भागलपुर : शहरवासियों को गर्मी में पानी के लिए नहीं तरसना पड़ेगा. जिले में नगर निगम ने पानी की समस्या से निपटने के लिए कमर कस ली है. नगर निगम प्रशासन गर्मी से पहले पानी टंकी, पानी टंकर और चापा नल को दुरुस्त करने में लग गई है. जहां पिछले वर्ष पानी के संकट से लोगों को जूझना पड़ रहा था. वहां पर विशेष टीम गठन कर कार्य में लगाया गया है. पीएचईडी से भी नगर निगम ने इस बार मदद मांगी है.
गर्मी के मौसम में शहर के कई वार्ड में जल स्तर नीचे चले जाने की वजह से बोरिंग फेल हो जाता है. वैसे इलाकों में इस बार पीएचईडी के टैंकर द्वारा पानी मुहैया कराया जाएगा. इसके अलावा शहर में खराब पड़े चापा नल, पानी पोस्ट और पानी टावर को भी ठीक करने के लिए टीम लग गई है. पिछले वर्ष 2 टीम काम कर रहा था. इस बार 4 टीम को लगाया गया है.
'खराब पड़े चापाकल हो रहे रिपेयर'
नगर आयुक्त जे. प्रियदर्शनी ने कहा कि पिछले वर्ष गर्मी के मौसम में जल संकट उत्पन्न हुआ था. उसको देखते हुए हम लोगों ने इस बार 2 महीना पहले से ही तैयारी शुरू कर दिया था. इस बार पीएचईडी ने खराब पड़े चापाकल को नगर निगम को हैंडओवर किया है. उसका सर्वे कर रहे हैं, जो वर्किंग कंडीशन में है. उनको देख रहे हैं. साथ ही खराब पड़े चापाकल को रिपेयर कर रहे हैं. वहीं, उन्होंने कहा कि लगभग 400 से अधिक चापाकल पीएचईडी ने नगर निगम को हैंड ओवर किया है.
'जल संकट से नहीं जूझना पड़ेगा'
जे. प्रियदर्शनी ने कहा कि पिछले वर्ष जितने भी बोरिंग वाटर लेवल नीचे जाने के कारण फेल हुए थे, उनको भी देखा जा रहा है. उसपर क्विक रिस्पांस हो इसके लिये टेंडर भी किया गया है, जिससे कि गर्मी के मौसम में बोरिंग फेल ना हो. यदि बोरिंग फेल हो तो उस पर त्वरित कार्रवाई की जा सके. वहीं, उन्होंने कहा कि इस बार 4 टीम को 4 जोन में काम करने के लिए लगाया गया है. जिसमें एक-एक मैकेनिकल इंजीनियर भी है, जो गर्मी के मौसम में जल समस्या पर काम करेंगे. नगर आयुक्त ने कहा कि इस बार हम लोग 99% अस्वस्थ है कि शहरवासी को जल संकट से नहीं जूझना पड़ेगा.
जल संकट से जूझना पड़ा था पिछले साल
बता दें कि पिछले वर्ष गर्मी के मौसम में भागलपुर में कई वार्डों में जल संकट से लोगों को जूझना पड़ा था. जिस वजह से सड़क जाम कर लोगों ने विरोध भी किया था. कई जगह जल स्रोत नीचे जाने के कारण मोटर पानी नहीं दे पा रहा था, तो कई जगह नगर निगम की पानी टंकर भी पहुंच नहीं पा रहा था, इस बार नगर निगम उस पर काम कर दुरुस्त करने का दावा कर रही है.