कटिहार: भागलपुर के पीरपैंती के मंदार गांव में मिले कोयला भंडार में उत्खनन का कार्य 2026 से शुरू हो जायेगा. खान एवं भूतत्व मंत्री ब्रजकिशोर बिंद ने बताया है कि इसके लिए मास्टर मैप तैयार कर लिया गया है. साथ ही गांव से संबंधित अंचल पदाधिकारी से जमीन मालिकों की सूची भी मांगी गई है.
90 मीटर के बेस में है कोयला
खान एवं भूतत्व मंत्री ब्रजकिशोर बिंद ने ईटीवी भारत से खास बातचीत में बताया कि राज्य में खनन विभाग को भागलपुर के पीरपैंती के समीप कोयला का बड़ा भंडार मिला है. जमीन के अंदर 230 मिलियन टन कोयले का भंडार है और यह 90 मीटर के बेस में है. उसके ऊपर मिट्टी की मोटी परत है.
उच्च कोटि का है कोयला
मंत्री ब्रजकिशोर बिंद ने बताया कि यह उच्च कोटि का एम 12 ग्रेड का कोयला है और इसको लेकर विभाग काफी काम कर चुका है. बिजली घरों में भी इसका उपयोग हो सकता है. उन्होंने बताया कि क्षेत्र के भौतिक स्थिति की भी जांच की जा रही है. कोयले के खनन के बाद कहलगांव एनटीपीसी, फरक्का, बिजली घरों में कम खर्च में बिजली की आपूर्ति होगी.
48 गांवों में जमीन के नीचे मिला है कोयला
बता दें कि पीरपैंती और कहलगांव के करीब 48 गांवों में जमीन के नीचे कोयले का भंडार है. यहां भु-वैज्ञानिकों की टीम ने कोयले की पर्याप्त मात्रा में खनन की बातें कही हैं. उन्होंने बताया कि इस खनन के होने से राज्य के तरक्की में चार चांद लगने की संभावना है.