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यूक्रेन में फंसा जहानाबाद का अंशुमान, पिता बोले- 'फोन पर बात हुई.. बमबारी की आवाज आ रही थी, चिंता हो रही है'

यूक्रेन में पढ़ाई कर रहे बिहार के छात्रों के परिजनों की चिंता बढ़ गई है. यूक्रेन पर रूस के हमले के बाद से कई छात्रों से उनके परिजन बात नहीं कर पा रहे हैं. इससे उनकी परेशानी बढ़ गई है. जहानाबाद का अंशुमान भी यूक्रेन (Jehanabad Student Anshuman Trapped In Ukraine ) में फंसा हुआ है.

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Published : Feb 25, 2022, 12:58 PM IST

Updated : Feb 25, 2022, 1:15 PM IST

Jehanabad Student Anshuman Trapped In Ukraine
Jehanabad Student Anshuman Trapped In Ukraine

जहानाबाद: रूस और यूक्रेन के बीच युद्ध (Russia Ukraine War) छिड़ गया है. ऐसे में यूक्रेन से भारतीय छात्र लगातार वापस अपने वतन लौट रहे हैं. वहीं जहानाबाद (Bihari Students In Ukraine) शहर के नगर थाना क्षेत्र के कृष्ण पुरी मोहल्ला का रहने वाला अंशुमान भी यूक्रेन और रूस के बीच चल रहे युद्ध में फंस गया है. अंशुमान का पूरा परिवार सदमे में डूबा है और माता पिता ने भारत सरकार और बिहार सरकार से मदद की गुहार लगाई है.

पढ़ेंः यूक्रेन में फंसे बच्चों के पैरेंट्स बोले- हम दो लाख रुपये फ्लाइट का किराया नहीं दे सकते, उन्हें बचा लीजिए सरकार

अंशुमान (Jehanabad Students In Ukraine) 2018 में एमबीबीएस की पढ़ाई करने के लिए यूक्रेन गया था. अब जब दो देशों के बीच युद्ध छिड़ गया है तो ऐसा लग रहा है कि जान बचाना भी मुश्किल हो गया है. अंशुमान के पिता अमरेंद्र कुमार ने बताया कि, लगभग 4 वर्षों से वह यूक्रेन में ही रह कर एमबीबीएस की पढ़ाई किया करता था. लॉकडाउन रहने की वजह से पिछले वर्ष वह जहानाबाद आया हुआ था पर जब लॉकडाउन समाप्त हुआ तो वह 9 फरवरी को बाकी की पढ़ाई करने के लिए यूक्रेन वापस चला गया था.

पढ़ें- यूक्रेन से वापस लौटा गया का छात्र उत्कर्ष राज, कहा- नहीं मिली भारतीय दूतावास से कोई सहायता

अंशुमान के पिता अमरेंद्र कुमार ने बताया कि, बीती रात 9:10 बजे अंशुमान से बात हुई थी. वह काफी घबराया हुआ था और फोन पर बमबारी की आवाज आ रही थी. उसके बाद से उससे कोई संपर्क नहीं हो पा रहा है. अंशुमान के माता पिता ने भारत सरकार से मदद की गुहार लगाते हुए कहा कि, जल्द से जल्द मेरे बेटे को सुरक्षित अपने देश भारत लाने में मदद करें. हम लोग की चिंता दिन-ब-दिन बढ़ती जा रही है. ऐसी स्थिति में जो भी भारत के बच्चे वहां पढ़ रहे हैं उन तमाम बच्चों को अपने देश वापस लाया जाए.

पढ़ें: बेटा डरा हुआ है.. यूक्रेन में एंबेसी भी नहीं दे रही साथ, सरकार मदद करेंः PM और CM से माता पिता की गुहार

अंशुमान ही नहीं बल्कि जहानाबाद के कई लोग यूक्रेन में फंसे हुए हैं. जिले के घोसी थाना क्षेत्र के बभनपुरा गांव निवासी सुनील शर्मा की पुत्री बबीता कुमारी भी एमबीबीएस की पढ़ाई करने के लिए रूस गई थी. अचानक युद्ध होने के कारण वह भी यूक्रेन के इवानो शहर में फंसी हुई है. इसके माता-पिता दमन में नौकरी करते हैं. यूक्रेन में बिगड़ते हालातों से माता-पिता के भी हालत काफी नाजुक है. इन लोगों ने भी राज्य एवं केंद्र सरकार से अपनी पुत्री को सुरक्षित वापस लाने की अपील की है.

