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Bihar Train Accident : 'झटका लगा.. पत्थर आने लगा.. फिर से पूछिए ही मत'.. यात्रियों ने सुनाई आपबीती

बक्सर में हुए रेल हादसे को सोचकर उस ट्रेन में सफर कर रहे यात्री अब भी कांप जाते हैं. उन्होंने कहा कि अचानक इतनी तेजी से सबकुछ हुआ कि समझ में ही नहीं आ रहा था. हमारे संवाददाता ने ग्राउंड जीरो पर जाकर उनसे बातचीत की. पढ़ें पूरी खबर और देखें वीडियो...

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By ETV Bharat Bihar Team

Published : Oct 12, 2023, 10:18 PM IST

देखिए हादसे के बाद क्या बोले यात्री.

बक्सर : बुधवार देर रात बिहार के बक्सर में बड़ा रेल हादसा हुआ. रघुनाथपुर रेलवे स्टेशन के पास नई दिल्ली से असम के तिनसुकिया जा रही नॉर्थ ईस्ट एक्सप्रेस बेपटरी हो गयी. 21 डिब्बे पटरी से उतर गए. कई बोगियां पलट गई. हर तरफ चीख-पुकार मची हुई थी.

ये भी पढ़ें - Bihar Train Accident : 128 किमी की रफ्तार से दौड़ रही थी ट्रेन, ड्राइवर ने अचानक क्यों लगाया इमरजेंसी ब्रेक?

'वो मंजर काफी भयावह था' : जब यह हादसा हुआ तो लोगों को समझ में ही नहीं आया कि आखिर हुआ क्या? लोगों की जान पर बन आई. हर कोई अपनी जान सुरक्षित करने के लिए प्रयास करने लगा. आसपास से लोग मसीहा बनकर आए. हालांकि इस ट्रेन में सवार लोग वो मंजर याद कर कांप उठते हैं.

नॉर्थ ईस्ट एक्सप्रेस के दुर्घटनाग्रस्त होने के बाद राहत कार्य.
नॉर्थ ईस्ट एक्सप्रेस के दुर्घटनाग्रस्त होने के बाद राहत कार्य.

''हम लोग पैट्री कार में थे. अचनाक से जोर की आवाज आई. पीछे की सारी बोगी पलट गई. हादसे के बाद किसी तरह ट्रेन के नीचे से बाहर निकले.'' - मानक पाल, पैंट्रीकर्मी

''कूचविहार जाना था, हम लोग सोने की तैयारी कर रहे थे. अचानक गाड़ी पलट गई. चारों तरफ धुआं-धुआं हो गया.'' - यात्री

''बलिया से आया था, बक्सर में ट्रेन पकड़ा था. कुछ भी पता नहीं चला, ट्रेन स्पीड में थी. जोर की आवाज आई. उसके बाद बेहोश हो गया. लोगों ने ट्रेन के अंदर से बाहर निकाला. कुछ समझ नहीं आ रहा था कि क्या हुआ?'' - जय नारायण चौहान, निवासी, बलिया

''मैं एस 4 में गेट पर खड़ा था. मेरा टिकट कंफर्म नहीं हुआ था. तभी अचानक झटका लगा, ऐसा लगा जैसे पत्थर गिरने लगे. मैं बच्चे को लेकर ट्रेन से कूद गया.'' - राकेश मिश्रा, यात्री

बेपटरी हुई नॉर्थ ईस्ट एक्सप्रेस
बेपटरी हुई नॉर्थ ईस्ट एक्सप्रेस

''खाना खाकर आपस में बात कर रहे थे. इसी दौरान खर्रखर्र की आवाज आने लगी. हम लोग खड़े हो गए. इसी बीच इमरजेंसी ब्रेक लगी. हम लोग स्लीपर में थे. भगवान का शुक्र है कि बच गए.'' - गौरी शंकर तिवारी, यात्री

हादसे से सीख लेने की जरूरत : कुल मिलाकर लोगों ने आपबीती बतायी. पर कई ऐसे भी बदनसीब रहे जिनकी कहानी अब कोई सुन नहीं पाएगा. वैसे तो सरकारों ने मुआवजा का ऐलान कर दिया है. पर उन्हें यह भी सुनिश्चित करना चाहिए कि ऐसे हादसे ना हों.

