मुजफ्फरपुर: भारत पेट्रोलियम के निजीकरण के विरोध में पेट्रोलियम कर्मचारियों ने हड़ताल कर दिया है. जिले के सदर थाना क्षेत्र के शेरपुर के भारत पेट्रोलियम के कर्मचारियों ने एक दिवसीय हड़ताल कर भारत सरकार का जमकर विरोध किया. वहीं, मौके पर पेट्रोलियम कर्मचारी संघ के इश्तिखार अली ने बताया कि केंद्र सरकार की ओर से पेट्रोलियम का निजीकरण करना बिल्कुल गलत है.
संसद से मंजूरी की आवश्यकता नहीं
बता दें कि मोदी सरकार ने सार्वजनिक क्षेत्र की पेट्रोलियम कंपनी भारत पेट्रोलियम कॉरपोरेशन लिमिटेड की पूरी हिस्सेदारी बेचने का फैसला लिया है. वहीं, मौके पर प्रदर्शनकारियों ने सरकार पर आरोप लगाया कि सरकार ने कंपनी को राष्ट्रीयकृत बनाने वाले कानून को 2016 में रद्द कर दिया है. जिसके कारण अब कंपनी को बेचने से पहले संसद से मंजूरी लेने की आवश्यकता नहीं है.
कंपनियों का किया गया था राष्ट्रीयकरण
आपको बता दें कि उच्चतम न्यायालय ने सितंबर 2003 में निर्णय दिया था कि बीपीसीएल और हिंदुस्तान पेट्रोलियम कॉरपोरेशन लिमिटेड (एचपीसीएल) का निजीकरण संसद की ओर से कानून के संशोधन के जरिए ही किया जा सकता है. साथ ही संसद में पहले कानून पारित कर दोनों कंपनियों का राष्ट्रीयकरण किया गया था.