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एक पहल ऐसा भी! 'तुलसी और गंगा की शपथ लेता हूं... मृत्यु भोज में हिस्सा नहीं लूंगा'

मृत्यु भोज को रोकने के लिए युवा शक्ति और देश बचाओ अभियान के संयुक्त तत्वावधान में खगड़िया में जागरुकता सभा का आयोजन किया गया. इस दौरान पौरा पंचायत (Khagaria Paura Panchayat) में मृत्यु भोज का बहिष्कार किया गया. पढ़ें पूरी खबर..

People boycott death banquet in Khagaria
People boycott death banquet in Khagaria
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Published : Dec 30, 2021, 5:01 PM IST

खगड़िया: बिहार के खगड़िया जिले के पौरा पंचायत में सामूहिक निर्णय लेकर अब मृत्यु भोज का बहिष्कार (People Boycott Death Banquet In Khagaria) किया गया है. पंचायत के प्रमुख लोगों ने तुलसी और गंगा की शपथ लेकर मृत्यु भोज के बहिष्कार का निर्णय लिया. इसकी शुरुआत मृतक रामदेव यादव के मरणोपरांत भोज को रोककर किया गया.

यह भी पढ़ें - मांझी का डैमेज कंट्रोल भोजः पूर्व CM बोले- ब्राह्मणों का सम्मान है.. मुझसे कोई नाराज नहीं

पौरा पंचायत में युवा शक्ति और देश बचाओ अभियान के संयुक्त तत्वाधान में मृत्यु भोज रोकने के लिए जागरूकता (Awareness Campaign To Stop Death Banquet) सभा का आयोजन किया गया. जिसकी अध्यक्षता पूर्व सरपंच शिकारी यादव ने किया. सभा में सर्वप्रथम रामदेव यादव के आकस्मिक निधन पर 2 मिनट का मौन रखकर श्रद्धांजलि दी गई और रामदेव बाबू अमर रहे का नारा बुलंद किया गया.

देखें वीडियो

मृत्यु भोज विरोधी जागरूकता सभा को युवा शक्ति के राष्ट्रीय अध्यक्ष नागेंद्र सिंह त्यागी ने कहा कि सभ्य समाज के लिए मृत्यु भोज सामाजिक अभिशाप और कलंक है. वक्ताओं ने कहा कि मृत्यु भोज एक रूढ़ीवादी परंपरा, सामाजिक बुराई और कुरीति है, इसे समूल समाप्त करने की जरूरत है.

समाजसेवियों ने कहा कि आज मृत्यु भोज के कारण परिवार कर्ज के बोझ में दब कर परिवार का विकास अवरुद्ध हो जाता है. लोग सिर्फ ये सोचकर कि लोग क्या कहेंगे और समाज के लोग उसे हीन भावना से देखेंगे के कारण मृत्यु भोज करना विवशता बन जाती है.

नेताओं ने कहा कि मृत्यु भोज के विरुद्ध किसी भी आलोचना का प्रवाह किए बगैर महान समाज सुधारक राजा राममोहन राय के नक्शे कदम पर चलने का संकल्प लेने की जरूरत है. नेताओं ने प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री और जिलाधिकारी से मृत्यु भोज बंद करने को कानूनी दायरे में लाने की मांग की.

यह भी पढ़ें - मिसाल: मां के मृत्यु भोज के बदले गांव में स्कूल बनाने के लिए दान किए 10 लाख रुपये

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खगड़िया: बिहार के खगड़िया जिले के पौरा पंचायत में सामूहिक निर्णय लेकर अब मृत्यु भोज का बहिष्कार (People Boycott Death Banquet In Khagaria) किया गया है. पंचायत के प्रमुख लोगों ने तुलसी और गंगा की शपथ लेकर मृत्यु भोज के बहिष्कार का निर्णय लिया. इसकी शुरुआत मृतक रामदेव यादव के मरणोपरांत भोज को रोककर किया गया.

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पौरा पंचायत में युवा शक्ति और देश बचाओ अभियान के संयुक्त तत्वाधान में मृत्यु भोज रोकने के लिए जागरूकता (Awareness Campaign To Stop Death Banquet) सभा का आयोजन किया गया. जिसकी अध्यक्षता पूर्व सरपंच शिकारी यादव ने किया. सभा में सर्वप्रथम रामदेव यादव के आकस्मिक निधन पर 2 मिनट का मौन रखकर श्रद्धांजलि दी गई और रामदेव बाबू अमर रहे का नारा बुलंद किया गया.

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मृत्यु भोज विरोधी जागरूकता सभा को युवा शक्ति के राष्ट्रीय अध्यक्ष नागेंद्र सिंह त्यागी ने कहा कि सभ्य समाज के लिए मृत्यु भोज सामाजिक अभिशाप और कलंक है. वक्ताओं ने कहा कि मृत्यु भोज एक रूढ़ीवादी परंपरा, सामाजिक बुराई और कुरीति है, इसे समूल समाप्त करने की जरूरत है.

समाजसेवियों ने कहा कि आज मृत्यु भोज के कारण परिवार कर्ज के बोझ में दब कर परिवार का विकास अवरुद्ध हो जाता है. लोग सिर्फ ये सोचकर कि लोग क्या कहेंगे और समाज के लोग उसे हीन भावना से देखेंगे के कारण मृत्यु भोज करना विवशता बन जाती है.

नेताओं ने कहा कि मृत्यु भोज के विरुद्ध किसी भी आलोचना का प्रवाह किए बगैर महान समाज सुधारक राजा राममोहन राय के नक्शे कदम पर चलने का संकल्प लेने की जरूरत है. नेताओं ने प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री और जिलाधिकारी से मृत्यु भोज बंद करने को कानूनी दायरे में लाने की मांग की.

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