ये भी पढ़ें: जब बिहार में हुआ था बड़ा रेल हादसा, चली गई थी 800 लोगों की जान, पुल तोड़कर नदी में समा गए ट्रेन के 7 डिब्बे

ये भी पढ़ें: Bihar Train Accident : बक्सर ट्रेन हादसे के पीछे साजिश तो नहीं..? कई जगह टूटी मिली पटरियां, रेलवे ने बनाई हाईलेवल जांच कमेटी

ये भी पढ़ें: बक्सर रेल हादसे में CM नीतीश कुमार ने की मुआवजे की घोषणा, मृतक के परिजन को 4 लाख और घायलों को मिलेगा 50 हजार

ये भी पढ़ें: Buxar Rail Accident पर 'नैतिकता' वाली सियासत.. जब गैसल रेल हादसे के बाद नीतीश ने दिया था इस्तीफा

देखिए हादसे के बाद क्या बोले यात्री.

बक्सर : बुधवार देर रात बिहार के बक्सर में बड़ा रेल हादसा हुआ. रघुनाथपुर रेलवे स्टेशन के पास नई दिल्ली से असम के तिनसुकिया जा रही नॉर्थ ईस्ट एक्सप्रेस बेपटरी हो गयी. 21 डिब्बे पटरी से उतर गए. कई बोगियां पलट गई. हर तरफ चीख-पुकार मची हुई थी.

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'वो मंजर काफी भयावह था' : जब यह हादसा हुआ तो लोगों को समझ में ही नहीं आया कि आखिर हुआ क्या? लोगों की जान पर बन आई. हर कोई अपनी जान सुरक्षित करने के लिए प्रयास करने लगा. आसपास से लोग मसीहा बनकर आए. हालांकि इस ट्रेन में सवार लोग वो मंजर याद कर कांप उठते हैं.

नॉर्थ ईस्ट एक्सप्रेस के दुर्घटनाग्रस्त होने के बाद राहत कार्य.
नॉर्थ ईस्ट एक्सप्रेस के दुर्घटनाग्रस्त होने के बाद राहत कार्य.

''हम लोग पैट्री कार में थे. अचनाक से जोर की आवाज आई. पीछे की सारी बोगी पलट गई. हादसे के बाद किसी तरह ट्रेन के नीचे से बाहर निकले.'' - मानक पाल, पैंट्रीकर्मी

''कूचविहार जाना था, हम लोग सोने की तैयारी कर रहे थे. अचानक गाड़ी पलट गई. चारों तरफ धुआं-धुआं हो गया.'' - यात्री

''बलिया से आया था, बक्सर में ट्रेन पकड़ा था. कुछ भी पता नहीं चला, ट्रेन स्पीड में थी. जोर की आवाज आई. उसके बाद बेहोश हो गया. लोगों ने ट्रेन के अंदर से बाहर निकाला. कुछ समझ नहीं आ रहा था कि क्या हुआ?'' - जय नारायण चौहान, निवासी, बलिया

''मैं एस 4 में गेट पर खड़ा था. मेरा टिकट कंफर्म नहीं हुआ था. तभी अचानक झटका लगा, ऐसा लगा जैसे पत्थर गिरने लगे. मैं बच्चे को लेकर ट्रेन से कूद गया.'' - राकेश मिश्रा, यात्री

बेपटरी हुई नॉर्थ ईस्ट एक्सप्रेस
बेपटरी हुई नॉर्थ ईस्ट एक्सप्रेस

''खाना खाकर आपस में बात कर रहे थे. इसी दौरान खर्रखर्र की आवाज आने लगी. हम लोग खड़े हो गए. इसी बीच इमरजेंसी ब्रेक लगी. हम लोग स्लीपर में थे. भगवान का शुक्र है कि बच गए.'' - गौरी शंकर तिवारी, यात्री

हादसे से सीख लेने की जरूरत : कुल मिलाकर लोगों ने आपबीती बतायी. पर कई ऐसे भी बदनसीब रहे जिनकी कहानी अब कोई सुन नहीं पाएगा. वैसे तो सरकारों ने मुआवजा का ऐलान कर दिया है. पर उन्हें यह भी सुनिश्चित करना चाहिए कि ऐसे हादसे ना हों.

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