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जल प्रबंधन के लिए यूपी को मिला राष्ट्रीय जल अवार्ड, राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने किया सम्मानित

राष्ट्रपति मुर्मू ने एसीएस नमामि गंगे अनुराग श्रीवास्तव और हाउसिंग कमिश्रर डॉ. बलकार सिंह को राष्ट्रीय जल पुरस्कार से किया सम्मानित

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एसीएस नमामि गंगे अनुराग श्रीवास्तव और हाउसिंग कमिश्रर ने राष्ट्रपति से प्राप्त किया पुरस्कार. (Etv Bharat)
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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : 3 hours ago

लखनऊ: जल प्रबंधन और जल संरक्षण के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य करने के लिए उत्तर प्रदेश को राष्ट्रीय जल पुरस्कार से नवाजा गया है. ग्रामीण इलाकों में घर-घर तक नल कनेक्शन पहुंचाने के साथ जल संरक्षण और जल प्रबंधन के क्षेत्र में शानदार काम के लिए सर्वश्रेष्ठ राज्य की श्रेणी में उत्तर प्रदेश को देश में दूसरा स्थान मिला है.

नई दिल्ली के विज्ञान भवन में मंगलवार को आयोजित पांचवें राष्ट्रीय जल पुरस्कार कार्यक्रम में उत्तर प्रदेश की ओर से नमामि गंगे एवं ग्रामीण जलापूर्ति विभाग के अपर मुख्य सचिव अनुराग श्रीवास्तव और आवास आयुक्त डॉ. बलकार सिंह ने राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू से राष्ट्रीय जल पुरस्कार ग्रहण किया. सर्वश्रेष्ठ राज्य की श्रेणी में उड़ीसा को पहला और गुजरात एवं पुडुचेरी को संयुक्त रूप से तीसरा स्थान मिला.

इस मौके पर राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू ने हर घर तक नल से जल पहुंचाने की मुहिम में किए गए कार्यों और और जल संरक्षण की दिशा में किए गए अभिनव प्रयोगों की तारीफ की. कार्यक्रम के दौरान केन्द्रीय जल शक्ति मंत्री सीआर पाटिल ने भी उत्तर प्रदेश द्वारा बुंदेलखंड और विन्ध्य क्षेत्र में घर-घर तक नल कनेक्शन पहुंचाने और जल संरक्षण की दिशा में किए गए कार्यों को सराहा.इस उपलब्धि के लिए मिला पुरस्कारः जल संरक्षण और जल प्रबंधन के साथ-साथ उत्तर प्रदेश ने 2023 में सबसे तेजी से राज्य के 17900 गांवों को हर घर नल से जल पहुंचाने का कीर्तिमान स्थापित किया था. 2023 में डायरेक्टर ग्राउंड वॉटर और सचिव नमामि गंगे रहते हुए डॉ. बलकार सिंह ने जल संरक्षण और जल प्रबंधन के लिए कई अभिनव प्रयोग किए थे. जिसका लाभ जल प्रबंधन के साथ-साथ किसानों को सिंचाई में भी मिला. प्रदेश में सिंचाई की व्यवस्था बेहतर करने के लिए कुल 6000 से अधिक चेक डैम और 1000 तालाबों का निर्माण किया गया. इसके अलावा जल संरक्षण के लिए 31360 सरकारी भवनों पर रेन वॉटर हार्वेस्टिंग संरचनाओं का निर्माण किया गया. 2022 से 2023 में 5 ब्लॉक अतिदोहित और क्रिटिकल श्रेणी से हटाए गए. साथ ही 34 शहरों के औसत भूजल स्तर में सुधार हुआ. प्रदेश में 27,368 पारंपरिक जल निकायों का पुनरोद्धार किया गया. 17279 अमृत सरोवरों का निर्माण कराया गया. यही वजह थी कि राष्ट्रपति द्वारा पुरस्कार ग्रहण करने के लिए अपर मुख्य सचिव नमामि गंगे के साथ तत्कालीन डायरेक्टर ग्राउंड वॉटर, सचिव नमामि गंगे डॉ बलकार सिंह मौजूद थे.जल जीवन मिशन की हर घर जल योजना के तहत उत्तर प्रदेश 22 अक्टूबर, 2024 तक 2 करोड़ 27 लाख 77 हजार 194 ग्रामीण परिवारों तक नल कनेक्शन पहुंचा चुका है. जिससे 13.66 करोड़ ग्रामीणों को शुद्ध पेयजल मुहैया हो रहा है। इससे पहले हाल ही में राज्य स्वच्छता एवं पेयजल मिशन को इंटरनेशनल ट्रेड शो में बेस्ट डिस्प्ले अवॉर्ड से भी सम्मानित किया गया था.

