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दरभंगा: किसानों की मांगों के समर्थन में जिला किसान काउंसिल ने दिया धरना

दरभंगा में जिला किसान काउंसिल के सदस्यों ने अपनी विभिन्न मांगों को लेकर एकदिवसीय धरना दिया. साथ ही उन्होंने सरकार से मनरेगा की मजदूरी बढ़ाने की मांग की.

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Published : May 27, 2020, 5:24 PM IST

Updated : May 29, 2020, 10:25 AM IST

दरभंगा: किसान संघर्ष समन्वय समिति के देशव्यापी आह्वान पर दरभंगा जिला किसान काउंसिल की ओर से समाहरणालय स्थित धरना स्थल पर एकदिवसीय धरना दिया गया. इसके माध्यम से प्रदर्शन कर रहे आंदोलनकारियों ने किसानों की संपूर्ण कर्ज माफी, सभी फसलों की खरीद की गारंटी, डीजल कीमत 20 रुपये प्रति लीटर करने, बिजली बिलों को माफ करने, प्राकृतिक आपदा और लॉकडाउन के दौरान बर्बाद फसलों का मुआवजा सहित अन्य मांगों के समर्थन में अपनी आवाज को बुलंद किया.

फसलों का नहीं मिल रहा है उचित मूल्य
वहीं, किसान काउंसिल के जिला सचिव श्याम भारती ने कहा कि किसानों को फसलों की उचित कीमत नहीं मिल रही है. जिससे किसानों के सामने गंभीर संकट उत्पन्न हो गई है. वित्त मंत्री की तरफ से 20 लाख करोड़ के पैकेज में बर्बाद फसलों की मुआवजा, किसानों की कर्ज माफी, अगली खेती के लिए किसानों को खाद, बीज, सिंचाई और किसानों की फसल की कीमत के संबंध में पैकेज में किसी प्रकार की कई चर्चा नहीं की गई. इसके चलते पूरे राज्य में मक्का किसान ओने पौने-दामों पर मक्का की बिक्री कर रहे हैं.

पेश है एक रिपोर्ट

मनरेगा मजदूरी को बढ़ाने की मांग
वहीं, श्याम भारती ने कहा कि लॉकडाउन के कारण बड़ी संख्या में मजदूरों को काम नहीं मिल रहा है. काम नहीं मिलने के कारण मजदूरों के सामने कई परेशानियां उत्पन्न हो गई हैं. सरकार ने मनरेगा योजना से मजदूरों को काम देने की घोषणा की है. मनरेगा से कृषि को जोड़कर मजदूरों को ज्यादा से ज्यादा काम दिया जा सकता है, जिससे ग्रामीण अर्थव्यवस्था में सुधार हो सकता है. वहीं, उन्होंने सरकार से मनरेगा मजदूरी को 202 रुपये से बढ़ाकर 500 रुपये करने की मांग की है.

दरभंगा: किसान संघर्ष समन्वय समिति के देशव्यापी आह्वान पर दरभंगा जिला किसान काउंसिल की ओर से समाहरणालय स्थित धरना स्थल पर एकदिवसीय धरना दिया गया. इसके माध्यम से प्रदर्शन कर रहे आंदोलनकारियों ने किसानों की संपूर्ण कर्ज माफी, सभी फसलों की खरीद की गारंटी, डीजल कीमत 20 रुपये प्रति लीटर करने, बिजली बिलों को माफ करने, प्राकृतिक आपदा और लॉकडाउन के दौरान बर्बाद फसलों का मुआवजा सहित अन्य मांगों के समर्थन में अपनी आवाज को बुलंद किया.

फसलों का नहीं मिल रहा है उचित मूल्य
वहीं, किसान काउंसिल के जिला सचिव श्याम भारती ने कहा कि किसानों को फसलों की उचित कीमत नहीं मिल रही है. जिससे किसानों के सामने गंभीर संकट उत्पन्न हो गई है. वित्त मंत्री की तरफ से 20 लाख करोड़ के पैकेज में बर्बाद फसलों की मुआवजा, किसानों की कर्ज माफी, अगली खेती के लिए किसानों को खाद, बीज, सिंचाई और किसानों की फसल की कीमत के संबंध में पैकेज में किसी प्रकार की कई चर्चा नहीं की गई. इसके चलते पूरे राज्य में मक्का किसान ओने पौने-दामों पर मक्का की बिक्री कर रहे हैं.

पेश है एक रिपोर्ट

मनरेगा मजदूरी को बढ़ाने की मांग
वहीं, श्याम भारती ने कहा कि लॉकडाउन के कारण बड़ी संख्या में मजदूरों को काम नहीं मिल रहा है. काम नहीं मिलने के कारण मजदूरों के सामने कई परेशानियां उत्पन्न हो गई हैं. सरकार ने मनरेगा योजना से मजदूरों को काम देने की घोषणा की है. मनरेगा से कृषि को जोड़कर मजदूरों को ज्यादा से ज्यादा काम दिया जा सकता है, जिससे ग्रामीण अर्थव्यवस्था में सुधार हो सकता है. वहीं, उन्होंने सरकार से मनरेगा मजदूरी को 202 रुपये से बढ़ाकर 500 रुपये करने की मांग की है.

Last Updated : May 29, 2020, 10:25 AM IST
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