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लोकसभा चुनाव की परीक्षा में फेल हुए भजनलाल के ये 6 मंत्री, नहीं बचा पाए अपना क्षेत्र - Ministers Performance Report

Rajasthan Ministers Failed, राजस्थान में लोकसभा चुनाव के रण में इस बार जनता ने अपना पावर दिखाया. विजय रथ पर सवार भाजपा को जनता ने रोक दिया, जिसका प्रतिफल परिणाम के रूप में हमारे सामने है. वहीं, जनता के पावर गेम के आगे न तो किसी केंद्रीय मंत्री की चली और न ही राज्य के मुख्यमंत्री की. ऐसे में अब पार्टी मंत्रियों की परफॉर्मेंस रिपोर्ट तैयार कर रही है.

Rajasthan Ministers Failed
फेल हुए भजनलाल के ये 6 मंत्री (ETV BHARAT JAIPUR)
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Jun 7, 2024, 4:51 PM IST

राजस्थान में मंत्रियों का प्रदर्शन (ETV BHARAT JAIPUR)

जयपुर. मिशन 25 को लेकर चल रही राजस्थान भाजपा को इस लोकसभा चुनाव में बड़ा झटका लगा है. 25 लोकसभा सीटों में से पार्टी को 11 सीटों पर हार का सामना करना पड़ा. इस परिणाम ने प्रदेश से लेकर केंद्रीय नेतृत्व तक को चौंका दिया. ऐसे में अब राजनीतिक मंथनों का दौर शुरू हो गया है. प्रदेश भाजपा हार की वजहों के साथ ही मंत्रियों की परफॉर्मेंस रिपोर्ट भी तैयार कर रही है. वहीं, छह मंत्री ऐसे हैं, जो अपना विधानसभा क्षेत्र भी नहीं बचा पाए, जबकि 10 मंत्री अपने प्रभार वाले लोकसभा क्षेत्र में पूरी तरह से फेल हो गए. सूत्रों की मानें तो जल्द ही खराब परफॉर्मेंस वाले मंत्रियों पर गाज गिर सकती है.

खराब परफॉर्मेंस का होगा नुकसान : विधानसभावार भाजपा का प्रदर्शन देखा जाए तो 107 विधानसभाओं में भाजपा को बढ़त मिली है, लेकिन 33 विधानसभा सीटें ऐसी रही, जो विधानसभा में तो जीती लेकिन लोकसभा में उन सीटों पर हार का मुंह देखना पड़ा. दूसरी तरफ 25 विधानसभा सीटें ऐसी रही हैं, जहां विधानसभा चुनाव में भाजपा पिछड़ा गई थी और अब लोकसभा चुनाव में उसे बढ़त हासिल हुई है. नतीजों पर अब हर कोई चर्चा कर रहा है. सियासी गलियारे से लेकर सचिवालय और गांव की चौपालों तक पर चर्चाओं का दौर शुरू हो गया है.

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इतना ही नहीं पार्टी संगठन के स्तर पर भी अपेक्षा के विपरीत आए परिणाओं पर मंथन हो रहा है. सूत्रों की मानें तो विधानसभावार रिपोर्ट भी तैयार की जा रही है, लेकिन इस बीच मंत्रियों के प्रभार और गृह क्षेत्र में भाजपा के पिछड़ने का एक बड़ा सवाल भाजपाइयों के बीच गूंज रहा है. 11 सीटें हारने की गणित को भी देखा जा रहा है. मंत्रियों के विधानसभा क्षेत्र और प्रभार वाले लोकसभा क्षेत्र के परिणामों की रिपोर्ट तैयार हो रही है. परफॉर्मेंस के आधार पर तैयार हो रही यह रिपोर्ट आने वाले समय में मंत्रीमंडल के बदलाव के संकेत दे रही है.