इसे भी पढ़ें-राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने 5वें राष्ट्रीय जल पुरस्कार प्रदान किए, गुजरात देश में तीसरे स्थान पर

लखनऊ: जल प्रबंधन और जल संरक्षण के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य करने के लिए उत्तर प्रदेश को राष्ट्रीय जल पुरस्कार से नवाजा गया है. ग्रामीण इलाकों में घर-घर तक नल कनेक्शन पहुंचाने के साथ जल संरक्षण और जल प्रबंधन के क्षेत्र में शानदार काम के लिए सर्वश्रेष्ठ राज्य की श्रेणी में उत्तर प्रदेश को देश में दूसरा स्थान मिला है.

नई दिल्ली के विज्ञान भवन में मंगलवार को आयोजित पांचवें राष्ट्रीय जल पुरस्कार कार्यक्रम में उत्तर प्रदेश की ओर से नमामि गंगे एवं ग्रामीण जलापूर्ति विभाग के अपर मुख्य सचिव अनुराग श्रीवास्तव और आवास आयुक्त डॉ. बलकार सिंह ने राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू से राष्ट्रीय जल पुरस्कार ग्रहण किया. सर्वश्रेष्ठ राज्य की श्रेणी में उड़ीसा को पहला और गुजरात एवं पुडुचेरी को संयुक्त रूप से तीसरा स्थान मिला.

इस मौके पर राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू ने हर घर तक नल से जल पहुंचाने की मुहिम में किए गए कार्यों और और जल संरक्षण की दिशा में किए गए अभिनव प्रयोगों की तारीफ की. कार्यक्रम के दौरान केन्द्रीय जल शक्ति मंत्री सीआर पाटिल ने भी उत्तर प्रदेश द्वारा बुंदेलखंड और विन्ध्य क्षेत्र में घर-घर तक नल कनेक्शन पहुंचाने और जल संरक्षण की दिशा में किए गए कार्यों को सराहा.इस उपलब्धि के लिए मिला पुरस्कारः जल संरक्षण और जल प्रबंधन के साथ-साथ उत्तर प्रदेश ने 2023 में सबसे तेजी से राज्य के 17900 गांवों को हर घर नल से जल पहुंचाने का कीर्तिमान स्थापित किया था. 2023 में डायरेक्टर ग्राउंड वॉटर और सचिव नमामि गंगे रहते हुए डॉ. बलकार सिंह ने जल संरक्षण और जल प्रबंधन के लिए कई अभिनव प्रयोग किए थे. जिसका लाभ जल प्रबंधन के साथ-साथ किसानों को सिंचाई में भी मिला. प्रदेश में सिंचाई की व्यवस्था बेहतर करने के लिए कुल 6000 से अधिक चेक डैम और 1000 तालाबों का निर्माण किया गया. इसके अलावा जल संरक्षण के लिए 31360 सरकारी भवनों पर रेन वॉटर हार्वेस्टिंग संरचनाओं का निर्माण किया गया. 2022 से 2023 में 5 ब्लॉक अतिदोहित और क्रिटिकल श्रेणी से हटाए गए. साथ ही 34 शहरों के औसत भूजल स्तर में सुधार हुआ. प्रदेश में 27,368 पारंपरिक जल निकायों का पुनरोद्धार किया गया. 17279 अमृत सरोवरों का निर्माण कराया गया. यही वजह थी कि राष्ट्रपति द्वारा पुरस्कार ग्रहण करने के लिए अपर मुख्य सचिव नमामि गंगे के साथ तत्कालीन डायरेक्टर ग्राउंड वॉटर, सचिव नमामि गंगे डॉ बलकार सिंह मौजूद थे.जल जीवन मिशन की हर घर जल योजना के तहत उत्तर प्रदेश 22 अक्टूबर, 2024 तक 2 करोड़ 27 लाख 77 हजार 194 ग्रामीण परिवारों तक नल कनेक्शन पहुंचा चुका है. जिससे 13.66 करोड़ ग्रामीणों को शुद्ध पेयजल मुहैया हो रहा है। इससे पहले हाल ही में राज्य स्वच्छता एवं पेयजल मिशन को इंटरनेशनल ट्रेड शो में बेस्ट डिस्प्ले अवॉर्ड से भी सम्मानित किया गया था.

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