पटना: बिहार में करीब 94000 शिक्षकों के नियोजन का मामला 9 नवंबर तक टल गया है. कोर्ट इस मामले में 9 नवंबर को फैसला सुनाएगा. छठे चरण की नियोजन प्रक्रिया पर हाईकोर्ट ने रोक लगा रखी है.
हाईकोर्ट ने 19 अक्टूबर तक मांगा लिखित जवाब
सोमवार को सभी पक्षों को सुनने के बाद हाईकोर्ट ने 19 अक्टूबर तक सबसे लिखित जवाब मांगा है. बिहार सरकार के शिक्षा विभाग के प्रधान सचिव से भी शपथ पत्र की मांग की गई है. इस मामले पर शिक्षा विभाग के साथ शिक्षक नियोजन से जुड़े अभ्यर्थियों की नजरें टिकी हुई है.
सीटेट परीक्षा पास करने वाले अभ्यर्थियों ने लगाई गुहार
बता दें कि 2019 में दिसंबर महीने में सीटेट परीक्षा पास करने वाले सैकड़ों अभ्यर्थियों ने पटना हाईकोर्ट में गुहार लगाई थी. उनकी मांग थी कि शिक्षा विभाग उन्हें भी छठे चरण के प्रारंभिक शिक्षक नियोजन में आवेदन करने का मौका दें. हालांकि शिक्षा विभाग ने यह स्पष्ट कर दिया कि जुलाई 2019 तक टेट या सीटेट पास करने वाले अभ्यर्थियों को ही छठे चरण के नियोजन में मौका मिलेगा. इस मामले में ही पटना हाईकोर्ट में सुनवाई हुई.
इसे भी पढ़ें-ये क्या RJD नेता ने ही खोल दी पोल, भरी सभा में बोले- 'लालू जी से रोज फोन पर होती है बात'
बीएड अभ्यर्थियों की याचिका पर भी फैसला नहीं
एक और मामला प्राथमिकता शब्द से जुड़ा है. जिसमें बीएड करने वाले अभ्यर्थियों ने बहाली प्रक्रिया के बीच में ही नया नियम लागू करने के खिलाफ पटना हाईकोर्ट में मामला दायर किया है. शिक्षा विभाग ने कहा था कि बीएड अभ्यर्थियों को डी एल एड अभ्यर्थियों के नियोजन के बाद जो जगह बचेगी, उसमें मौका दिया जाएगा. इसे लेकर भी पटना हाईकोर्ट ने कोई फैसला नहीं सुनाया. पटना हाईकोर्ट ने जुलाई महीने में ही नियोजन प्रक्रिया पर रोक लगा दी थी. इसके बाद पूरी नियोजन प्रक्रिया अधर में लटक गई है.
पटना HC ने नियोजन प्रक्रिया पर स्टे लगाया था
ईटीवी भारत शिक्षक बहाली के मामले में अब तक सबसे पहले अपडेट पहुंचाता रहा है. बिहार के करीब 72,000 प्राथमिक व मध्य विद्यालयों में 94,000 पदों पर शिक्षक नियोजन छठे चरण में हो रहा है. इसे लेकर दो अलग-अलग मामलों में पटना हाईकोर्ट ने नियोजन प्रक्रिया पर स्टे लगा दिया था.
फर्जी आवेदकों पर FIR की तैयारी
शिक्षा विभाग की ओर से यह स्पष्ट किया गया है कि पटना हाईकोर्ट का निर्देश मिलते ही बहाली प्रक्रिया तुरंत शुरू की जाएगी. यह भी स्पष्ट किया गया है कि चुनाव के कारण बहाली प्रक्रिया नहीं रुकेगी. वही प्राथमिक शिक्षा निदेशक ने एक और बात स्पष्ट किया है कि जिन लोगों ने फर्जी तरीके से आवेदन किया है उनके खिलाफ विभाग एफआईआर दर्ज करेगा.