कैमूर: जिले में बालू माफिया सक्रिय है. एनएचएआई सासाराम क्षेत्र के प्रोजेक्ट डायरेक्टर कर्नल योगेश ने बताया कि जिले में बालू माफियां सक्रिय हैं और स्थानीय पुलिस निष्क्रिय है. उन्होंने बताया कि पत्र जारी कर डीएम और एसपी से बालू माफिया और ओवरलोड वाहनों पर कार्रवाई करने की मांग की गई है. डीएम कार्यालय से सपोर्ट मिल रहा है. लेकिन पुलिस की ओर से बिल्कुल भी मदद नहीं की जा रही है.
ओवरलोड बालू वाहन पर हो रही कार्रवाई
कर्नल योगेश ने बताया कि जब तक पुलिस की ओर से लगातार एक्टिव कार्रवाई नहीं की जाएगी. तब तक समस्या का समाधान नहीं किया जा सकता है. उन्होंने कहा कि आज NH-2 पर 10 किमी जाम है. कल 50 किमी भी हो सकता है. लेकिन एक भी ओवरलोड बालू वाहन को कर्मनाशा स्टील ब्रिज से गुजरने नहीं दिया जाएगा. उन्होंने स्थानीय थाना (दुर्गावती) पर कार्रवाई न करने का आरोप लगाते हुए कहा कि थाना न तो बालू माफियाओं के खिलाफ कार्रवाई करता है. ना ही एनएचएआई के सपोर्ट में रहता है. यहां तक कि एफआईआर दर्ज करने में भी आनाकानी की जाती है.
एनएचएआई ने बनाया स्टील ब्रिज
कर्नल योगेश ने बताया कि प्रोजेक्ट डायरेक्टर होने के नाते अब खुद ओवरलोड वाहनों की जांच करा रहे है और एफआईआर दर्ज कराई जा रही है. उन्होंने कहा कि यदि स्टील ब्रिज से ओवरलोड बालू वाहन गुजरती है, तो पुल क्षतिग्रस्त हो सकता है. ऐसे में बिहार का कनेक्शन पूरे देश से फिर एक बार कट जाएगा. उन्होंने बताया कि बीते 28 दिसंबर 2019 को पुल क्षतिग्रस्त होने के बाद डायवर्सन बनाया गया था. जिसके बाद एनएचएआई ने 55 टन क्षमता जा स्टील ब्रिज बनाया है.
तेज बहाव के कारण तोड़ा गया डायवर्सन
कर्नल योगेश ने बताया कि मुख्य पुल का भी कार्य तेजी से किया जा रहा है. कर्मनाशा नदी में तेज बहाव के कारण डायवर्सन को तोड़ दिया गया है, ताकि स्टील ब्रिज से परिचालन किया जा सके. लेकिन ओवरलोड बालू गाड़ियां से पुल को खतरा है. उन्होंने बताया कि पुल को खोल दिया गया है, ताकि जाम की समस्या कम हो सके. लेकिन किसी भी कीमत पर स्टील ब्रिज से ओवरलोड बालू गाड़ियों को गुजरने नही दिया जाएगा.