जयपुर: सुप्रीम कोर्ट ने जल जीवन मिशन भ्रष्टाचार मामले में न्यायिक अभिरक्षा में चल रहे आरोपी संजय बडाया को जमानत पर रिहा करने के आदेश दिए हैं. जस्टिस बीआर गवई और जस्टिस केवी विश्वनाथन की खंडपीठ ने यह आदेश संजय बडाया की एसएलपी पर सुनवाई करते हुए दिए. अदालत ने अपने आदेश में कहा कि मामले में आरोपी बडाया पर लगाए गए आरोप अन्य आरोपी पीयूष जैन पर लगाए आरोपों के समान ही हैं और उसे गत 9 सितंबर को जमानत का लाभ दिया जा चुका है.
एसएलपी में कहा गया कि वह लंबे समय से जेल में बंद है और प्रकरण के अन्य आरोपी को पूर्व में ही जमानत दी जा चुकी है. प्रकरण में करीब पचास गवाहों के बयान होने हैं और प्रकरण से जुड़े करीब आठ हजार पृष्ठों का परीक्षण होना है, जिसमें समय लगने की संभावना है. ऐसे में उसे जमानत पर रिहा किया जाए. जिसका विरोध करते हुए ईडी की ओर से अधिवक्ता जोहेब हुसैन ने कहा कि आरोपी ने जल जीवन मिशन में काम कर रही फर्मो से भारी मात्रा में पैसा प्राप्त किया और पीएचईडी विभाग के अधिकारियों के साथ भी मिलीभगत की.
इसलिए आरोपी को जमानत पर रिहा नहीं किया जा सकता. गौरतलब है कि जल जीवन मिशन में भ्रष्टाचार को लेकर एसीबी ने मामला दर्ज किया था. वहीं, बाद में करोडों रुपए के लेनदेन को देखते हुए ईडी ने भी अलग से मामला दर्ज किया था.