ETV Bharat / city

कोलकाता का ट्रांसपोर्टर बिहार में कर रहा था शराब का अवैध कारोबार, भाई और बेटा समेत गिरफ्तार

बिहार में शराब का अवैध कारोबार (Illegal liquor Business in Bihar) करने के आरोप में कोलकाता में ट्रांसपोर्टरों व्यवसाय से जुड़े तीन लोगों को गिरफ्तार किया गया है. आरोप है कि तीनों कोलकाता में बैठकर ट्रांसपोर्ट कंपनी की आड़ में बिहार में शराब का अवैध कारोबार कर रहे थे. पुलिस ने राजेश तिवारी, रमेश तिवारी और उसके बेटे राहुल तिवारी को गिरफ्तार किया है. तीनों को पटना लाया गया है. उनसे पूछताछ की जा रही है. पढ़ें पूरी खबर.

Kolkata transporters arrested
Kolkata transporters arrested
author img

By

Published : Mar 14, 2022, 7:59 AM IST

पटना: बिहार में शराबबंदी कानून (Liquor Prohibition Law in Bihar) लागू होने के बावजूद शराब माफियाओं ने अवैध शराब के कारोबार का अपना समानांतर साम्राज्य खड़ा कर लिया है. इस अवैध धंधे को जड़ से खत्म करने के लिए सरकार पूरी मशक्कत के साथ जुटी हुई है. हाल के दिनों में मद्य निषेध विभाग ने कई बड़ी कर्रवाई करते हुए अन्य राज्यों में बैठकर बिहार में अवैध शराब का सिंडिकेट (Illegal liquor syndicate in Bihar) चला रहे माफियाओं को पकड़ा है.

इसी कड़ी में मद्य निषेध विभाग की टीम ने कोलकाता के दिलखुश स्ट्रीट में बैठकर यूनिक उद्योग प्राइवेट कंपनी की आड़ में अवैध शराब का कारोबार चला रहे दो सगे भाइयों राजेश तिवारी, रमेश तिवारी और उसके बेटे राहुल तिवारी को गिरफ्तार (Kolkata transporters arrested in illegal liquor business) किया है. तीनों को पटना लाया गया है. कोलकाता से गिरफ्तार तीनों आरोपी देसी शराब बनाने वाले कच्चे स्पिरिट का कारोबार करते हैं. यह गिरोह झारखंड के रास्ते बिहार के कई जिलों में स्पिरिट की सप्लाई करता है.

ये भी पढ़ें: बिहार में शराबबंदी पर बोले पटना के युवा- 'यूथ में जागरुकता की जरूरत'

मद्य निषेध अधिनियम के तहत बिहार के गया जिले में इन लोगों पर वर्ष 2021 में मामला दर्ज किया गया था. इसके आलोक में कोलकाता पुलिस के सहयोग से मुख्यालय मद्य निषेध विभाग की करवाई के तहत तीनों को कोलकाता से गिरफ्तार किया गया. मद्य निषेध विभाग की ओर से बताया गया कि गिरफ्तार रमेश तिवारी, उसके भाई राजेश तिवारी और बेटा राहुल तिवारी के पास 8 से 10 टैंकर हैं. वे यूनिक उद्योग प्राइवेट लिमिटेड के नाम से अवैध तरीके से दिल्ली के कारोबारी सुनील भारद्वाज, बलिराम गुप्ता और झारखंड के संतोष मंडल के साथ मिलकर हजारों लीटर स्पिरिट की खेप चोरी छिपे बिहार भेजते थे.

ये भी पढ़ें: जहरीली शराब से मौत को छुपाने में जुटा प्रशासन, पुलिस की मौजूदगी में मुखिया ने मृतक के पिता से कागज पर लगवाया अंगूठा

कोलकाता के कराया थाना के दिलखुश स्ट्रीट से पकड़े गये रमेश तिवारी, राजेश तिवारी और राहुल तिवारी मुख्य रूप से अवैध स्पिरिट के कारोबार से जुड़े हैं. इन लोगों द्वारा भेजी गयी 4200 लीटर स्पिरिट की खेप को पिछले वर्ष 2021 में गया पुलिस ने बरामद किया था. इस मामले को दर्ज कर बरामद स्पिरिट को विनष्ट किया गया था. वहीं, कोलकाता से पटना लाए गए इन तीनों शराब माफियाओं से मद्य निषेध की टीम कड़ी पूछताछ कर बिहार में फैले इनके नेक्सस को खंगालने में जुट गई है.

