गोपालगंज: कुचायकोट प्रखण्ड के करमैनी गांजी गांव के पास बंद हो रहे ढाला के खिलाफ लोगों ने प्रदर्शन किया. इस दौरान सैकड़ों की संख्या ग्रामीणों ने 12 नंबर ढाला पर एकत्रित होकर अपनी नाराजगी जाहिर की. मौके पर पहुंचे बनारस रेल मंडल के अधिकारियों ने आक्रोशित लोगों को समझाने की कोशिश की, लेकिन ग्रामीण अपनी मांगों पर अड़े रहे.
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12 नंबर रेल ढाला को बंद करने का निर्णय
दरअसल, बनारस रेल मंडल के करमैनी गांव के पास स्थित 12 नम्बर रेल ढाला को बंद करने के लिए निर्णय लिया गया है. लेकिन इस निर्णय का ग्रामीणों द्वारा विरोध किया जा रहा है. ग्रामीणों का कहना है कि 12 नम्बर ढाला से 50 गांवों के लोग कुचायकोट बाजार, कुचायकोट प्रखण्ड, कुचायकोट थाना और NH-27 होते हुए गोपालगंज एवं उत्तर प्रदेश के तरफ आते-जाते हैं.
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क्या है मामला?
16 नम्बर ढाला बंद होने के कारण जलालपुर बाजार और गांव के लोग भी 12 नंम्बर ढाला से ही आते-जाते हैं. जबकि 13 नम्बर ढाला का रास्ता सिर्फ एक गांव को जोड़ता है. ढाला से रास्ता की दूरी लगभग 200 मीटर ही है. उसके बाद रास्ता बंद है. 12 नम्बर ढाला से गिट्टी, बालू का ट्रक और आवश्यकता का अन्य सामान भी आता जाता है. 12 नम्बर ढाला के चारों तरफ काफी जगह भी है. बड़ी-बड़ी गाड़िया भी आती है. साथ ही इस ढाला को बंद हो जाने के कारण 8 किलोमीटर का सफर तय करना पड़ेगा. सबसे ज्यादा परेशानी स्कूल जाने वाले बच्चों को होगी. 12 नंबर ढाला को चालू रखने से आम जतना को काफी सुविधा मिलेगी. बावजूद इस ढाला को बंद किया जा रहा है. जिसके खिलाफ लोगों ने प्रदर्शन किया.