रोहतास: पिछले तीन दशकों से बंद पड़े रोहतास उद्योग समूह के जीर्णोद्धार को लेकर एक बार फिर उम्मीद जगी है. नई सरकार ने डालमियानगर उद्योग को पुनर्जीवित करने के लिए 300 करोड़ का टेन्डर जारी किया है. लोगों को उम्मीद जगी है कि कई सालों से बंद पड़ा यह उद्योग फिर से खुलेगा और लोगो के दिन बहुरेंगें.
डालमियानगर उद्योग का होगा जीर्णोद्धार
दरअसल डालमियानगर उद्योग समूह को रेलवे ने अधिकृत किया है. यहां रेलवे के वैगन मरम्म्त का कार्यशाला लगाया जाना है. रेलवे के द्वारा टेंडर जारी करने वाले अधिकृत कंपनी राइट्स लिमिटेड ने डालमियानगर उद्योग समूह में वैगन आवधिक ओवरहॉलिग कार्यशाला की स्थापना के लिए 300 करोड़ की निविदा जारी किया है.
रेलवे ने जारी किया टेंडर
पूर्व मंत्री रेल लालू प्रसाद यादव ने इस बंद पड़े कारखाने को अधिग्रहित कराया था लेकिन उसके बाद कार्य योजना आगे नहीं बढ़ सका. लेकिन इस बार लोकसभा का चुनाव खत्म होते ही रेलवे द्वारा लगभग 300 करोड़ का टेंडर जारी कर देने के बाद लोगों में काफी आस जगी है. लोग कहते हैं कि अब लगता है कि रोहतास उद्योग पुनर्जीवित हो सकेगा.
रेलवे की सराहनीय पहल
हालांकि यहां के लोग टेंडर की रकम को ऊंट के मुंह में जीरा मानते हैं. लोगों का कहना है कि एक वक्त था जब यह उद्योग पूरे बिहार का गौरव हुआ करता था. चीनी से लेकर कागज तक के कारखाने इस समूह के अंतर्गत थे लेकिन सरकारी उदासीनता के कारण यह सब बंद हो गया. अब जब रेलवे ने इसे अधिग्रहित कर पुनर्जीवित करने की कोशिश की है वो सराहनीय है. लेकिन प्रगति की गति काफी धीमी चल रही है. स्थानीय लोगों का कहना है कि सरकार को और ज्यादा राशि आवंटित करनी चाहिए ताकि तेजी से सुधार हो सके.