विश्वसनीय खबरों को देखने के लिए डाउनलोड करें ETV BHARAT APP

पटना: बिहार में शराबबंदी कानून (Liquor Prohibition Law in Bihar) लागू होने के बावजूद शराब माफियाओं ने अवैध शराब के कारोबार का अपना समानांतर साम्राज्य खड़ा कर लिया है. इस अवैध धंधे को जड़ से खत्म करने के लिए सरकार पूरी मशक्कत के साथ जुटी हुई है. हाल के दिनों में मद्य निषेध विभाग ने कई बड़ी कर्रवाई करते हुए अन्य राज्यों में बैठकर बिहार में अवैध शराब का सिंडिकेट (Illegal liquor syndicate in Bihar) चला रहे माफियाओं को पकड़ा है.

इसी कड़ी में मद्य निषेध विभाग की टीम ने कोलकाता के दिलखुश स्ट्रीट में बैठकर यूनिक उद्योग प्राइवेट कंपनी की आड़ में अवैध शराब का कारोबार चला रहे दो सगे भाइयों राजेश तिवारी, रमेश तिवारी और उसके बेटे राहुल तिवारी को गिरफ्तार (Kolkata transporters arrested in illegal liquor business) किया है. तीनों को पटना लाया गया है. कोलकाता से गिरफ्तार तीनों आरोपी देसी शराब बनाने वाले कच्चे स्पिरिट का कारोबार करते हैं. यह गिरोह झारखंड के रास्ते बिहार के कई जिलों में स्पिरिट की सप्लाई करता है.

ये भी पढ़ें: बिहार में शराबबंदी पर बोले पटना के युवा- 'यूथ में जागरुकता की जरूरत'

मद्य निषेध अधिनियम के तहत बिहार के गया जिले में इन लोगों पर वर्ष 2021 में मामला दर्ज किया गया था. इसके आलोक में कोलकाता पुलिस के सहयोग से मुख्यालय मद्य निषेध विभाग की करवाई के तहत तीनों को कोलकाता से गिरफ्तार किया गया. मद्य निषेध विभाग की ओर से बताया गया कि गिरफ्तार रमेश तिवारी, उसके भाई राजेश तिवारी और बेटा राहुल तिवारी के पास 8 से 10 टैंकर हैं. वे यूनिक उद्योग प्राइवेट लिमिटेड के नाम से अवैध तरीके से दिल्ली के कारोबारी सुनील भारद्वाज, बलिराम गुप्ता और झारखंड के संतोष मंडल के साथ मिलकर हजारों लीटर स्पिरिट की खेप चोरी छिपे बिहार भेजते थे.

ये भी पढ़ें: जहरीली शराब से मौत को छुपाने में जुटा प्रशासन, पुलिस की मौजूदगी में मुखिया ने मृतक के पिता से कागज पर लगवाया अंगूठा

कोलकाता के कराया थाना के दिलखुश स्ट्रीट से पकड़े गये रमेश तिवारी, राजेश तिवारी और राहुल तिवारी मुख्य रूप से अवैध स्पिरिट के कारोबार से जुड़े हैं. इन लोगों द्वारा भेजी गयी 4200 लीटर स्पिरिट की खेप को पिछले वर्ष 2021 में गया पुलिस ने बरामद किया था. इस मामले को दर्ज कर बरामद स्पिरिट को विनष्ट किया गया था. वहीं, कोलकाता से पटना लाए गए इन तीनों शराब माफियाओं से मद्य निषेध की टीम कड़ी पूछताछ कर बिहार में फैले इनके नेक्सस को खंगालने में जुट गई है.

विश्वसनीय खबरों को देखने के लिए डाउनलोड करें ETV BHARAT APP

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.