खैरथल : जिले के राजस्थान-हरियाणा बॉर्डर पर पिछले ढाई महीने से अलवर के सरिस्का से निकलकर आए बाघ को रविवार शाम को वन विभाग की टीम ने ट्रेंकुलाइज किया. टाइगर एसटी-2303 पिछले ढाई महीने से राजस्थान-हरियाणा वन विभाग की टीम के लिए चुनौती बना हुआ था. वन विभाग की टीम ने टाइगर एसटी-2303 को कोटकासिम में ट्रेंकुलाइज किया. उसके बाद दोनों ही राज्यों के वन अधिकारियों ने राहत की सांस ली.
वन विभाग के अधिकारी संग्राम सिंह ने बताया कि टाइगर एसटी-2303 पिछले ढाई महीने से सरिस्का के जंगल से निकल कर राजस्थान-हरियाणा बॉर्डर पर बावल के गांव झाबुआ वन क्षेत्र में आ गया था. वहीं, पिछले कई दिनों से इसी इलाके में घूम रहा था. इससे यहां के स्थानीय बाशिंदें खौफजदा थे. साथ ही राजस्थान और हरियाणा वन विभाग की टीम बीते कई दिनों से उसे पकड़ने में लगी थी, लेकिन फसल खड़ी होने के कारण वो पकड़ में नहीं आ रहा था. आखिरकार रविवार शाम को टाइगर एसटी-2303 को ट्रेंकुलाइज कर लिया गया और फिर उसे अधिकारियों के निर्देश पर दूसरी जगह शिफ्ट करने की तैयारी चल रही है.
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वन विभाग के अधिकारी संग्राम सिंह ने बताया कि टाइगर एसटी-2303 को ट्रेंकुलाइज करने के बाद अब उसे किसी अन्य जगह शिफ्ट किया जाएगा. फिलहाल इसकी तैयारी चल रही है.