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ऐसा बुखार जो दिमाग को बना रहा अंधा-बहरा, 'वेस्ट नाइल वायरस' से मध्यप्रदेश का स्वास्थ्य विभाग अलर्ट - West nile Virus Alert

एक्सपर्ट्स कहते हैं कि वेस्ट नाइल बुखार मच्छर के काटने से फैलता है, और इसके कई लक्षण डेंगू से मिलते जुलते हैं. इसके साथ ही सबसे ज्यादा यह मस्तिष्क पर वार कर रहा है. लोगों को ऐसे में मच्छरों से बचकर रहना चाहिए और इन्हें पनपने से रोकना चाहिए. एमपी में इसे लेकर सावधानी बरती जा रही.

WEST NILE VIRUS ALERT
वेस्ट नाइल वायरस से मध्यप्रदेश का स्वास्थ्य विभाग अलर्ट (WHAT IS WEST NILE VIRUS)
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By ETV Bharat Madhya Pradesh Team

Published : May 8, 2024, 1:31 PM IST

Updated : May 8, 2024, 2:42 PM IST

भोपाल. देश में एक नए वायरस ने लोगों की चिंता बढ़ा दी है. ये खतरनाक वायरस है वेस्ट नाइल वायरस, जो मच्छर के काटने से फैलता है. वेस्ट नाइल वायरस से एक गंभीर बुखार होता है जो दिमाग और रीढ़ की हड्डी तक को प्रभावित करता है, केरल में वेस्ट नाइल वायरस के मामले सामने आने के बाद देश के सभी राज्य अलर्ट मोड पर हैं. मध्यप्रदेश में भी स्वास्थ्य विभाग सतर्क है और इसकी लगातार मॉनीटरिंग भी की जा रही है.

क्यों मध्य प्रदेश के लिए है खतरे की घंटी

मध्य प्रदेश से सबसे ज्यादा लोग केरल में प्रवासी के तौर पर जाते हैं. साथ ही हर साल यहां टूरिज्म के लिए जानें वालों की तादाद बढ़ रही है. केरल की एक बड़ी आबादी मध्य प्रदेश में रहती है और दोनों राज्यों का सीधी कनेक्शन रेलवे से है. ऐसे में संक्रमण का खतरा लगातार बना हुआ है. मध्य प्रदेश में चुनाव है लिहाजा फिलहाल स्वास्थ्य विभाग अलर्ट मोड में है लेकिन अभी आम लोगों के लिए आधिकारिक तौर पर कोई गाइडलाइन जारी नहीं हुई है.

माइक्रो बायोलॉजी एक्सपर्ट्स की चेतावनी

"वेस्ट नील वायरस भारत में बहुत पुराना है. यह पहले साउथ के जंगलो में पाया जाता था. लेकिन अब जिस प्रकार लोग जंगलों में घर बना रहे हैं और वहां बसते जा रहे हैं. इस कारण मच्छरों के माध्यम से बीमारी शहरों तक फैल रही है." - वीके रामानी, प्रोफेसर और एचओडी माइक्रो बायोलॉजी डिपार्टमेंट, एलएन मेडिकल कॉलेज भोपाल

क्या है वेस्ट नाइल वायरस और वेस्ट नाइल बुखार?

वेस्ट नाइल वायरस मच्छर के काटने से फैलता है. मच्छर के काटने से वायरस व्यक्ति के शरीर के अंदर चला जाता है पर ज्यादातर लोगों में कोई लक्षण नजर नहीं आते. लेकिन पर पांच में से एक व्यक्ति में इसके गंभीर लक्षण नजर आने लगते हैं

क्या हैं वेस्ट नाइल बुखार के लक्षण?

वेस्ट लाइन वायरस से संक्रमित व्यक्ति को सिरदर्द, बदन दर्द, बुखार के साथ अन्य फ्लू जैसे लक्षण नजर आते हैं. कुछ गभीर मामलों में वेस्ट नाइल वायरस रीढ़ की हड्डी में गंभीर सूजन और दिमाग में भी सूजन पैदा कर सकता है, जिसके गंभीर परिणाम हो सकते हैं.