छह मंत्री अपने क्षेत्र में तो 10 प्रभार वाले क्षेत्र में हुए फेल : राजस्थान सरकार के मंत्रियों की परफॉर्मेंस को देखा जाए तो मंत्री सुमित गोदारा, जवाहर बेढम, किरोड़ीलाल मीणा, गजेंद्र सिंह खींवसर, केके विश्नोई और मंजू बाघमार अपने ही घर में हार गए. वहीं, 23 लोकसभा सीटों में लगाए गए मंत्रियों में से 10 मंत्री अपने प्रभार वाले क्षेत्र में बेहतर प्रदर्शन नहीं कर पाए हैं. भाजपा जिन 11 लोकसभा सीटों को हारी है, उनमें से 10 सीटों पर मंत्रियों को प्रभारी बनाया गया था. वहां भी नतीजे भाजपा के पक्ष में नहीं आए.

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मंत्री सुमित गोदारा, अविनाश गहलोत, गौतम दक, संजय शर्मा, जवाहर बेढम, राज्यवर्धन सिंह, मदन दिलावर, कन्हैया लाल चौधरी, जोराराम कुमावत और बाबूलाल खराड़ी के प्रभार वाले लोकसभा में भाजपा प्रत्याशी को हार का सामना करना पड़ा. वहीं, झुंझुनू में विधायक बाबा बालकनाथ को प्रभारी बनाया गया था, लेकिन शेखावाटी पूरी तरह से भाजपा के हाथ से निकल गई.

मंत्रियों की परफॉर्मेंस

डिप्टी सीएम दीया कुमारी : दीया कुमारी अपने विधानसभा क्षेत्र विद्याधर नगर में भाजपा को जीत दर्ज करने में कामयाब रहीं. साथ ही प्रभार वाले अजमेर में भी पार्टी को सफलता मिली है.

डिप्टी सीएम प्रेमचंद बैरवा : बैरवा अपने विधानसभा क्षेत्र दूदू में भाजपा को जीत दर्ज करने में कामयाब रहे. साथ ही प्रभार वाले कोटा लोकसभा सीट पर भी पार्टी को जीत मिली है.

मंत्री सुरेश रावत : रावत अपने विधानसभा क्षेत्र पुष्कर में भाजपा को जिताने में कामयाब रहे. साथ ही प्रभार वाले अलवर में भी पार्टी को जीत मिली है.

मंत्री विजय सिंह चौधरी : चौधरी अपने विधानसभा क्षेत्र नावा में जीती दर्ज कराने में कामयाब रहे. साथ ही प्रभार वाले लोकसभा में भी पार्टी को जीत मिली है.

मंत्री ओटाराम देवासी : देवासी अपने विधानसभा क्षेत्र सिरोही से बढ़त दिलाने में कामयाब रहे. साथ ही प्रभार वाले लोकसभा बारां-झालावाड़ में भी पार्टी बड़ी जीत मिली है.

मंत्री हेमंत मीणा : मीणा अपने विधानसभा क्षेत्र प्रतापगढ़ से बढ़त दिलाने में कामयाब रहे. साथ ही प्रभार वाले लोकसभा क्षेत्र उदयपुर में भी पार्टी को जीत दर्ज कराने में सफल रहे.

मंत्री हीरा लाल नागर : नागर ने अपने सांगोद विधानसभा में भाजपा को लीड दिलाई. साथ ही प्रभार वाले लोकसभा क्षेत्र भीलवाड़ा में जीत दर्ज करने में कामयाब रहे.

मंत्री सुमित गोदारा : गोदारा अपने विधानसभा क्षेत्र लूणकरणसर में पिछड़ गए. साथ ही अपने प्रभार वाली श्रीगंगानगर हनुमानगढ़ सीट भी नहीं जीता सके.

मंत्री कर्नल राज्यवर्धन राठौड़ : राठौड़ ने अपने विधानसभा झोटवाड़ा में भाजपा को बड़ी बढ़त दिलाने में कामयाब रहे, लेकिन प्रभार वाले दौसा सीट पर जीत नहीं दिला सके.

मंत्री संजय शर्मा : शर्मा अपनी विधानसभा अलवर क्षेत्र में तो भाजपा को बढ़त दिलाने में कामयाब रहे, लेकिन प्रभार वाले भरतपुर लोकसभा सीट पर जीत नहीं दिला सके.

