बक्सरः केंद्रीय स्वास्थ्य राज्यमंत्री अश्वनी कुमार चौबे के संसदीय क्षेत्र बक्सर के सदर अस्पताल में एक शराबी को बचाने का मामला उजागर हुआ है. 4 दिन बाद इस बात के दस्तावेज ईटीवी भारत के हाथ लग गए. इसके बाद आनन फानन में बिना हस्ताक्षर के मशीन खराब होने का एक पत्र जारी कर दिया गया.
रसूखदार शराबी को बचाने की कोशिश
दरअसल, 11 जनवरी को नगर थाना ने शराब पीने के आरोप में एक रसूखदार व्यक्ति को गिरफ्तार किया था. गिरफ्तारी के बाद नगर थाना पुलिस उसे अल्कोहल जांच कराने के लिए सदर अस्पताल लाई. जहां ड्यूटी में तैनात स्वास्थ्य कर्मी उस रसूखदार व्यक्ति को बचाने में लग गए. स्वास्थ्यकर्मियों ने ब्रेथ एनालाइजर मशीन खराब होने की बात रजिस्टर में दर्ज कर दी.
जांच के बाद व्यक्ति को भेजा गया जेल
वहीं, आनन-फानन में नगर थाना कर्मियों के जरिए दूसरे ब्रेथ एनालाइजर मशीन की व्यवस्था की गई, जिसमें अल्कोहल पीने की पुष्टि हुई और उस रसूखदार व्यक्ति को जेल भेज दिया गया. हैरान करने वाली बात यह है कि जिस ब्रेथ एनालाइजर मशीन के खराब होने की बात कही गई थी, उसी ब्रेथ एनालाइजर मशीन से कुछ ही देर बाद 4 व्यक्तियों का शराब पीने की पुष्टि कर दी गई.
अस्पताल प्रशासन को नहीं थी जानकारी
4 दिनों तक मशीन खराब होने की जानकारी ना तो अस्पताल प्रशासन को थी और ना ही उत्पाद विभाग को. इस मामले से जुड़े दस्तावेज जैसे ही हमारे संवाददाता के हाथ लगे, आनन-फानन में अस्पताल कर्मियों ने 4 दिन बाद ब्रेथ एनालाइजर मशीन खराब होने का एक पत्र जारी कर दिया, जिस पर ना तो किसी का हस्ताक्षर था और ना ही कोई तारीख.
मामले की कराई जाएगी जांच
इस मामले को लेकर जब उत्पाद विभाग के इंस्पेक्टर सुदेश्वर लाल से पूछा गया तो उन्होंने बताया कि सदर अस्पताल को कहा गया था कि मशीन खराब होने पर इसकी जानकारी तुरंत उत्पाद विभाग को दी जाए. लेकिन 4 दिन बाद भी इस बात से विभाग को अवगत नहीं कराया गया. इसकी जांच कराई जाएगी. जब मशीन खराब थी ,तो दूसरे व्यक्तियों की जांच कैसे की गई.
'आखिर क्यों नहीं दी गई जानकारी'
वहीं, बक्सर सिविल सर्जन डॉ उषा किरण से पूछा गया तो ,उन्होंने बताया कि ब्रेथ एनालाइजर मशीन खराब होने की बात ना तो, हमें मौखिक बताई गई है और ना ही लिखित. इस मामले की जानकारी आपसे मिल रही है. जिसकी जांच करवा कर कार्रवाई की जाएगी. जब ब्रेथ एनालाइजर मशीन खराब थी तो, इसकी सूचना अस्पताल प्रशासन को आखिर क्यों नहीं दी गई.
कैसे होगा शराबबंदी का सपना साकार
गौरतलब है कि अपनी गर्दन फंसती देख अस्पतालकर्मियों ने आनन-फानन में ब्रेथ एनालाइजर मशीन खराब होने से संबंधित एक लेटर जारी कर दिया गया, जिस पर ना तो किसी का हस्ताक्षर था, और ना ही उस पर कोई तारीख. ऐसे में राज्य सरकार का शराबबंदी का सपना कैसे साकार होगा इसका अंदाजा लगाया जा सकता है.