जालौर : जवाई बांध के पानी में जालौर का एक तिहाई हिस्सा तय करने की मांग को लेकर जिले के किसानों ने जालौर किसान संघर्ष समिति का गठन किया. इस संबंध में प्रधानमंत्री के नाम एडीएम राजेश मेवाड़ा को ज्ञापन भी सौंपा गया. ज्ञापन में बताया गया कि जवाई बांध में जालौर की हिस्सेदारी तय होनी चाहिए ताकि किसानों के लिए खेती आसान हो सके.
जिले के अलग-अलग हिस्सों से आए किसान गुरुवार को कलेक्ट्रेट के बाहर गार्डन में एकत्रित हुए. दोपहर 1ः30 बजे किसान करणसिंह जैतावत के नेतृत्व में कलेक्ट्रेट के मुख्य द्वार पर एकत्र हुए. उन्होंने यहां जिला कलेक्टर से बाहर आकर ज्ञापन लेने की मांग की. उनके स्थान पर तहसीलदार बाबूसिंह राजपुरोहित आए, लेकिन किसानों ने उनको ज्ञापन देने से इनकार कर दिया. इसके बाद किसान वापस जाकर गार्डन में बैठ गए.
किसान करणसिंह जैतावत ने बताया कि किसान दोपहर बाद 3ः30 बजे फिर कलेक्ट्रेट पर एकत्र हुए और कलेक्टर को बाहर बुलाने की मांग की. उन्होंने यह भी कहा कि यदि कलेक्टर नहीं आए तो उनके चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी को ही ज्ञापन लेने मुख्य द्वार पर भेज दिया जाए. इस पर तहसीलदार ने यह कहते हुए इनकार कर दिया कि मुख्यालय पर तहसीलदार, एसडीएम व एडीएम की मौजूदगी होने के बावजूद सहायक कर्मचारी को ज्ञापन देना व्यवस्था के खिलाफ है. ऐसे में वे इन तीन अधिकारियों में से किसी को भी ज्ञापन दे सकते हैं. काफी देर तक खींचतान के बाद किसानों ने कहा कि मुख्य द्वार पर आकर एडीएम ज्ञापन प्राप्त करें. इसके बाद अतिरिक्त जिला कलेक्टर राजेश मेवाड़ा ने कलेक्ट्रेट के मुख्य द्वार पर आकर किसानों से ज्ञापन प्राप्त किया. किसानों ने ज्ञापन के जरिए कहा कि आगामी 1 महीने में जवाई बांध में जालौर का हक तय कर दिया जाए, अन्यथा जालौर किसान संघर्ष समिति मुख्यालय पर बड़ा महापड़ाव करेगी.