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आबादी में पैंथर: पिंजरे तक आकर लौट गया, मेमने का नहीं किया शिकार - PANTHER IN ALWAR

अलवर के आर आर कॉलेज में पिछले 36 घंटे से पैंथर की हचलल है. उसे दूसरे दिन भी नहीं पकड़ा जा सका.

Panther in Alwar
पिंजरे तक आकर लौट गया, मेमने का शिकार भी नहीं किया (Photo ETV Bharat Alwar)
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Dec 3, 2024, 1:14 PM IST

Updated : Dec 3, 2024, 2:16 PM IST

अलवर: शहर के आरआर कॉलेज कैम्पस में बीते छत्तीस घंटे से पैंथर की हलचल है. शहर में दहशत का माहौल है, लेकिन पैंथर अभी तक पकड़ में नहीं आ सका. वन कर्मियों की टीम क्षेत्र में लगातार मॉनिटरिंग कर रही है. उसे पकड़ने के लिए वन विभाग ने सोमवार को आर आर कॉलेज के कैम्पस में पिंजरा लगाया, लेकिन वह ट्रैप नहीं हो पाया. पैंथर के नए पगमार्क पिंजरे के पास मिले हैं. वन विभाग की ओर से मंगलवार को फिर से पिंजरे के पास मेमना बंधा जाएगा, ताकि वह शिकार के लिए आते ही पैंथर पिंजरे में कैद हो सके.

आबादी में पैंथर (Video ETV Bharat Alwar)

अलवर वन मंडल के डीएफओ राजेंद्र कुमार हुड्डा ने बताया कि आरआर कॉलेज परिसर में 50 हेक्टेयर का घना जंगल है. इसके चलते पैंथर का मूवमेंट स्पष्ट नहीं हो पा रहा. हालांकि रात में पैंथर मूवमेंट कर रहा है, जिसके पगमार्क भी जगह-जगह पर मिले हैं. उन्होंने बताया कि पैंथर को ट्रैप के लिए सोमवार को वन विभाग की ओर से पेड़ पर 3 कैमरे लगाए गए. हनुमान मंदिर के पास पिंजरा भी रखा गया, जिसमें मेमने को बांधा गया था.

पढ़ें: जंगल से बस्ती में आया पैंथर, पकड़ने के लिए सरिस्का से अलवर पहुंची टीम

उन्होंने बताया कि सोमवार रात को पैंथर का मूवमेंट पिंजरे के आसपास मिला है, जिससे लगता है कि वह पिंजरे के पास आया, लेकिन बिना शिकार किए ही वापस लौट गया. ऐसे में वह पकड़ से बाहर है. अब वापस मेमना बांधा जाएगा. इधर, पिंजरे के पास पैंथर का पगमार्क मिलने के बाद वन विभाग की टीम ने आसपास के क्षेत्र में सर्च अभियान चलाया, लेकिन अभी तक स्थिति स्पष्ट नहीं हो पाई.

डीएफओ हुड्डा ने बताया कि संभवत: पैंथर इस क्षेत्र में कई समय से रह रहा है, जिसके चलते उसका यहां हैबिटेट बन गया है. इस क्षेत्र में बड़ी संख्या में नीलगाय, सांभर, सूअर सहित अन्य वन्य जीव है. वहीं पानी के स्रोत भी पर्याप्त मात्रा में है. जो बाघ के लिए अनुकूल है.

कॉलेज का मेन गेट बंद कराया: डीएफओ ने बताया कि पैंथर को ट्रेंकुलाइज करने से बचा जा रहा है. उसे नेचुरल तरीके से पकड़ने के प्रयास किए जा रहे हैं. ट्रैप के बाद उसे सरिस्का के जंगलों में छोड़ा जाएगा. उन्होंने बताया कि कॉलेज परिसर में गेट खुला होने के चलते वह एक जगह से निकलकर दूसरी जगह पहुंचा. अब वन विभाग की टीम ने कॉलेज के मेन गेट को बंद करवा दिया है.लोगों से भी समझाइश की गई है कि वह कॉलेज परिसर के अंदर नहीं जाएं.उन्होंने बताया कि पैंथर की मॉनिटरिंग व सर्च के लिए सरिस्का टाइगर रिजर्व व अलवर मंडल की टीम संयुक्त रूप से प्रयास कर रही है.

