जमशेदपुरः झारखंड विश्वविद्यालय और महाविद्यालय कर्मचारी महासंघ के महामंत्री विशंभर यादव, कोल्हान प्रक्षेत्र अध्यक्ष रमेश चंद्र ठाकुर, कोषाध्यक्ष सौरव वर्मा, युवा नेता चैतन्य शिरोमणि के नेतृत्व में विधायक सविता महतो से उनके आवास पर मिला और अपनी लंबित मांगों को लेकर ज्ञापन सौंपा है. इस पर विधायक ने सकारात्मक पहल करने का आश्वासन दिया है.
क्या हैं मांगें
राज्य के सभी विश्वविद्यालयों और अंगीभूत महाविद्यालयों के शिक्षकेत्तर कर्मचारियों की उच्च न्यायलय के वाद संख्या W.P. (S) No. 6591 of 2022 के न्यायादेश के आलोक में सेवानिवृत्ति की आयु 62 वर्ष की जाए. राज्य के सभी विश्वविद्यालयों और अंगीभूत महाविद्यालय के शिक्षकेत्तर कर्मचारियों को राज्य कर्मियों की भांति एसीपी/एमएसीपी की सुविधाओं का लाभ प्रदान किया जाए.
हेमंत सोरेन ने दिया था आश्वासन
विश्वविद्यालयों और अंगीभूत महाविद्यालयों के शिक्षकेत्तर कर्मचारी अपनी विभिन्न मांगों को लेकर पूर्व में राजभवन के समीप धरना दिया था, उस दौरान हेमंत सोरेन ने धरना स्थल पर पहुंचकर आश्वासन दिया था कि हमारी सरकार बनने पर हम शिक्षकेत्तर कर्मियों की समस्याओं का संपूर्ण रूप से निराकरण कर देंगे, लेकिन इसपर कोई कार्रवाई नहीं हो सकी.
हाईकोर्ट के आदेश पर भी नहीं लिया गया ठोस निर्णय
मालूम हो कि महासंघ की पुरानी मांग सेवानिवृत उम्र सीमा को 62 वर्ष तक बढ़ाने की याचिका पर हाई कोर्ट ने फैसला सुनाते हुए लागू करने का आदेश उच्च और तकनीकी शिक्षा विभाग को दिसंबर 2023 में ही दिया था. विभाग द्वारा कार्रवाई करने की बात पर ही हाई कोर्ट ने याचिका पर फैसला देते हुए कमेटी बनाकर आदेश को अमल में लाने की बात कही थी, लेकिन अब तक कोई ठोस निर्णय कमेटी ने नहीं लिया है. इस दौरान कई कर्मचारी सेवानिवृत भी हो गए हैं.
विधायक ने दिया आश्वासन
महासंघ के प्रतिनिधिमंडल को विधायक सविता महतो ने आश्वासन दिया है कि चंपाई सोरेन सरकार के मंत्रिमंडल विस्तार होते ही इस मामले को पटल पर रखेंगी और लागू कराएंगी.
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