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भागलपुर: डायरिया के बढ़ते मामले से दहशत में लोग, स्वास्थ्य विभाग लापरवाह

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Published : Aug 10, 2019, 12:55 PM IST

खंड चिकित्सा पदाधिकारी ने बताया कि बीमारी के प्रति लोगों को जागरूक किया जा रहा है. गर्म खाना खाना, गर्म पानी को ठंडा कर पीने का सुझाव और साफ सफाई रखने के बारे में बताया जा रहा है. अभी स्थिति नियंत्रण में है.

नहीं किया गया ब्लीचिंग पाउडर का छिड़काव

भागलपुर: जिले में डायरिया का प्रकोप जारी है. अब तक 50 से 60 लोग इस बीमारी की चपेट में आ चुके हैं. पलवा गांव में दहशत का माहौल है. बावजूद इसके स्वास्थ्य विभाग कोई पहल नहीं कर रहा है. डायरिया प्रभावित क्षेत्रों में ब्लीचिंग पाउडर का छिड़काव नहीं किया जा रहा है. विभाग के इस खानापूर्ति से लोग मायूस हैं.

डायरिया का कहर जारी
भागलपुर के सनहौला प्रखंड चिकित्सा केंद्र से महज 2 किलोमीटर की दूरी पर पलवा गांव है. यहां बीते 3 अगस्त से डायरिया का कहर जारी है. दर्जनों लोग इस बीमारी के शिकार हैं. 7 लोगों की गंभीर हालत को देखते हुए प्रखंड चिकित्सा केंद्र से भागलपुर मायागंज अस्पताल रेफर कर दिया गया. ग्रामीणों का कहना है कि दो दिन पहले इलाके में चूना और ब्लीचिंग पाउडर का छिड़काव किया गया था. गंदगी और नाले के पास छिड़काव करना अभी भी बाकी है.

bhagalpur
डायरिया का कहर जारी

ब्लीचिंग पाउडर का नहीं हो रहा छिड़काव
डायरिया से पीड़ित नजमा खातून ने बताया कि उनके परिवार के 4 लोग इस बीमारी से प्रभावित थे. दो दिन पहले उन्हें उल्टी दस्त हुआ था, तो गांव में ही इलाज कराया. जब स्थिति नियंत्रण में नहीं हुआ तो प्रखंड अस्पताल में भर्ती कराया गया. उन्होंने बताया कि वह अभी भी अस्वस्थ हैं. गांव में 3 डॉक्टरों की टीम रोजाना आती है. दो दिन पहले ब्लीचिंग पाउडर का छिड़काव हुआ था. उसके बाद छिड़काव नहीं किया गया.

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डॉ. पी सी सिन्हा, प्रखंड चिकित्सा पदाधिकारी

'बीमारी से संबंधित सभी दवाएं मौजूद'
वहीं, गांव में पदस्थापित एक एएनएम ने बताया कि डायरिया के प्रकोप को लेकर उनकी प्रतिनियुक्ति की गई है. बीमारी से संबंधित सभी मेडिसिंस यहां उपलब्ध हैं. उन्होंने बताया कि 12 मरीज इलाज के लिए आए थे, जिसमें से 10 को दवा देकर वापस भेज दिया गया. 2 मरीज की हालत को देखते हुए प्रखंड चिकित्सा केंद्र भेज दिया गया. जब ब्लीचिंग पाउडर छिड़काव के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा कि आज छिड़काव नहीं किया गया है. 2 दिन पहले किया गया था.

पेश है रिपोर्ट

क्या कहते हैं प्रखंड चिकित्सा पदाधिकारी
मामले पर प्रखंड चिकित्सा पदाधिकारी डॉ. पी सी सिन्हा ने बताया कि 3 अगस्त को उनके संज्ञान में यह बात आई कि पलवा गांव में डायरिया का प्रकोप है. जिसके बाद 4 और 5 तारीख को मरीजों की संख्या बहुत बढ़ गई. इन दो दिनों में डायरिया के 40 मरीज अस्पताल में भर्ती हुए. 4 तारीख से ही स्वास्थ्य विभाग की टीम द्वारा ब्लीचिंग पाउडर और चूना का छिड़काव किया जा रहा है. उन्होंने कहा के बीमारी के प्रति लोगों को जागरूक किया जा रहा है. गर्म खाना खाना, गर्म पानी को ठंडा कर पीने का सुझाव और साफ सफाई रखने के बारे में बताया जा रहा है. अभी स्थिति नियंत्रण में है.