पढ़ें - यूक्रेन से करीब 240 भारतीयों को लेकर एअर इंडिया का विमान पहुंचा दिल्ली

बता दें कि यूक्रेन में करीब 20 हजार भारतीयों से फंसे होने की खबरें हैं. रूसी हमले के बाद यूक्रेन से विमान सेवाएं बंद कर दी गई हैं. ऐसे में वहां रह रहे भारतीय नागरिकों को भारत के दूतावास ने दिलासा दिया है. दूतावास ने कहा कि कोई भी भारतीय व्याकुल न हों, वे जहां भी हैं, सुरक्षित रहें. दूतावास वैकल्पिक व्यवस्था पर विचार कर रहा है.

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जहानाबाद: रूस और यूक्रेन के बीच युद्ध (Russia Ukraine War) छिड़ गया है. ऐसे में यूक्रेन से भारतीय छात्र लगातार वापस अपने वतन लौट रहे हैं. वहीं जहानाबाद (Bihari Students In Ukraine) शहर के नगर थाना क्षेत्र के कृष्ण पुरी मोहल्ला का रहने वाला अंशुमान भी यूक्रेन और रूस के बीच चल रहे युद्ध में फंस गया है. अंशुमान का पूरा परिवार सदमे में डूबा है और माता पिता ने भारत सरकार और बिहार सरकार से मदद की गुहार लगाई है.

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अंशुमान (Jehanabad Students In Ukraine) 2018 में एमबीबीएस की पढ़ाई करने के लिए यूक्रेन गया था. अब जब दो देशों के बीच युद्ध छिड़ गया है तो ऐसा लग रहा है कि जान बचाना भी मुश्किल हो गया है. अंशुमान के पिता अमरेंद्र कुमार ने बताया कि, लगभग 4 वर्षों से वह यूक्रेन में ही रह कर एमबीबीएस की पढ़ाई किया करता था. लॉकडाउन रहने की वजह से पिछले वर्ष वह जहानाबाद आया हुआ था पर जब लॉकडाउन समाप्त हुआ तो वह 9 फरवरी को बाकी की पढ़ाई करने के लिए यूक्रेन वापस चला गया था.

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अंशुमान के पिता अमरेंद्र कुमार ने बताया कि, बीती रात 9:10 बजे अंशुमान से बात हुई थी. वह काफी घबराया हुआ था और फोन पर बमबारी की आवाज आ रही थी. उसके बाद से उससे कोई संपर्क नहीं हो पा रहा है. अंशुमान के माता पिता ने भारत सरकार से मदद की गुहार लगाते हुए कहा कि, जल्द से जल्द मेरे बेटे को सुरक्षित अपने देश भारत लाने में मदद करें. हम लोग की चिंता दिन-ब-दिन बढ़ती जा रही है. ऐसी स्थिति में जो भी भारत के बच्चे वहां पढ़ रहे हैं उन तमाम बच्चों को अपने देश वापस लाया जाए.

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अंशुमान ही नहीं बल्कि जहानाबाद के कई लोग यूक्रेन में फंसे हुए हैं. जिले के घोसी थाना क्षेत्र के बभनपुरा गांव निवासी सुनील शर्मा की पुत्री बबीता कुमारी भी एमबीबीएस की पढ़ाई करने के लिए रूस गई थी. अचानक युद्ध होने के कारण वह भी यूक्रेन के इवानो शहर में फंसी हुई है. इसके माता-पिता दमन में नौकरी करते हैं. यूक्रेन में बिगड़ते हालातों से माता-पिता के भी हालत काफी नाजुक है. इन लोगों ने भी राज्य एवं केंद्र सरकार से अपनी पुत्री को सुरक्षित वापस लाने की अपील की है.

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बता दें कि यूक्रेन में करीब 20 हजार भारतीयों से फंसे होने की खबरें हैं. रूसी हमले के बाद यूक्रेन से विमान सेवाएं बंद कर दी गई हैं. ऐसे में वहां रह रहे भारतीय नागरिकों को भारत के दूतावास ने दिलासा दिया है. दूतावास ने कहा कि कोई भी भारतीय व्याकुल न हों, वे जहां भी हैं, सुरक्षित रहें. दूतावास वैकल्पिक व्यवस्था पर विचार कर रहा है.

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Last Updated : Feb 25, 2022, 1:15 PM IST
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