मंत्री जवाहर सिंह बेढम : बेढम अपनी विधानसभा नगर क्षेत्र में भी हार गए और प्रभार वाले करौली-धौलपुर लोकसभा सीट पर पार्टी को नहीं जीता सके.

मंत्री किरोड़ीलाल मीणा : मीणा अपने विधानसभा क्षेत्र सवाई माधोपुर में भी पार्टी को नहीं जीता सके, लेकिन अपने प्रभार वाले जयपुर ग्रामीण सीट पर पार्टी को जिताने में कामयाब रहे.

मंत्री कन्हैयालाल चौधरी : चौधरी अपने विधानसभा क्षेत्र मालपुरा में भाजपा को बढ़त दिलाने में कामयाब रहे, लेकिन प्रभार वाली नागौर लोकसभा सीट पर जीत नहीं दिला सके.

मंत्री मंजू बाघमार : बाघमार अपने विधानसभा क्षेत्र जायल में हारी, लेकिन प्रभार वाले लोकसभा क्षेत्र राजसमंद में जीत दर्ज करने में कामयाब रही.

मंत्री जोराराम कुमावत : कुमावत अपनी सुमेरपुर विधानसभा क्षेत्र में जीत दर्ज कराने में तो कामयाब रहे, लेकिन प्रभार वाले लोकसभा क्षेत्र बाड़मेर में जीत नहीं दिला सके.

मंत्री अविनाश गहलोत : गहलोत अपने विधानसभा क्षेत्र जैतारण में तो पार्टी को जिताने में सफल रहे, लेकिन उनके प्रभार वाले चूरू लोकसभा सीट पर पार्टी को हार का सामना करना पड़ा.

चिकित्सा मंत्री गजेंद्र सिंह खींवसर : खींवसर अपने विधानसभा क्षेत्र लोहावट को भी हार गए, लेकिन प्रभार वाले लोकसभा क्षेत्र बीकानेर में पार्टी को जीत मिली.

संसदीय मंत्री जोगाराम पटेल : पटेल अपने विधानसभा क्षेत्र लूणी में जीत दिलाने में असफल रहे, लेकिन जयपुर शहर सीट से जीत दर्ज कराने में कामयाब रहे.

मंत्री केके विश्नोई : विश्नोई अपने विधानसभा क्षेत्र गुढामालानी में बढ़त नहीं दिला सके, लेकिन प्रभार वाले जालोर-सिरोही लोकसभा में जीत दर्ज करने में कामयाब रहे.

मंत्री बाबूलाल खराड़ी : खराड़ी अपने विधानसभा क्षेत्र झाडोल में बढ़त दिलाने में कामयाब रहे, लेकिन प्रभार वाले बांसवाड़ा-डूंगरपुर लोकसभा सीट पर जीत दर्ज करने में कामयाब नहीं हुए.

मंत्री गौतम दक : दक अपने विधानसभा क्षेत्र बड़ी सादड़ी में बढ़त दिलाने में कामयाब रहे, लेकिन प्रभार वाले लोकसभा क्षेत्र सीकर में जीत दर्ज नहीं करा पाए.

मदन दिलावर : दिलावर अपने विधानसभा क्षेत्र से बढ़त दिलाने में कामयाब रहे, लेकिन प्रभार वाले लोकसभा क्षेत्र टोंक-सवाई माधोपुर से जीत दर्ज नहीं करा पाए.

हार पर मंथन : चुनाव परिणामों के बाद मंत्री भी अब परफॉर्मेंस रिपोर्ट को लेकर चिंतित हैं. मंत्री सुरेश रावत ने कहा कि परिणाम अपेक्षा के अनुरुप नहीं आए. ऐसे में अब परिणामों की समीक्षा की जाएगी. उधर, मंत्री झाबर सिंह खर्रा ने कहा कि हार के कारणों की समीक्षा होनी चाहिए. किस पर क्या एक्शन लेना है, इसका फैसला पार्टी शीर्ष नेतृत्व का है. हार के कई कारण हैं. उन सब पर चर्चा होनी चाहिए.

