लखनऊ: यदि आप जल्दी बीमार पड़ जाते हैं, मौसम के बदलाव से आपके शरीर पर बहुत जल्दी असर होता हैं, तो यह विटामिन- डी की कमी हो सकती है. यह बातें डॉ. निर्मेश भल्ला ने ईटीवी भारत से बातचीत के दौरान कहीं. उन्होंने बताया कि चिकित्सीय स्थितियां जो विटामिन डी की कमी का कारण बन सकती हैं, उनमें सिस्टिक फाइब्रोसिस, क्रोहन रोग और सीलिएक रोग शामिल है. ये स्थितियां आपकी आंतों को पूरक के माध्यम से पर्याप्त विटामिन डी को अवशोषित करने से रोक सकती हैं. खासकर यदि स्थिति का इलाज सही नहीं किया गया हो तो.
टी-कोशिकाओं के लिए विटामिन-डी आवश्यक: डॉ. निर्मेश भल्ला ने बताया कि अनियमित जीवनशैली से लोगों की रोग प्रतिरोधक क्षमता कमजोर होती है. डेनमार्क के शोधकर्ताओं के अनुसार, विटामिन-डी शरीर की टी-कोशिकाओं की क्रियाविधि में वृद्धि करता है, जो किसी भी बाहरी संक्रमण से शरीर की रक्षा करती हैं. इसकी मानव प्रतिरक्षा प्रणाली को मजबूत करने में मुख्य भूमिका होती है. टी-कोशिकाओं को सक्रिय होने के लिए भी विटामिन-डी आवश्यक होता है.
मछली सबसे बेहतर डाइट: डॉ. भल्ला ने बताया जिन बच्चों में विटामिन-डी की कमी होती है, उनमें श्वसन तंत्र से जुड़े संक्रमण अधिक होते हैं. विटामिन डी को मापने के लिए की गई रक्त जांच से इसकी कमी की पुष्टि हो सकती है. कैल्शियम और फॉस्फेट के स्तर को मापा जाता है. अगर किसी व्यक्ति का विटामिन डी का स्तर 25 के नीचे जाता है तो उसे कम माना जाएगा. इस स्थिति में मरीज को सप्लिमेंट्स लेना चाहिए. नॉन वेजिटेरियन के डाइट के माध्यम से विटामिन डी पाने के लिए मछली सबसे बेहतर स्त्रोत है. साल्मन और टूना जैसी मछलियों में भरपूर मात्रा में विटामिन होता है. हफ्ते में एक दिन मछली को डाइट में शामिल करने से शरीर में विटामिन डी की कमी दूर हो सकती है.
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नींद न आना: विश्व स्वास्थ संगठन के अनुसार विटामिन-डी की कमी से ठीक से नींद न आना, बार- बार नींद टूटने जैसी समस्या हो सकती है. जब हमारे शरीर में विटामिन-डी की कमी होने लगती है, तो शरीर में मेलाटोनिन नामक रसायन का बनना कम हो जाता है, जिसकी वजह से हमें ठीक से नींद नहीं आती है.
हाथ, पैर, कमर में दर्द: विटामिन-डी कैल्शियम को अवशोषित करने में मदद करता है. इससे हड्डियां मजबूत होती हैं. ऐसे में विटामिन-डी की कमी शरीर में कैल्शियम की कमी का भी कारण बनता है. बीएमसी मस्कोस्केलेटल डिसऑर्डर में प्रकाशित अध्ययन में पाया गया कि विटामिन-डी की कमी से लगातार कमर दर्द की समस्या हो सकती है.
ऐसे करें पूर्ति: रोज सुबह की धूप 20 मिनट तक जरूर लें. नाश्ते में अनाज, दूध, बादाम का दूध, सोया दूध, संतरे का रस, दलिया इत्यादि को शामिल करें. विटामिन डी की पूर्ति के लिए दवाओं का सेवन करें. दिनचर्या का विशेष ध्यान रखें. नॉन वेजिटेरियन है तो सी फूड्स का सेवन करें. वेजिटेरियन है, तो विशेषज्ञ की सलाह पर सप्लिमेंट्स जरूर लें.