नैनीताल: उत्तराखंड हाईकोर्ट ने राज्य में आज 24 फरवरी को हो रहे सहकारी समितियों के चुनाव के मामले पर सुनवाई की. मामले की सुनवाई के बाद वरिष्ठ न्यायमूर्ती मनोज कुमार तिवारी व न्यायमूर्ती आशीष नैथानी की खंडपीठ ने एकलपीठ के आदेश को बरकरार रखते हुए राज्य सरकार से कहा है कि चुनाव एकलपीठ के आदेश के अनुसार ही हों.
बता दें इस मामले में आज एकलपीठ के आदेश के खिलाफ सोसाइटी की तरफ विशेष अपील के माध्यम से चुनौती दी गई. जिसमें कहा गया कि सहकारी समितियों का चुनाव कराने के लिए राज्य सरकार ने इसमें कुछ संशोधन किए हैं, उसको भी लागू किया जाये. उसी के अनुसार चुनाव कराएं.
आपत्ति व्यक्त करते हुए आरटीआई एक्टिविस्ट भुवन पोखरिया व कई अन्य याचिकाकर्ताओं की तरफ से कहा गया कि कॉपरेटिव चुनाव पूर्व के नियमों के तहत ही कराए जायें. राज्य सरकार ने चुनाव कार्यक्रम घोषित करने के बाद नियमावली को संशोधित किया है. वह अपने आप में गलत है, जबकि चुनाव कराने की प्रक्रिया दिसंबर माह से शुरू हो चुकी है. अब इस मामले में राज्य सरकार संशोधन करा रही है, जो नियम विरुद्ध है.
राज्य सरकार ने इसमें संशोधन करके उन लोगों को वोट का अधिकार दे दिया है, जो सेवानिवृत्त हैं या इस कमेटी के सदस्य नहीं हैं. नियम ये कहता है कि वही समिति के सदस्यों के का चुनाव में प्रतिभाग कर पाएंगे जो तीन साल से इसके सदस्य रहते आए हैं.
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