शिमला: हिमाचल प्रदेश के पुलिस महानिदेशक संजय कुंडू 35 साल की नौकरी के बाद सेवानिवृत्त हो गए हैं. पुलिस मुख्यालय में मंगलवार को उन्हें शानदार विदाई पार्टी दी गई और पुलिस लाइन भराडी में गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया. अब डीजीपी का पद रिक्त होने पर नए डीजीपी को लेकर चर्चाएं तेज हो गई है. नए डीजीपी की रेस में 1989 बैच के आईपीएस एसआर ओझा और 1991 बैच के डॉ. अतुल वर्मा का नाम चर्चा में है, लेकिन डीजीपी की दौड़ में तीन आईपीएस है. हालांकि, निर्वाचन आयोग के आदेश के बाद ही नए डीजीपी की नियुक्ति की जाएगी.
हिमाचल पुलिस का नया डीजीपी किसे बनाया जाए, यह मुख्यमंत्री सुक्खू पर निर्भर करेगा. अगर सीनियोरिटी को तवज्जो दी गई तो एसआर ओझा का डीजीपी बनना तय लग रहा है. चूंकि सीनियोरिटी के लिहाज से 1989 बैच के आईपीएस एसआर ओझा का नाम सबसे आगे हैं. एसआर ओझा के बाद सीनियोरिटी में 1990 बैच के श्याम भगत नेगी दूसरे नंबर पर है. लेकिन नेगी अभी केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर हैं. उनके प्रदेश लौटने की कम संभावना है. श्याम भगत नेगी के बाद 1991 बैच के डॉ. अतुल वर्मा तीसरे नंबर पर है. इन तीन में से ही किसी एक को पुलिस विभाग का मुखिया बनाया जा सकता है.
फिलहाल एसआर ओझा डीजीपी की रेस में सबसे आगे माने जा रहे हैं. ओझा पांच महीने पहले ही केंद्रीय प्रतिनियुक्ति से लौटे हैं. केंद्र सरकार में वह सीआरपीएफ में एडीजी पद पर सेवाएं दे चुके हैं. वर्तमान में वह डीजी जेल हैं. बीते मार्च महीने में संजय कुंडू के छुट्टी पर जाने के बाद ओझा 13 दिन तक डीजीपी का अतिरिक्त कार्यभार देख चुके हैं. एसआर ओझा भी संजय कुंडू के बैच के ही है. वह मई 2025 में रिटायर होंगे. मूल रूप से वह बिहार के रहने वाले हैं.
जबकि 1990 बैच के हिमाचल के किन्नौर जिले से संबंध रखने वाले श्याम भगत नेगी वरिष्ठता में दूसरे नंबर पर है. वह अभी केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर हैं. तीसरे नंबर पर 1991 बैच के झारखंड के डॉ. अतुल वर्मा हैं, जो वर्तमान में सीआईडी प्रमुख हैं. केंद्रीय संघ लोक सेवा आयोग की स्क्रीनिंग कमेटी ने इन तीनों अधिकारियों का पैनल तय किया था. सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, श्याम भगत नेगी को भी यदि डीजीपी के पद के लिए आदेश जारी होते हैं तो वह भी सेवाएं प्रदान करने को तैयार हैं.