किशनगंज: हत्या के आरोप में पटना हाई कोर्ट ने जो सजा सुनाई, उसके बाद दोषी ने जो कुछ किया. उसकी आज चारों ओर प्रशंसा हो रही है. पटना हाई कोर्ट ने दोषी को एक महीने तक कोरोना मरीजों की खिदमत करने की सजा सुनाई थी. लिहाजा, दोषी महेश बथना स्थित एमजीएम कोविड अस्पताल में अपनी सेवा दे रहा है. उसकी सेवाभाव देख सिविल सर्जन से लेकर जिला प्रशासन सभी दोषी की तारीफ कर रहे हैं.
फौजदारी मुकदमे के एक आरोपी को पटना उच्च न्यायालय ने कोरोना मरीज की खिदमत करने का आदेश जारी किया था. आरोपी मोहम्मद हसनैन बनाम राज्य सरकार और अन्य के विरुद्ध सुनवाई करते पटना उच्च न्यायालय ने 4 जून को यह आदेश दिया था. मोहम्मद हसनैन जिले के बहादुरगंज के सतविट्टा गांव का रहने वाला है और हत्या के आरोप में बीते 7 महीने से किशनगंज जेल में बंद था. इस आदेश के बाद सिविल सर्जन ने मोहम्मद हसनैन को महेशबथना स्थित कोविड अस्पताल में मरीजों की सेवा में लगा दिया. हसनैन 9 जून से कोरोना मरीजों की सेवा कर रहा है.
सिविल सर्जन ने की तारीफ
सिविल सर्जन डॉक्टर नंदन ने बताया कि मोहम्मद हसनैन को कोरोना मरीजों की सेवा में लगा है. वो कम पढ़ा लिखा है इसीलिए उससे चतुर्थवर्गीय कर्मी का काम लिया जा रहा है. सीएस ने बताया कि 9 जुलाई तक मोहम्मद हसनैन से कोरोना मरीजों की सेवा कराई जाएगी. उन्होंने बताया कि उच्च न्यायालय के आलोक में उन्हें बेल दी गई है कि आप कोरोना मरीजों की किसी अस्पताल में जाकर सेवा करें, इसके बाद किशनगंज जिला में आपकी जमानत कर दी जाएगी.
सिविल सर्जन की मानें, तो हसनैन बढ़िया काम कर रहा है. वो स्वास्थ्य कर्मियों कि मदद करता है, उन्हें किट पहुंचाना, मरीजों को भोजन पहुंचाना जैसे काम कर रहा है. सीएस ने हसनैन का तारीफ करते हुए कहा कि हमने देखा है कि जो किट बगैरा का डिस्पोजल करता है, उसमें भी वह मदद कर रहा है.
माननीय कोर्ट की अच्छी पहल- डीएम
डीएम डॉ. आदित्य प्रकाश ने बताया कि पटना हाई कोर्ट के आदेश के बाद हसनैन अच्छे से काम कर रहा है. दिन-रात वो मरीजों की खिदमत कर रहा है. मरीज उससे खुश हैं. ठीक हो कर जा रहे मरीज हमेशा उसकी प्रशंसा और हौसला हफजाई करते हैं. डीएम ने कहा कि सजा में रिफॉर्मेशन काफी अच्छी पहल है.
कोरोना से नहीं लगता डर, जीतेंगे हम- हसनैन
वहीं, हसनैन ने कोर्ट से मिली सजा के बारे में बताया कि उसके गांव में 1983 से जमीन को लेकर झगड़ा चल रहा था. दूसरे पक्ष में बाप बेटे के बीच मारपीट हुई और बेटे ने गुस्से में दवा खा ली. इसके बाद उसकी मौत हो गई. मृतक के परिजनों ने हम लोगों के ऊपर हत्या का केस लगाया था. मैं 7 महीने से जेल में हूं. उसने बताया कि कोरोना मरीजों की दिल से खिदमत कर रहा है. लोगों की सेवा कर अच्छा लग रहा है. हसनैन ने कहा कि उसे कोरोना से डर नहीं लग रहा है. इससे लड़ना है और जीतना है. अल्लाह से दुआ करना चाहिए कि बीमारी को जल्द से जल्द खत्म करें.