गिरिडीह: अनिल यादव की हत्या के बाद कांड के मुख्य आरोपी बैजू रविदास को जेल भेज दिया गया था. इसके बाद भी गिरिडीह एसपी दीपक शर्मा की टीम लगातार इस घटना की जांच में जुटी हुई है. इस बीच हत्या मामले में एक नया अपडेट आया है. डुमरी एसडीपीओ सुमित कुमार की अगुवाई में जांच कर रही टीम ने दो और लोगों को हिरासत में लिया है. पुलिस सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार जिन्हें हिरासत में लिया गया है उनमें बैजू का भांजा और एक अन्य रिश्तेदार शामिल है. जबकि घटना के दिन गली में देखी गई स्कूटी को भी बरामद किया गया है. यह स्कूटी बैजू के रिश्तेदार के घर मोहलीचुवां से बरामद होने की बात कही जा रही है. वहीं, पुलिस को बैजू की रिमांड भी मिल गई है.
रिश्तेदार के सामने होगी पूछताछ
न्यायालय के आदेश के बाद सोमवार को पुलिस ने बैजू को रिमांड पर ले लिया. इस मामले में बैजू के साथ-साथ जिन दो लोगों को हिरासत में लिया गया है उनसे भी पूछताछ होगी. बैजू ने हत्या को लेकर जो इकबालिया बयान पुलिस के समक्ष दिया था, उस बयान का मिलान भी पुलिस करेगी. बताया जा रहा है कि तीनों लोगों को आमने-सामने बैठाकर पुलिस पूछताछ करेगी.
पुलिस ने 12 घंटे के अंदर किया हत्याकांड का खुलासा
बता दें कि मंगलवार (6 अगस्त) की शाम को पीरटांड थाना इलाके के पालगंज - खेताडाबर सड़क में खुखरा मोड के पास एक कार द्वारा प्लास्टिक और रस्सी से बंधा हुआ एक लाश फेंका गया था. देर शाम तक मृतक की पहचान अनिल यादव के तौर पर हुई. इस बीच एसपी दीपक कुमार शर्मा ने डुमरी एसडीपीओ सुमित कुमार के नेतृत्व में एक टीम का गठन किया गया. टीम में मुफ्फसिल थाना प्रभारी सह इंस्पेक्टर श्याम किशोर महतो, नगर थाना प्रभारी सह इंस्पेक्टर शैलेश प्रसाद, पचम्बा इंस्पेक्टर मंटू कुमार, पीरटांड थाना प्रभारी गौतम कुमार, बेंगाबाद थाना प्रभारी जितेंद्र सिंह के अलावा कई पदाधिकारी को शामिल किया गया. टीम ने मामले की जांच शुरू और शव मिलने के 12 घंटे के अंदर कांड का खुलासा करते हुए सरिया प्रखंड कार्यालय के बड़ा बाबू बैजू रविदास को गिरफ्तार कर लिया. इसके साथ ही जिस भुजाली से हत्या की गई थी और जिस स्विफ्ट कार से शव को ठिकाने लगाया गया था उसे भी बरामद कर लिया गया.
बैजू के कबूलनामा के बाद भी टीम करती रही जांच
गिरफ्तार बैजू ने जेल जाने से पहले पुलिस को बताया था कि पूरी घटना को अकेले ही उसने अंजाम दिया है. हालांकि बैजू के इस इकबालिया बयान के बावजूद पुलिस की पड़ताल जारी रही. घटना के दूसरे दिन रांची से एफएसटी की टीम पहुंची और बैजू के घर से ब्लड स्टेन समेत अन्य सबूत को इकठ्ठा किया. वहीं फिंगरप्रिंट एक्सपर्ट भी पहुंचे और कई सबूत को इकट्ठा किया.
सीसीटीवी फुटेज में कैद हुई थी पूरी घटना
इस मामले में हत्यारे को सख्त से सख्त सजा मिले इसके लिए पुलिस लगातार साक्ष्य इकट्ठा करने में जुटी रही. दूसरी तरफ पुलिस की टेक्निकल टीम सीसीटीवी फुटेज से लेकर मोबाइल डिटेल के जरिए जांच कर रही थी. घटना वाले दिन अलकापुरी की उस गली में जो कुछ भी हुआ, वह पूरी घटना सीसीटीवी कैमरे में कैद हो गई, जिसकी पुलिस ने बारीकी से जांच की तो अहम सुराग हाथ लगे.
बैजू के बयान पर उठने लगा था सवाल
हत्या में गिरफ्तार बैजू ने पुलिस को बताया कि पूरी घटना को उसने अकेले ही अंजाम दिया था. बैजू के इसी बयान ने कई सवाल खड़ा कर दिया. ईटीवी भारत भी लगातार सवाल उठाता रहा. सवाल यह है कि आखिर एक अकेला 56 साल का आदमी किसी हट्ठे कट्ठे युवक को कैसे मार सकता है, कैसे वृद्धवस्था की दहलीज तक पहुंच चुका व्यक्ति एक मृत और भारी शरीर को अकेले ही प्लास्टिक और रस्सी से बांधा सकता है. कैसे अकेले ही कार के अंदर शव डालकर सड़क के किनारे झाड़ियों की तरफ फेंक सकता है. पुलिस भी इन सवाल का जवाब तलाश करती रही.इस बीच, एसआईटी ने सोमवार को दो लोगों की हिरासत और स्कूटर की बरामदगी के बारे में कुछ खास नहीं बताया. हां इतना जरूर बताया गया कि बैजू रिमांड पर है और कुछ देर बाद पूरी स्थिति साफ हो जाएगी.
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