मुंगेर: जिले में नक्सलियों के खिलाफ लगातार कॉम्बिंग ऑपरेशन चलाया जा रहा है. इसी दौरान एसटीएफ और जिला पुलिस ने लड़ैयाटांड थाना क्षेत्र से चार अपराधियों को गिरफ्तार किया है. इसमें हथियार तस्कर, नक्सली और नक्सलियों का एजेंट भी शामिल है. अपराधियों के पास से 32 जिंदा कारतूस, 9 एमएम का 1 खोखा और एक अष्टधातू से बनी एक मूर्ति बरामद की गई है. वहीं, डीआईजी मनु महाराज ने लड़ैयाटांड थाना पहुंच कर नक्सलियों से घंटों पूछताछ की. इस दौरान नक्सलियों ने कई अहम खुलासे किए हैं.
DIG ने किया कॉम्बिंग ऑपरेशन का नेतृत्व
डीआईजी मनु महाराज की देख-रेख में लगातार मुंगेर, जमुई और लखीसराय के जंगल व पहाड़ों पर नक्सलियों के खिलाफ सर्च ऑपरेशन चलाया गया. कई दिन और रात में डीआईजी ने कॉम्बिंग ऑपरेशन का नेतृत्व किया है. इसी दौरान एसटीएफ ने लड़ैयाटांड थाना क्षेत्र से चार अपराधियों को गिरफ्तार किया. सभी नक्सली संगठन से जुड़े हुए थे. ये सभी एजेंट के रूप में काम करते थे. इनमें एक मुफस्सिल थाना क्षेत्र का शंकरपुर निवासी हथियार तस्कर 60 वर्षीय सुधीर यादव है. वहीं, लड़ैयाटांड थाना क्षेत्र के घटवारी निवासी दिवाकर साह, गौरेया निवासी इंद्रदेव कोड़ा और तेधरा निवासी मनोज कोड़ा शामिल है.
अपराधियों से हो रही है पूछताछ
डीआईजी ने बताया कि गिरफ्तार अपराधियों में कोई हथियार तस्कर है तो कोई पुराना शातिर नक्सली है. सभी गिरफ्तार अपराधी नक्सली संगठन के एरिया कमांडर अरविंद यादव के लिए काम करते हैं. कोई हथियार सप्लाई करता है तो कोई पुलिस की गुप्त सूचना उस तक पहुंचाता है. लंबे समय से ये सभी एजेंट के तौर पर काम कर रहे हैं. दिवाकर साह पूर्व से ही नक्सली संगठन से जुड़ा हुआ है जो नक्सल गतिविधियों एवं अन्य आपराधिक घटनाओं के आरोप में पहले भी जेल जा चुका है. जबकि सुधीर यादव मुख्य रूप से हथियार तस्कर है जो इन तीनों के माध्यम से अरविंद यादव और नक्सली संगठन के विभिन्न नेताओं को हथियार व कारतूस उपलब्ध कराता है. वह पहले भी हथियार तस्करी के मामले में जेल जा चुका है.
इनका क्या है कहना
मनु महाराज ने बताया कि हाल ही में सुधीर यादव ने दो लाख के हथियार और कारतूस इनलोगों के माध्यम से अरविंद यादव को मुहैया कराए थे. वह लंबे समय से नक्सलियों को हथियार और कारतूस सप्लाई करता था. फिलहाल इन अपराधियों से लगातार पूछताछ की जा रही है.