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प्रतिबंधित दवाओं के व्यापार को लेकर पटना हाई कोर्ट ने राज्य सरकार से मांगा हलफनामा

प्रतिबंधित दवाओं के व्यापार में लिप्त लोगों के खिलाफ कार्रवाई को लेकर पटना हाई कोर्ट ने राज्य सरकार को हलफनामा दायर कर स्थिति स्पष्ट करने का निर्देश दिया. मंगलवार को इस मामले पर पटना हाई कोर्ट में सुनवाई हुई. पढ़ें पूरी खबर.

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Published : Aug 24, 2021, 4:55 PM IST

पटना: बिहार में प्रतिबंधित दवाओं के व्यापार (Banned Drug Trade) में लिप्त लोगों के खिलाफ कार्रवाई को लेकर दायर याचिका पर पटना हाई कोर्ट (Patna High Court) ने सुनवाई की. शशि रंजन सिंह द्वारा दायर जनहित याचिका पर चीफ जस्टिस संजय करोल (Chief Justice Sanjay Karol) की खंडपीठ ने सुनवाई करते राज्य सरकार को हलफनामा दायर कर स्थिति स्पष्ट करने का निर्देश दिया.

ये भी पढ़ें: पटना हाईकोर्ट ने पूछा- 'पिछले एक वर्ष में जमीन अधिग्रहण का कितना रुपया भारत सरकार से मिला'

हाई कोर्ट को याचिकाकर्ता के अधिवक्ता श्रीप्रकाश श्रीवास्तव ने बिहार ड्रग्स एंड कॉस्मेटिक्स एक्ट 1940 व रूल्स 122 ई का हवाला देते हुए कहा है कि कानून के प्रावधानों के विरुद्ध प्रतिबंधित दवाओं की बिक्री की जा रही है. इस जनहित याचिका में यह भी आरोप लगाया है कि कथित तौर पर पूरे राज्य में केंद्र सरकार द्वारा प्रतिबंधित दवाओं की बिक्री वर्तमान समय के प्रभारी ड्रग्स कंट्रोलर की मिलीभगत से की जा रही है.

इस मामले में सहायक औषधि नियंत्रक, मुजफ्फरपुर ने कुल 111 फर्मों के नामों को 12 जून, 2021 को एक पत्र के जरिये अभियोजन चलाने के सम्बन्ध में भेजा था. अधिवक्ता श्रीवास्तव ने कहा कि ड्रग्स कंट्रोलर ने कार्रवाई करने की स्वीकृति नहीं दी. उन्होंने बताया कि ड्रग्स कंट्रोलर ऑफ इंडिया के विगत 11 फरवरी 2021, 22 मार्च 2021 और 26 अप्रैल 2021 के पत्रों का हवाला देते हुए आरोप लगाया कि राज्य के ड्रग्स कंट्रोलर की मिलीभगत से पूरे राज्य में प्रतिबंधित दवाओं की बिक्री जारी है.

ये भी पढ़ें: अधिवक्ता ने पटना हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस को लिखा पत्र- एसी-एसटी वर्ग के अधिवक्ताओं को बनायें जज

साथ ही आरोप लगाया गया है कि इनके संरक्षण में ही ये सारे कार्य किये जा रहे हैं. प्रतिबंधित चीजों को मिलाकर दवाओं की बिक्री की जा रही है. राज्य सरकार का पक्ष अपर महाधिवक्ता एस. डी. यादव ने रखा. इस मामले पर अगली सुनवाई आगामी 31 अगस्त को होगी.

पटना: बिहार में प्रतिबंधित दवाओं के व्यापार (Banned Drug Trade) में लिप्त लोगों के खिलाफ कार्रवाई को लेकर दायर याचिका पर पटना हाई कोर्ट (Patna High Court) ने सुनवाई की. शशि रंजन सिंह द्वारा दायर जनहित याचिका पर चीफ जस्टिस संजय करोल (Chief Justice Sanjay Karol) की खंडपीठ ने सुनवाई करते राज्य सरकार को हलफनामा दायर कर स्थिति स्पष्ट करने का निर्देश दिया.

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हाई कोर्ट को याचिकाकर्ता के अधिवक्ता श्रीप्रकाश श्रीवास्तव ने बिहार ड्रग्स एंड कॉस्मेटिक्स एक्ट 1940 व रूल्स 122 ई का हवाला देते हुए कहा है कि कानून के प्रावधानों के विरुद्ध प्रतिबंधित दवाओं की बिक्री की जा रही है. इस जनहित याचिका में यह भी आरोप लगाया है कि कथित तौर पर पूरे राज्य में केंद्र सरकार द्वारा प्रतिबंधित दवाओं की बिक्री वर्तमान समय के प्रभारी ड्रग्स कंट्रोलर की मिलीभगत से की जा रही है.

इस मामले में सहायक औषधि नियंत्रक, मुजफ्फरपुर ने कुल 111 फर्मों के नामों को 12 जून, 2021 को एक पत्र के जरिये अभियोजन चलाने के सम्बन्ध में भेजा था. अधिवक्ता श्रीवास्तव ने कहा कि ड्रग्स कंट्रोलर ने कार्रवाई करने की स्वीकृति नहीं दी. उन्होंने बताया कि ड्रग्स कंट्रोलर ऑफ इंडिया के विगत 11 फरवरी 2021, 22 मार्च 2021 और 26 अप्रैल 2021 के पत्रों का हवाला देते हुए आरोप लगाया कि राज्य के ड्रग्स कंट्रोलर की मिलीभगत से पूरे राज्य में प्रतिबंधित दवाओं की बिक्री जारी है.

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साथ ही आरोप लगाया गया है कि इनके संरक्षण में ही ये सारे कार्य किये जा रहे हैं. प्रतिबंधित चीजों को मिलाकर दवाओं की बिक्री की जा रही है. राज्य सरकार का पक्ष अपर महाधिवक्ता एस. डी. यादव ने रखा. इस मामले पर अगली सुनवाई आगामी 31 अगस्त को होगी.

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