मोतिहारी: बाढ़ राहत कार्य को लेकर भाजपा नेताओं ने अपने ही सरकार के अधिकारियों के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. बाढ़ सहायता संघर्ष समिति के बैनर तले सदर प्रखंड के बाढ़ प्रभावित कई पंचायतों के लोगों ने अंचलाधिकारी के कार्यालय का घेराव किया. इस दौरान आक्रोशित बाढ़ प्रभावित लोगों ने कार्यालय में तालाबंदी की और वहीं धरने पर बैठ गए. लोगों के आक्रोश को देख अंचलाधिकारी कार्यालय से निकल गए.
बिना निरीक्षण के बनी बाढ़ प्रभावित क्षेत्र की सूची
आक्रोशित लोगों का कहना है कि अंचलाधिकारी ने क्षेत्र का निरीक्षण किए बिना ही कार्यालय में बैठकर बाढ़ प्रभावित क्षेत्र की सूची बना दी. इस कारण सदर प्रखंड के लगभग चालीस हजार लोग बाढ़ राहत से वंचित हो गए हैं. लोगों ने बताया कि अगर बाढ़ प्रभावित क्षेत्र की सूची में उनके पंचायत और गांव को शामिल नहीं किया गया तो अगली बार डीएम कार्यालय का घेराव किया जाएगा.
पूर्ण रूप से बाढ़ प्रभावित क्षेत्र घोषित करने की मांग
दरअसल, जिला प्रशासन ने सदर प्रखंड के सिर्फ एक पंचायत को पूर्ण रूप से बाढ़ प्रभावित और आठ पंचायत को आंशिक रुप से बाढ़ प्रभावित क्षेत्र घोषित किया. लेकिन जब सूबे के कला संस्कृति व युवा विभाग के मंत्री प्रमोद कुमार ने अपने विधानसभा क्षेत्र के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का दौरा किया तो उन्होंने सदर प्रखंड के नौ पंचायतों को पूर्ण रुप से बाढ़ प्रभावित क्षेत्र बताया. उन्होंने जिला प्रशासन से आग्रह किया कि सभी पंचायतों को पूर्ण रूप से बाढ़ प्रभावित क्षेत्र घोषित किया जाए. लेकिन जिला प्रशासन ने मंत्री के आग्रह को नहीं माना. इसी कारण से सदर प्रखंड के बाढ़ प्रभावित लोग बुधवार को भाजपा नेताओं के नेतृत्व में अंचल कार्यालय पहुंचे और जमकर प्रदर्शन किया.