भागलपुर: जिले में डायरिया का प्रकोप जारी है. अब तक 50 से 60 लोग इस बीमारी की चपेट में आ चुके हैं. पलवा गांव में दहशत का माहौल है. बावजूद इसके स्वास्थ्य विभाग कोई पहल नहीं कर रहा है. डायरिया प्रभावित क्षेत्रों में ब्लीचिंग पाउडर का छिड़काव नहीं किया जा रहा है. विभाग के इस खानापूर्ति से लोग मायूस हैं.

डायरिया का कहर जारी
भागलपुर के सनहौला प्रखंड चिकित्सा केंद्र से महज 2 किलोमीटर की दूरी पर पलवा गांव है. यहां बीते 3 अगस्त से डायरिया का कहर जारी है. दर्जनों लोग इस बीमारी के शिकार हैं. 7 लोगों की गंभीर हालत को देखते हुए प्रखंड चिकित्सा केंद्र से भागलपुर मायागंज अस्पताल रेफर कर दिया गया. ग्रामीणों का कहना है कि दो दिन पहले इलाके में चूना और ब्लीचिंग पाउडर का छिड़काव किया गया था. गंदगी और नाले के पास छिड़काव करना अभी भी बाकी है.

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डायरिया का कहर जारी

ब्लीचिंग पाउडर का नहीं हो रहा छिड़काव
डायरिया से पीड़ित नजमा खातून ने बताया कि उनके परिवार के 4 लोग इस बीमारी से प्रभावित थे. दो दिन पहले उन्हें उल्टी दस्त हुआ था, तो गांव में ही इलाज कराया. जब स्थिति नियंत्रण में नहीं हुआ तो प्रखंड अस्पताल में भर्ती कराया गया. उन्होंने बताया कि वह अभी भी अस्वस्थ हैं. गांव में 3 डॉक्टरों की टीम रोजाना आती है. दो दिन पहले ब्लीचिंग पाउडर का छिड़काव हुआ था. उसके बाद छिड़काव नहीं किया गया.

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डॉ. पी सी सिन्हा, प्रखंड चिकित्सा पदाधिकारी

'बीमारी से संबंधित सभी दवाएं मौजूद'
वहीं, गांव में पदस्थापित एक एएनएम ने बताया कि डायरिया के प्रकोप को लेकर उनकी प्रतिनियुक्ति की गई है. बीमारी से संबंधित सभी मेडिसिंस यहां उपलब्ध हैं. उन्होंने बताया कि 12 मरीज इलाज के लिए आए थे, जिसमें से 10 को दवा देकर वापस भेज दिया गया. 2 मरीज की हालत को देखते हुए प्रखंड चिकित्सा केंद्र भेज दिया गया. जब ब्लीचिंग पाउडर छिड़काव के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा कि आज छिड़काव नहीं किया गया है. 2 दिन पहले किया गया था.

पेश है रिपोर्ट

क्या कहते हैं प्रखंड चिकित्सा पदाधिकारी
मामले पर प्रखंड चिकित्सा पदाधिकारी डॉ. पी सी सिन्हा ने बताया कि 3 अगस्त को उनके संज्ञान में यह बात आई कि पलवा गांव में डायरिया का प्रकोप है. जिसके बाद 4 और 5 तारीख को मरीजों की संख्या बहुत बढ़ गई. इन दो दिनों में डायरिया के 40 मरीज अस्पताल में भर्ती हुए. 4 तारीख से ही स्वास्थ्य विभाग की टीम द्वारा ब्लीचिंग पाउडर और चूना का छिड़काव किया जा रहा है. उन्होंने कहा के बीमारी के प्रति लोगों को जागरूक किया जा रहा है. गर्म खाना खाना, गर्म पानी को ठंडा कर पीने का सुझाव और साफ सफाई रखने के बारे में बताया जा रहा है. अभी स्थिति नियंत्रण में है.

