जयपुर : जेल प्रहरी भर्ती परीक्षा-2018 में ऑनलाइन परीक्षा से पहले लीक पर्चा पढ़कर जेल प्रहरी बने तीन आरोपियों को एसओजी ने गिरफ्तार कर लिया है. इस मामले में एसओजी पहले 11 आरोपियों को गिरफ्तार कर चुकी है. अब चयनित हुए तीन जेल प्रहरियों को एसओजी ने दबोच लिया है. एसओजी-एटीएस के एडीजी वीके सिंह ने बताया कि जेल प्रहरी भर्ती-2018 की परीक्षा शुरू होने से पहले पेपर लीक कर उत्तर कुंजी से नकल करने के मामले में एसओजी थाने में मुकदमा दर्ज किया गया था. इस मामले में एसओजी ने पहले 11 आरोपियों को गिरफ्तार किया था. जांच में आपराधिक भूमिका पाए जाने पर तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है.
दौसा, बहरोड़ और कोटपूतली में तैनात थे आरोपी : एडीजी वीके सिंह ने बताया कि वैर जिले के नगला गुठाकर निवासी हरेंद्र सिंह (जेल प्रहरी, दौसा), बहरोड़ के गुगड़िया गांव निवासी दीपक मेहता (जेल प्रहरी बहरोड़) और हरियाणा के मंडलना निवासी योगेश कुमार (जेल प्रहरी कोटपूतली) को एसओजी ने गिरफ्तार किया है. दीपक मेहता अभी अजमेर में ट्रेनिंग पर चल रहा था. उसे अजमेर से हिरासत में लिया गया, जबकि हरेंद्र सिंह को दौसा और योगेश कुमार को कोटपूतली से हिरासत में लिया गया.
तीनों को 19 अगस्त तक लिया रिमांड पर : जेल प्रहरी भर्ती की परीक्षा अक्टूबर 2018 में ऑनलाइन मोड पर हुई थी. इस भर्ती परीक्षा में नकल माफिया ने परीक्षा शुरू होने से पहले प्रश्न पत्र लीक किए और उत्तर कुंजी से अभ्यर्थियों को तैयारी करवाकर अनुचित तरीके से जेल प्रहरी के रूप में चयन करवाया था. महेंद्र सिंह, दीपक मेहता और योगेश कुमार ने पेपर पढ़कर परीक्षा पास की थी, उन्हें गिरफ्तार कर एसओजी ने कोर्ट में पेश किया. कोर्ट ने तीनों को 19 अगस्त तक एसओजी की रिमांड पर सौंपा है. उनसे पूछताछ और अनुसंधान जारी है.