नालंदा: उप विकास आयुक्त की तरफ से जिले के मंत्री, सांसद एवं विधायकों के साथ वर्चुअल मीटिंग आयोजित की गई. इस बैठक में कोविड संक्रमण से निपटने के लिए अब तक की गई कार्रवाई एवं वर्तमान में उपलब्ध टेस्टिंग और चिकित्सीय सुविधा के संबंध में विस्तार से जानकारी दी गई. जनप्रतिनिधियों को सैंपल जांच की व्यवस्था के बारे में बताया गया कि लगातार जांच सैंपल की संख्या को बढ़ाया जा रहा है. 6 अगस्त को 1852 सैंपल जांच के लिए लिया गया. प्रत्येक प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर रैपिड एंटीजन टेस्ट की व्यवस्था की गई है.
वहीं, कोविड केयर सेंटर के बारे में बताया गया कि जिले में विम्स पावापुरी के अलावा बीड़ी श्रमिक अस्पताल बिहार शरीफ, विद्या भारती हिलसा एवं अशोका बैंक्वेट सेंटर राजगीर में कोविड केयर सेंटर स्थापित किया गया है. सभी कोविड केयर सेंटर पर ऑक्सीजन सिलेंडर की भी व्यवस्था की गई है. इसके साथ ही डाइट नूरसराय में आइसोलेशन सेंटर स्थापित है. आईटीआई सिलाव, आईटीआई कल्याण बीघा, पॉलिटेक्निक अस्थावां में भी आइसोलेशन सेंटर की व्यवस्था की गई है. इसके साथ ही बीएससी नर्सिंग कॉलेज पावापुरी में 500 बेड क्षमता का आइसोलेशन सेंटर बनाया गया है.
विम्स पावापुरी के अधीक्षक से भी संवाद
इस बैठक में बताया गया कि होम आइसोलेशन में रहने वाले लोगों से काउंसलिंग सेंटर के माध्यम से प्रतिदिन संपर्क किया जा रहा है. इस सेंटर पर चिकित्सक भी मौजूद रहते हैं. जिनके द्वारा भी आवश्यकता अनुसार संबंधित व्यक्ति को आवश्यक चिकित्सीय परामर्श दिया जा रहा है. जिले में वर्तमान में 160 कंटेनमेंट जोन प्रभावी हैं. कंटेनमेंट जोन में सभी लोगों के सैंपलिंग की व्यवस्था की जा रही है. मीटिंग में ऑनलाइन माध्यम से सदर अस्पताल में कार्यरत कोविड केयर हेल्प लाइन सेंटर, बीड़ी श्रमिक अस्पताल, डीआरडीए में संचालित काउंसलिंग सेंटर और विम्स पावापुरी के अधीक्षक से भी संवाद किया गया और व्यवस्था का अवलोकन भी कराया गया. विम्स पावापुरी के अधीक्षक ने अस्पताल में जांच एवं इलाज की पूरी व्यवस्था के बारे में जानकारी दी. मरीजों को दिए जाने वाले भोजन एवं पानी की व्यवस्था के बारे में भी उन्होंने विस्तृत रूप से बताया.
जनप्रतिनिधियों ने दिए सुझाव
बैठक में जनप्रतिनिधियों की तरफ से आवश्यक सुझाव भी दिया गया. जांच की व्यवस्था को प्रखंड स्तर से नीचे पंचायत स्तर तक ले जाने के लिए कार्रवाई करने को कहा गया.
नालंदा के सांसद ने भी पंचायत स्तर पर टेस्टिंग की व्यवस्था की आवश्यकता बताई और जांच रिपोर्ट निर्धारित समय पर प्राप्त कराने का निर्देश दिया. वहीं, इस्लामपुर विधायक ने टेस्टिंग की व्यवस्था को निर्धारित समय सीमा के अनुरूप संचालित करने का निर्देश दिया. प्रखंड में प्रखंड विकास पदाधिकारी, प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी एवं थाना प्रभारी को बेहतर समन्वय के साथ कार्य करने का सुझाव दिया.