गया: बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी (jitan ram manjhi) पिछले कई दिनों से केंद्र सरकार और भाजपा से ट्वीट कर सवाल पूछ रहे हैं. शनिवार को गया के पूर्व सांसद सह भाजपा नेता हरि मांझी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर जीतनराम मांझी द्वारा दिए गए बयान पर कहा कि पूर्व सीएम अपनी मर्जी से नहीं किसी के कहने पर बोलते या ट्वीट करते हैं. अब वो डाकिया की भूमिका में आ गए हैं.
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हरि मांझी ने कहा, "जीतनराम मांझी ने कोरोना वैक्सीनेशन के प्रमाण पत्र पर नरेंद्र मोदी की फोटो पर कटाक्ष किया था. यह बात उन्होंने नहीं बोला, बल्कि उनसे बुलवाया गया था. आजकल डाकिया वाला काम कर रहे हैं. जीतनराम मांझी का मांझी समाज में कोई जनाधार नहीं है. एनडीए इन्हें बड़ा नेता मान ले, लेकिन जनता इनको नेता नहीं मानती है. 40 साल ये बड़े पद पर रहे, लेकिन किसी मांझी का भला नहीं किया. आजतक किसी मांझी के विवाह समारोह में गए हैं क्या? ये सिर्फ बड़े घरों की पार्टी में लाव- लश्कर के साथ जाते हैं."
सिर्फ फायदे की राजनीति करते हैं जीतनराम
"जीतनराम मांझी के एनडीए में आने से एनडीए को कोई फायदा नहीं हुआ. जीतनराम के परिवार को फायदा हुआ है. इनका बेटा मंत्री बन गया. समधन विधायक बन गईं. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने इनको सीएम की कुर्सी दी तब भी उनके नहीं हुए. ये किसी के नहीं होंगे. एनडीए में आज हैं कल इनको राजद से मुख्यमंत्री या डिप्टी सीएम का ऑफर आएगा तो तुरंत चल जाएंगे. ये बस अपने फायदे की राजनीति करते हैं."- हरि मांझी, भाजपा नेता
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