पटना: नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने केंद्र सरकार के साथ केंद्रीय जांच एजेंसियों के कार्यशैली पर तीखा प्रहार (Tejashwi Yadav Questioned On Investigative agency) किया है. गुरुवार को पार्टी कार्यालय में बैठक के बाद मीडिया से बात करते हुए केंद्रीय जांच एजेंसियां बीजेपी के हाथ का खिलौना बन गई है. उन्होंने कहा कि मुझे तकलीफ इस बात की है कि जांच एजेंसियों में जितने लोग हैं, उनसे मजबूरी में ऐसा काम कराया जा रहा है. अधिकारियों के ऊपर दबाव है. इस दबाव के कारण न्याय पूर्वक जांच नहीं हो पा रही है. बॉलीवुड अभिनेत्री सुष्मिता सेन (Bollywood Actress Sushmita Sen) ललित मोदी से मिलकर फोटो शेयर करती हैं और जांच एजेंसी उसे खोज नहीं पा रहे हैं.
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"कहां है देश के आम लोंगों का पैसा डकारने वालों के बारे में जांच एजेंसियों को पता नहीं. कहां है मेहूल चौकसी? कहां है विजय माल्या? कहां है नीरव मोदी? ललित मोदी से तो सुष्मित सेन मिल लेती हैं और सोशल मीडिया पर अपनी मुलाकातों के बारे में फोटो शेयर करती हैं. नोटबंदी में जो लोग पैसा लेकर देश से भागे उसे नहीं जांच एजेंसियां नहीं खोज पाती है."- तेजस्वी यादव, नेता प्रतिपक्ष
विपक्ष के खिलाफ कार्रवाई करने वालों को मिलता है जल्दी प्रमोशनः तेजस्वी यादव ने आरोप लगाया कि जांच एजेंसियां गरीबों का पैसा डकारने वालों को नहीं खोज पाती है. लेकिन आज खोजती किसको है? कांग्रेस, राजद, टीएमसी, सपा और ठाकरे के लोगों को ढूंढा जा रहा है. तेजस्वी ने कहा कि बीजेपी की यही सोच है कि जो दिख रहा है. उसे खरीदो और जो डरेगा उसे डराओ. इस मुद्दे पर बीजेपी काम कर रही है और मुझे उन्हें जांच एजेंसियों पर अफसोस है कि वह एक गुलाम के रूप में काम कर रही हैं. मेरा दावा है कि जो जो जांच अधिकारी इस जांच में लिप्त हैं और विपक्षी नेताओं के यहां झूठा मुकदमा करते हैं. उनका प्रमोशन तुरंत हो जाता है.
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