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6 सालों से युवक को नहीं आ रही थी नींद, फिर एम्स में हुआ इस तरह इलाज, तीन महीने में ठीक हुई बीमारी

मच्छरों को पनपने न दें, बचकर रहें

एक्सपर्ट्स कहते हैं कि वेस्ट नाइल वायरस मच्छर के काटने से फैलता है, साथ ही इसके कई लक्षण डेंगू से मिलते जुलते हैं, ऐसे में लोगों को मच्छरों से बचकर रहना चाहिए. एक्सपर्ट्स का कहना है कि उन इलाकों से दूर रहें जहां मच्छर ज्यादा पनपते हैं, क्योंकि वेस्ट लाइन के अलावा भी मच्छरों के काटने से कई गंभीर बीमारियां हो सकती हैं. लोगों को सलाह दी जा रही है कि वे अपने घरों में और आसपास के इलाके में साफ-सफाई रखें और मच्छरों को पनपने न दें. यह एक वेक्टर जनित रोग है, इसलिए रुके हुए पानी को साफ रखना और मच्छरों को पनपने से रोकना सबसे अहम है.

भोपाल. देश में एक नए वायरस ने लोगों की चिंता बढ़ा दी है. ये खतरनाक वायरस है वेस्ट नाइल वायरस, जो मच्छर के काटने से फैलता है. वेस्ट नाइल वायरस से एक गंभीर बुखार होता है जो दिमाग और रीढ़ की हड्डी तक को प्रभावित करता है, केरल में वेस्ट नाइल वायरस के मामले सामने आने के बाद देश के सभी राज्य अलर्ट मोड पर हैं. मध्यप्रदेश में भी स्वास्थ्य विभाग सतर्क है और इसकी लगातार मॉनीटरिंग भी की जा रही है.

क्यों मध्य प्रदेश के लिए है खतरे की घंटी

मध्य प्रदेश से सबसे ज्यादा लोग केरल में प्रवासी के तौर पर जाते हैं. साथ ही हर साल यहां टूरिज्म के लिए जानें वालों की तादाद बढ़ रही है. केरल की एक बड़ी आबादी मध्य प्रदेश में रहती है और दोनों राज्यों का सीधी कनेक्शन रेलवे से है. ऐसे में संक्रमण का खतरा लगातार बना हुआ है. मध्य प्रदेश में चुनाव है लिहाजा फिलहाल स्वास्थ्य विभाग अलर्ट मोड में है लेकिन अभी आम लोगों के लिए आधिकारिक तौर पर कोई गाइडलाइन जारी नहीं हुई है.

माइक्रो बायोलॉजी एक्सपर्ट्स की चेतावनी

"वेस्ट नील वायरस भारत में बहुत पुराना है. यह पहले साउथ के जंगलो में पाया जाता था. लेकिन अब जिस प्रकार लोग जंगलों में घर बना रहे हैं और वहां बसते जा रहे हैं. इस कारण मच्छरों के माध्यम से बीमारी शहरों तक फैल रही है." - वीके रामानी, प्रोफेसर और एचओडी माइक्रो बायोलॉजी डिपार्टमेंट, एलएन मेडिकल कॉलेज भोपाल

क्या है वेस्ट नाइल वायरस और वेस्ट नाइल बुखार?

वेस्ट नाइल वायरस मच्छर के काटने से फैलता है. मच्छर के काटने से वायरस व्यक्ति के शरीर के अंदर चला जाता है पर ज्यादातर लोगों में कोई लक्षण नजर नहीं आते. लेकिन पर पांच में से एक व्यक्ति में इसके गंभीर लक्षण नजर आने लगते हैं

क्या हैं वेस्ट नाइल बुखार के लक्षण?

वेस्ट लाइन वायरस से संक्रमित व्यक्ति को सिरदर्द, बदन दर्द, बुखार के साथ अन्य फ्लू जैसे लक्षण नजर आते हैं. कुछ गभीर मामलों में वेस्ट नाइल वायरस रीढ़ की हड्डी में गंभीर सूजन और दिमाग में भी सूजन पैदा कर सकता है, जिसके गंभीर परिणाम हो सकते हैं.

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मच्छरों को पनपने न दें, बचकर रहें

एक्सपर्ट्स कहते हैं कि वेस्ट नाइल वायरस मच्छर के काटने से फैलता है, साथ ही इसके कई लक्षण डेंगू से मिलते जुलते हैं, ऐसे में लोगों को मच्छरों से बचकर रहना चाहिए. एक्सपर्ट्स का कहना है कि उन इलाकों से दूर रहें जहां मच्छर ज्यादा पनपते हैं, क्योंकि वेस्ट लाइन के अलावा भी मच्छरों के काटने से कई गंभीर बीमारियां हो सकती हैं. लोगों को सलाह दी जा रही है कि वे अपने घरों में और आसपास के इलाके में साफ-सफाई रखें और मच्छरों को पनपने न दें. यह एक वेक्टर जनित रोग है, इसलिए रुके हुए पानी को साफ रखना और मच्छरों को पनपने से रोकना सबसे अहम है.

Last Updated : May 8, 2024, 2:42 PM IST
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