पटना: राजधानी पटना के मसौढ़ी अनुमंडल प्रशासन द्वारा आयोजित पुनपुन मेला का रविवार को समापन हो गया. अपने पूर्वजों की आत्मा की शांति के लिए 17 दिवसीय पिंडदान कार्यक्रम का आयोजन किया गया था. समापन समारोह में मेले को शांतिपूर्वक संपन्न कराने को लेकर सभी प्रशासनिक पदाधिकारियों को सम्मानित किया गया.
पुनपुन खरमास मेला का समापन: पुनपुन अंतरराष्ट्रीय खरमास पोष मेला का समापन एसडीएम प्रीति कुमारी ने किया. इस दौरान एसडीएम ने भूमि सुधार उपसमाहर्ता अमित रंजन पटेल, पुनपुन प्रखंड विकास पदाधिकारी मानेंद्र कुमार सिंह, पुनपुन अंचलाधिकारी, थानाध्यक्ष प्रखंड प्रमुख गुड़िया देवी, पूर्व मुखिया सद्गुरु प्रसाद समेत विभिन्न पदाधिकारी को उनके कार्यों के लिए सम्मानित किया.
पुनपुन अंतरराष्ट्रीय पितृ पक्ष मेले का महत्व?: कहा जाता है कि पुनपुन घाट को पिंडदान का प्रथम द्वारा माना जाता है. जहां कभी भगवान श्रीराम ने अपने पूर्वजों की आत्मा की शांति के लिए पहले पिंड का तर्पण किया था. इसलिए पुनपुन में हर साल अंतरराष्ट्रीय पितृ पक्ष मेला लगता है. जहां बड़ी संख्या में लोग पिंडदान के लिए आते हैं. इस दौरान मसौढ़ी एसडीएम ने पुनपुन की ख्याति को बढ़ाने की बात कही.
"पुनपुन मेला का समापन हो गया है. पुनपुन अंतरराष्ट्रीय पिंडदान स्थल है, जहां कभी भगवान श्री राम ने अपने पूर्वजों की आत्मा की शांति के लिए पिंडदान किया था. इसकी और भी ख्याति बढ़ाने का प्रयास हम सभी लोग कर रहे हैं."- प्रीति कुमारी, एसडीएम, मसौढी
मसौढ़ी प्रशासन ने की थी पितृ पक्ष मेला की तैयारी: दरअसल मेले को लेकर मसौढ़ी प्रशासन की तरफ से बिजली, पानी, सड़क और स्वास्थ्य समेत सभी तैयारी की गई थी. सभी जगहों पर विधि व्यवस्था के संधारण को लेकर पुलिस की तैनाती की गई थी, वहीं बैठक कर मेले के सफल संचालन की रणनीति बनाई गई थी.