नालंदा: जनवरी 2023 को नालंदा ओपेन यूनिवर्सिटी के 15वें दीक्षांत समारोह में बिहार के शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर ने रामचरितमानस को नफरत फैलाने वाला ग्रंथ करार दिया था. इस बयान के बाद चंद्रशेखर पर जमकर हमला किया गया. वहीं एक बार फिर से उनके बयान पर चर्चा हो रही है.
'मर्यादा पुरुषोत्तम मोहम्मद साहब..': हिलसा अनुमंडल क्षेत्र बाबा अभय नाथ धाम सह मानव आश्रम केंद्र परिसर में श्री कृष्ण जन्माष्टमी के मौके पर एक समारोह का आयोजन किया गया था. इस मौके पर बिहार सरकार के शिक्षा मंत्री प्रो.चंद्रशेखर प्रसाद ने कहा कि जब दुनिया में शैतानियत बढ़ गई, ईमान खत्म हो गया, बेईमान और शैतान ज्यादा हो गए तो मध्य एशिया के इलाके में ईश्वर ने ईमान लाने के लिए एक शानदार पुरुषार्थ, मर्यादा पुरुषोत्तम मोहम्मद साहब को धरती पर भेज दिया.
"भगवान का रूप क्या है? मर्यादा पुरुषोत्तम श्री राम जाति व्यवस्था से दुखी थे. इसलिए उन्होंने शबरी के जूठे बेर खाकर दुनियाभर को बड़ा संदेश दिया था. जात-पात, ऊंच- नीच कुछ नहीं है. मुझे ये कहते हुए दुख होता है कि भगवान ने खुद जो आचरण किया उसे अपनाने में हम कमी कर रहे हैं."- चंद्रशेखर, शिक्षा मंत्री, बिहार
सात दिवसीय कार्यक्रम: इस कार्यक्रम के मौके पर कला संस्कृति मंत्री जितेंद्र राय, श्रम संसाधन मंत्री सुरेंद्र राम, सूचना एवं प्रौद्योगिकी मंत्री मो. इसराइल, हिलसा के पूर्व विधायक सह राजद के मुख्य प्रवक्ता अत्रि मुन्नी उर्फ शक्ति सिंह यादव, इस्लामपुर के पूर्व विधायक चंद्रशेन प्रसाद मौजूद थे. सात दिवसीय यह कार्यक्रम श्री कृष्ण चेतना परिषद सह मानव सेवा संस्थान के बैनर तले आयोजित किया गया था.