बांका: जिले का स्वास्थ्य महकमा अपने काम के प्रति कितना लाहपरवाह है. इसकी बानगी अमरपुर रेफरल अस्पताल में देखने को मिली है. यहां दुष्कर्म पीड़िता को मेडिकल जांच के लिए चार घंटे से अधिक समय तक इंतजार करना पड़ा. अस्पताल में तीन महिला चिकित्सक पदस्थापित है, लेकिन बुधवार को सभी ड्यूटी से गायब थी.
दरअसल, विगत एक फरवरी को अमरपुर प्रखंड क्षेत्र में एक नाबालिग लड़की के साथ त्रिवेणी मंडल ने दुष्कर्म की घटना को अंजाम दिया था. मामले को लेकर पीड़िता ने बताया कि एक फरवरी की संध्या शौच के लिए गई थी. जहां युवक ने उससे जबरन दुष्कर्म किया. मामले की लिखित शिकायत पीड़िता ने अमरपुर थाने में की थी.
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अमरपुर थानाध्यक्ष अरविंद कुमार राय और केस के अनुसंधान कर्ता अरूण कुमार सिंह पीड़िता को मेडिकल जांच के लिए अमरपुर अस्पताल लेकर पहुंचे, जहां से पीड़िता को मेडिकल जांच के लिए बांका सदर अस्पताल भेज दिया गया. लेकिन बांका सदर अस्पताल से पीड़िता को पुन अमरपुर अस्पताल भेज दिया गया. अमरपुर अस्पताल में महिला चिकित्सक के रहते हुए भी पीड़िता बुधवार को चार घंटे तक मेडिकल जांच के लिए अस्पताल में बैठी रही, लेकिन महिला चिकित्सकों ने पीड़िता की जांच करना मुनासिब नहीं समझा.
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इस पूरे मामले को लेकर जब अमरपुर रेफरल अस्पताल के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ. अभय प्रकाश चौधरी से बात की गई, तो वो उस वक्त बांका में थे. उन्होंने अविलंब जांच के लिए महिला चिकित्सक को भेजने की बात कही. अमरपुर थानाध्यक्ष अरविंद कुमार राय के लगातार मेडिकल जांच कराने के लिए अस्पताल प्रबंधन के समक्ष गुहार लगाते रहे. मामला तूल पकड़ते देख देर शाम बांका से प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी और भागलपुर से डॉ. दीप्ती सिन्हा अमरपुर अस्पताल पहुंची. तब जाकर कहीं पीड़िता की मेडिकल जांच हुई.