Intro:भागलपुर के सनहौला प्रखंड चिकित्सा केंद्र से महज 2 किलोमीटर की दूरी पर पलवा गांव है। जहां बीते 3 अगस्त से डायरिया का प्रकोप जारी है । गांव में दहशत का माहौल है । इस बीमारी से लगभग 50 से 60 लोग बीमार पड़ गडे है , 7 लोगों की हालत को गंभीर देखते हुए प्रखंड चिकित्सा केंद्र से भागलपुर मायागंज अस्पताल रेफर कर दिया गया । जहां उनका इलाज चल रहा है । डायरिया प्रभावित क्षेत्र पलवा गांव में स्वास्थ्य विभाग द्वारा ब्लांचिंग पाउडर छिड़काव कर खानापूर्ति किया जा रहा है । एक एएनएम नियुक्ति की गई है ।


Body:गांव के रामदेव शर्मा ने बताया कि स्वास्थ्य विभाग द्वारा दो दिन पहले ही चुना और ब्लांचिंग का छिड़काव किया गया ।वो भी सामने सामने किया गया जहां पर गंदगी है वहां पर छिड़का नहीं किया गया ।.सिर्फ खानापूर्ति कर स्वास्थ्य विभाग के लोग चले गए ।

डायरिया पीड़ित नजमा खातून ने बताया कि उनके परिवार में 4 लोग इस बीमारी से प्रभावित थे जो आज ही इलाज कराकर घर लौटे हैं । उन्होंने बताया कि उन्हें दो दिन पहले उन्हें उल्टी दस्त हुआ था तो गांव में ही इलाज करवाया लेकिन स्थिति कंट्रोल में नहीं हुआ तो प्रखंड अस्पताल में भर्ती कराया गया जहां इलाज के बाद वह वापस आई है ।.उन्होंने बताया कि वह भी अस्वस्थ है । उनका दवाई चल रहा है ।उन्होंने कहा कि अभी गांव में 3 डॉक्टरों की टीम रोजाना आती है । वहीं पाउडर और चूने का छिड़काव 2 दिन पहले हुआ है फिर नहीं हुआ है ।

गांव में पदस्थापित एएनएम कविता कुमारी ने बताया कि डायरिया के प्रकोप को लेकर उन्हें यहां पर प्रतिनियुक्ति की गई है । डायरिया बीमारी में उपयोग होने वाले सभी मेडिसिंस उपलब्ध है ।.उन्होंने बताया कि आज 12 मरीज इलाज के लिए आए थे जिस में से 10 को दवाई देखकर वापस भेज दिया गया 2 मरीज में डायरिया के लक्षण था । रूबी देवी और गुलफराज को दोनों को प्रखंड चिकित्सा केंद्र भेज दिया गया ।
वही जब गांव में चुनाव ब्लीचिंग पाउडर छिडकाव के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा कि आज ब्लीचिंग पाउडर छिड़काव नहीं किया गया है । 2 दिन पहले किया गया बारिश होने के कारण धुल गया है ।

प्रखंड चिकित्सा पदाधिकारी डॉक्टर पी सी सिंहा ने बताया कि 3 अगस्त को उनके संज्ञान में यह बात आई कि बलवा गांव में डायरिया का प्रकोप है ।.जिसके बाद 4 और 5 तारीख को मरीजों की संख्या बहुत बढ़ गई करीबन इन दोनों दिन 40 मरीज अस्पताल में भर्ती हुए । 4 तारीख से ही स्वास्थ्य विभाग की टीम द्वारा गांव के गली गली में ब्लीचिंग पाउडर और चूना का छिड़काव किया जा रहा है और स्थानीय लोगों के बीच जागरूकता अभियान फैलाया जा रहा है ।.वहां लोगों को गर्म खाना ,पानी को गर्म कर ठंडा कर पीने का सुझाव और साफ सफाई रखने के बारे में बताया जा रहा है । डॉक्टर पी सी सिंह ने बताया कि अभी स्थिति नियंत्रण में है । कहा कि बजरंगी पासवान नाम के व्यक्ति को मायागंज अस्पताल भेजा गया है जहां उसका इलाज चल रहा है ।


वही गांव के लोगों का कहना था कि आज से 2 दिन पहले स्वास्थ्य विभाग की टीम द्वारा ब्लीचिंग पाउडर का छिड़काव किया गया । इसके बाद कुछ नहीं हुआ है अन्य ग्रामीण ने बताया कि अभी यहां एक एएनएम और एक एनएम की गई है अरे के नाम है ।


Conclusion:visual
byte - रामदेव पासवान ( ग्रामीण )
byte - नजमा खातून ( पीड़ित महिला )
byte - सुषमा देवी ( ग्रामीण )
byte - कविता कुमारी ( एएनएम )
byte - डॉक्टर पीसी सिंह ( प्रखंड चिकित्सा पदाधिकारी )
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