किशनगंज: बिहार बोर्ड की बारहवीं के रिजल्ट में कई ऐसे नाम सामने आये हैं जो भलें ही आर्थिक रूप से कमजाेर हैं लेकिन आज बिहार में उनकी प्रतिभा का शोर है. ऐसा ही एक नाम है मोहम्मद चांद का. मोहम्मद चांद का परिवार उन्हीं परिवारों में से एक है जो किसी तरह से अपना गुजर बसर करता है.
इस परिवार ने शायद ही कभी इस प्रकार के शोहरत की उम्मीद की हो. लेकिन कहते हैं न की जब एक परिवार में एक बच्चा पढ़ लेता है तो उसका वर्तमान और भविष्य दोनों सुधर जाता है.
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पिता हैं ग्रिल मिस्त्री
मोहम्मद चांद ने भी अपने परिवार के लिए इस कथन को सत्य कर दिखाया है. कॉमर्स संकाय में मोहम्मद चांद ने 470 अंक लाकर सूबा का दूसरा टॉपर बना है. उसने परिवार के संग ही जिले का नाम भी रोशन किया है. चांद के पिता पेशे से ग्रिल मिस्त्री हैं. जिनका नाम वसी अहमद है. उनके बेटे ने कड़ी मेहनत और परिश्रम से आज बिहार टॉपर के पिता के रूप में उनकी पहचान को बदला है.
मो चाँद कहते हैं कि उनकी इस उपलब्धि में उनके मां-बाप का अहम योगदान है. जिले के दूसरे टॉपर चांद आगे यूनियन पब्लिक सर्विस कमीशन यानि यूपीएससी तैयारी कर आईएएसस या आईपीएस बनकर देश सेवा करना चाहता है.
'मेरा जीवन काफी अभाव में बीता है. मां-बाप ने अपने भूखे रहकर मुझे खाना खिलाया और पढ़ाया। मोहम्मद चांद, कॉमर्स टॉपर
मां-बाप की खुशी का ठिकाना नहीं
मो. चाँद के पिता वसी अहमद कहते हैं कि बेटे की इस उपलब्धि पर फूले नही समा रहे हैं. उनकी इच्छा है कि बेटा आगे जाकर यूपीएससी पास कर अच्छी नौकरी करे और उसका जीवन खुशी से बीते. वहीं, मो चांद की मां नूरी बेगम कहती हैं कि उनके बेटे की इस उपलब्धि उसकी कड़ी मेहनत का फल है. चांद परीक्षा के दौरान रात-रात भर जगकर पढ़ाई करता था. उस वजह से हर क्लास में अव्वल आता था. वे आगे कहती हैं कि उनकी बस अब एक तमन्ना है कि बेटा आगे खूब पढ़े और जो उसने अपने लिए लक्ष्य सोचा है उसे पूरा करे.