ETV Bharat / state

जमुईः जब उजड़ा आशियाना तो 'जलमीनार' बना नया ठिकाना

गिद्धौर प्रखंड के गंगरा पंचायत के वार्ड नंबर तीन निवासी मो. कासिम का फूस का घर आंधी में पूरी तरह तबाह हो गया. अब वह परिवार के साथ नल जल योजना के तहत बन रहे जल मीनार के निचले तले के कमरे में रहने को मजबूर हैं.

जमुई
जमुई
author img

By

Published : Jun 17, 2020, 9:14 PM IST

Updated : Jun 18, 2020, 10:35 PM IST

जमुईः जिले में एक गरीब परिवार नल जल योजना के तहत बनाए जा रहे जल मीनार के भूमि तल के कमरे में रहने को मजबूर हैं. जिसमें दरवाजा तक नहीं है. परिवार में महिला और बच्चे भी शामिल हैं. ऐसे में परिवार सिर पर छत के लिए संघर्ष कर रहा है, लेकिन संबंधित अधिकारी सुध नहीं ले रहे हैं.

जमुई
आंधी ने उजाड़ दिया मो. कासिक का घर

नहीं हो रही पीड़ित की सुनवाई
दरअसल, 28 मई को आई तेज आधी ने गिद्धौर प्रखंड के गंगरा पंचायत के वार्ड नंबर तीन निवासी मो. कासिम के फूस के घर को पूरी तरह तबाह कर दिया था. जिसके बाद वे पत्नी और बच्चों के साथ सड़क पर आ गए. उन्होंने कई बार प्रखंड कार्यालय और स्थानीय जनप्रिनिधियों से मदद की गुहार लगाई. लेकिन कहीं भी उनकी सुनवाई नहीं हुई. अंत में कासिम का परिवार गांव में नल जल योजना के तहत बन रहे जल मीनार के भूमि तल के कमरे में शरण लिया, जिसमें दरवाजा तक नहीं है.

पेश है रिपोर्ट

डर के साए में जीने को मजबूर
पीड़ित मो. कासिम ने बताया कि कई बार प्रखंड स्तर के अधिकारी और स्थानीय जनप्रतिनिधियों से मिला. लेकिन कोई सुध लेने को तैयार नहीं है. कोई उपाय ना होता देख जल मीनार में रहने का फैसला लेना पड़ा. इसमें दरवाजा तक नहीं है. ऐसे में दिन-रात डर के साए में बीत रहा है. इस संबंध में बीडीओ से बात करने की कोशिश की गई तो उन्होंने बात करने से इंकार कर दिया.

जमुईः जिले में एक गरीब परिवार नल जल योजना के तहत बनाए जा रहे जल मीनार के भूमि तल के कमरे में रहने को मजबूर हैं. जिसमें दरवाजा तक नहीं है. परिवार में महिला और बच्चे भी शामिल हैं. ऐसे में परिवार सिर पर छत के लिए संघर्ष कर रहा है, लेकिन संबंधित अधिकारी सुध नहीं ले रहे हैं.

जमुई
आंधी ने उजाड़ दिया मो. कासिक का घर

नहीं हो रही पीड़ित की सुनवाई
दरअसल, 28 मई को आई तेज आधी ने गिद्धौर प्रखंड के गंगरा पंचायत के वार्ड नंबर तीन निवासी मो. कासिम के फूस के घर को पूरी तरह तबाह कर दिया था. जिसके बाद वे पत्नी और बच्चों के साथ सड़क पर आ गए. उन्होंने कई बार प्रखंड कार्यालय और स्थानीय जनप्रिनिधियों से मदद की गुहार लगाई. लेकिन कहीं भी उनकी सुनवाई नहीं हुई. अंत में कासिम का परिवार गांव में नल जल योजना के तहत बन रहे जल मीनार के भूमि तल के कमरे में शरण लिया, जिसमें दरवाजा तक नहीं है.

पेश है रिपोर्ट

डर के साए में जीने को मजबूर
पीड़ित मो. कासिम ने बताया कि कई बार प्रखंड स्तर के अधिकारी और स्थानीय जनप्रतिनिधियों से मिला. लेकिन कोई सुध लेने को तैयार नहीं है. कोई उपाय ना होता देख जल मीनार में रहने का फैसला लेना पड़ा. इसमें दरवाजा तक नहीं है. ऐसे में दिन-रात डर के साए में बीत रहा है. इस संबंध में बीडीओ से बात करने की कोशिश की गई तो उन्होंने बात करने से इंकार कर दिया.

Last Updated : Jun 18, 2020, 10:35 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.