पटना: बिहार में राज्यसभा की छह सीटों पर चुनाव हो रहा है, इनमें से भारतीय जनता के 2, जेडीयू के एक और कांग्रेस के कैंडिडेट ने नोमिनेशन कर दिया है, जबकि आरजेडी से दो प्रत्याशी पर्चा दाखिल करेंगे. इसको लेकर बीजेपी सांसद सुशील कुमार मोदी ने डॉ. भीम सिंह, धर्मशीला गुप्ता और संजय झा को जीत की अग्रिम बधाई दी. उन्होंने कहा कि चंद्रवंशी समाज के भीम सिंह और तेली समाज की धर्मशीला गुप्ता को राज्यसभा भेजने का निर्णय अतिपिछड़ा और महिला को सम्मान देने की भारतीय जनता पार्टी की प्रतिबद्धता के अनुरूप है.
सुशील मोदी ने नेतृत्व का जताया आभार: सुशील मोदी ने राज्यसभा सदस्य के रूप में अपना कार्यकाल पूरा होने पर बीजेपी नेतृत्व के प्रति आभार व्यक्त करते हुए कहा कि देश में उनके जैसे कम ही कार्यकर्ता होंगे, जिन्हें 33 साल के सार्वजनिक जीवन में राज्यसभा, लोकसभा, विधान परिषद और विधान सभा सहित सभी चार सदनों का सदस्य रहने का सौभाग्य मिला हो. वह करीब 10 साल तक बिहार के उपमुख्यमंत्री और वित्त मंत्री रहे. वित्त मंत्री रहते उन्हें राज्यों के वित्त मंत्रियों की प्राधिकृत समिति का अध्यक्ष बनाया गया था.
नेता प्रतिपक्ष भी रहे हैं सुशील मोदी: सुशील मोदी लालू-राज के कठिन दौर में 8 साल तक विधान सभा में विपक्ष के नेता रहे. उस समय सत्तारूढ़ दल के लोग विपक्ष को बोलने नहीं देते थे और सदन के भीतर हाथ से कागज तक छीन लेते थे. उन्होंने 5 साल तक विधान परिषद में भी नेता-प्रतिपक्ष का दायित्व निभाया.
जेपी आंदोलन के दौरान जेल गए थे: जेपी आंदोलन में सक्रियता और आपातकाल में 19 महीने की जेल काटने के बाद सुशील मोदी जब मुख्यधारा की राजनीति में आए, तब लगातार 15 साल विधायक और 9 साल विधान परिषद के सदस्य रहे. उन्होंने लोकसभा में भागलपुर संसदीय क्षेत्र का प्रतिनिधित्व किया. राज्य सभा सदस्य बनने पर वे सदन की विधि एवं न्याय समिति के अध्यक्ष रहे. मोदी ने अपने लंबे संसदीय जीवन में जनता से जुड़े अनेक मुद्दे उठाये, लेकिन कभी सदन की गरिमा के विपरीत आचरण नहीं किया. उन्होंने कहा कि वे अंतिम क्षण तक अपनी पार्टी के माध्यम से समाजिक जीवन में योगदान करते रहेंगे.
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