अलवर: शहर के आरआर कॉलेज कैम्पस में बीते छत्तीस घंटे से पैंथर की हलचल है. शहर में दहशत का माहौल है, लेकिन पैंथर अभी तक पकड़ में नहीं आ सका. वन कर्मियों की टीम क्षेत्र में लगातार मॉनिटरिंग कर रही है. उसे पकड़ने के लिए वन विभाग ने सोमवार को आर आर कॉलेज के कैम्पस में पिंजरा लगाया, लेकिन वह ट्रैप नहीं हो पाया. पैंथर के नए पगमार्क पिंजरे के पास मिले हैं. वन विभाग की ओर से मंगलवार को फिर से पिंजरे के पास मेमना बंधा जाएगा, ताकि वह शिकार के लिए आते ही पैंथर पिंजरे में कैद हो सके.

आबादी में पैंथर (Video ETV Bharat Alwar)

अलवर वन मंडल के डीएफओ राजेंद्र कुमार हुड्डा ने बताया कि आरआर कॉलेज परिसर में 50 हेक्टेयर का घना जंगल है. इसके चलते पैंथर का मूवमेंट स्पष्ट नहीं हो पा रहा. हालांकि रात में पैंथर मूवमेंट कर रहा है, जिसके पगमार्क भी जगह-जगह पर मिले हैं. उन्होंने बताया कि पैंथर को ट्रैप के लिए सोमवार को वन विभाग की ओर से पेड़ पर 3 कैमरे लगाए गए. हनुमान मंदिर के पास पिंजरा भी रखा गया, जिसमें मेमने को बांधा गया था.

पढ़ें: जंगल से बस्ती में आया पैंथर, पकड़ने के लिए सरिस्का से अलवर पहुंची टीम

उन्होंने बताया कि सोमवार रात को पैंथर का मूवमेंट पिंजरे के आसपास मिला है, जिससे लगता है कि वह पिंजरे के पास आया, लेकिन बिना शिकार किए ही वापस लौट गया. ऐसे में वह पकड़ से बाहर है. अब वापस मेमना बांधा जाएगा. इधर, पिंजरे के पास पैंथर का पगमार्क मिलने के बाद वन विभाग की टीम ने आसपास के क्षेत्र में सर्च अभियान चलाया, लेकिन अभी तक स्थिति स्पष्ट नहीं हो पाई.

डीएफओ हुड्डा ने बताया कि संभवत: पैंथर इस क्षेत्र में कई समय से रह रहा है, जिसके चलते उसका यहां हैबिटेट बन गया है. इस क्षेत्र में बड़ी संख्या में नीलगाय, सांभर, सूअर सहित अन्य वन्य जीव है. वहीं पानी के स्रोत भी पर्याप्त मात्रा में है. जो बाघ के लिए अनुकूल है.

कॉलेज का मेन गेट बंद कराया: डीएफओ ने बताया कि पैंथर को ट्रेंकुलाइज करने से बचा जा रहा है. उसे नेचुरल तरीके से पकड़ने के प्रयास किए जा रहे हैं. ट्रैप के बाद उसे सरिस्का के जंगलों में छोड़ा जाएगा. उन्होंने बताया कि कॉलेज परिसर में गेट खुला होने के चलते वह एक जगह से निकलकर दूसरी जगह पहुंचा. अब वन विभाग की टीम ने कॉलेज के मेन गेट को बंद करवा दिया है.लोगों से भी समझाइश की गई है कि वह कॉलेज परिसर के अंदर नहीं जाएं.उन्होंने बताया कि पैंथर की मॉनिटरिंग व सर्च के लिए सरिस्का टाइगर रिजर्व व अलवर मंडल की टीम संयुक्त रूप से प्रयास कर रही है.

Last Updated : Dec 3, 2024, 2:16 PM IST
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