कहा था 'ये वही ललित यादव हैं जिन्होंने दलित ट्रक डाइवर दीनानाथ बैठा के पांव के नाखुन को उखाड़ लिया था. जिसके आरोप में लालू यादव ने उन्हें मंत्रिमंडल से बर्खास्त कर दिया था. सुरेन्द्र यादव पर 9-9 मुकदमें चल रहे हैं. यहां तक कि यौन शोषण से भी जुड़ा एक मुकदमा उनपर चल रहा है. वसूली, आर्म्स एक्ट, किडनैपिंग जैसे मुकदमें सुरेन्द्र यादव पर दर्ज हैं. रामानंद यादव और कार्तिकेय कुमार की भी वही स्थिति है. ये ऐसे नाम हैं, जब वे इलाके में चलते हैं तो लोग उनके नाम से डरते हैं कि ये अनंत सिंह का दाहिना हाथ आ गया, ये सुरेन्द्र यादव आ गया.'
सीएम को मामले की नहीं थी जानकारी: दरअसल 2014 में पटना के राजीव रंजन किडनैपिंग मामले में कानून मंत्री बिहार के कानून मंत्री कार्तिकेय सिंह पर भी मामला दर्ज है. ये मामला बिहटा थाना में उनके खिलाफ दर्ज है. जिनके खिलाफ कोर्ट ने वारंट जारी किया हुआ है, लेकिन बिहार के कानून मंत्री कार्तिकेय सिंह ने अभी तक ना तो कोर्ट के सामने सरेंडर किया है ना ही जमानत के लिए अर्जी दी है. कल यानी 16 अगस्त को इनको कोर्ट में पेश होना था, लेकिन वो मंत्री पद की शपथ ले रहे थे. इसी पर विपक्ष अब सवाल उठाने लगा है, लेकिन बिहार के सीएम नीतीश कुमार को इसकी जानकारी नहीं थी. आपको बता दें कि बिहार के कानून मंत्री कार्तिकेय सिंह बाहुबली नेता अनंत सिंह के निकटतम सहयोगी हैं और उन्हीं की मदद से वह विधान पार्षद बने हैं. बिहार के कानून मंत्री कार्तिकेय सिंह की आपराधिक छवि नीतीश सरकार के लिए गले की फांस बन गई है.