राजस्थान में मंत्रियों का प्रदर्शन (ETV BHARAT JAIPUR)

जयपुर. मिशन 25 को लेकर चल रही राजस्थान भाजपा को इस लोकसभा चुनाव में बड़ा झटका लगा है. 25 लोकसभा सीटों में से पार्टी को 11 सीटों पर हार का सामना करना पड़ा. इस परिणाम ने प्रदेश से लेकर केंद्रीय नेतृत्व तक को चौंका दिया. ऐसे में अब राजनीतिक मंथनों का दौर शुरू हो गया है. प्रदेश भाजपा हार की वजहों के साथ ही मंत्रियों की परफॉर्मेंस रिपोर्ट भी तैयार कर रही है. वहीं, छह मंत्री ऐसे हैं, जो अपना विधानसभा क्षेत्र भी नहीं बचा पाए, जबकि 10 मंत्री अपने प्रभार वाले लोकसभा क्षेत्र में पूरी तरह से फेल हो गए. सूत्रों की मानें तो जल्द ही खराब परफॉर्मेंस वाले मंत्रियों पर गाज गिर सकती है.

खराब परफॉर्मेंस का होगा नुकसान : विधानसभावार भाजपा का प्रदर्शन देखा जाए तो 107 विधानसभाओं में भाजपा को बढ़त मिली है, लेकिन 33 विधानसभा सीटें ऐसी रही, जो विधानसभा में तो जीती लेकिन लोकसभा में उन सीटों पर हार का मुंह देखना पड़ा. दूसरी तरफ 25 विधानसभा सीटें ऐसी रही हैं, जहां विधानसभा चुनाव में भाजपा पिछड़ा गई थी और अब लोकसभा चुनाव में उसे बढ़त हासिल हुई है. नतीजों पर अब हर कोई चर्चा कर रहा है. सियासी गलियारे से लेकर सचिवालय और गांव की चौपालों तक पर चर्चाओं का दौर शुरू हो गया है.

इसे भी पढ़ें - सचिन पायलट बोले- धर्म की राजनीति को जनता ने नकारा, राजस्थान में मिली कांग्रेस को बड़ी सफलता - Sachin Pilot Big Attack On Bjp

इतना ही नहीं पार्टी संगठन के स्तर पर भी अपेक्षा के विपरीत आए परिणाओं पर मंथन हो रहा है. सूत्रों की मानें तो विधानसभावार रिपोर्ट भी तैयार की जा रही है, लेकिन इस बीच मंत्रियों के प्रभार और गृह क्षेत्र में भाजपा के पिछड़ने का एक बड़ा सवाल भाजपाइयों के बीच गूंज रहा है. 11 सीटें हारने की गणित को भी देखा जा रहा है. मंत्रियों के विधानसभा क्षेत्र और प्रभार वाले लोकसभा क्षेत्र के परिणामों की रिपोर्ट तैयार हो रही है. परफॉर्मेंस के आधार पर तैयार हो रही यह रिपोर्ट आने वाले समय में मंत्रीमंडल के बदलाव के संकेत दे रही है.

छह मंत्री अपने क्षेत्र में तो 10 प्रभार वाले क्षेत्र में हुए फेल : राजस्थान सरकार के मंत्रियों की परफॉर्मेंस को देखा जाए तो मंत्री सुमित गोदारा, जवाहर बेढम, किरोड़ीलाल मीणा, गजेंद्र सिंह खींवसर, केके विश्नोई और मंजू बाघमार अपने ही घर में हार गए. वहीं, 23 लोकसभा सीटों में लगाए गए मंत्रियों में से 10 मंत्री अपने प्रभार वाले क्षेत्र में बेहतर प्रदर्शन नहीं कर पाए हैं. भाजपा जिन 11 लोकसभा सीटों को हारी है, उनमें से 10 सीटों पर मंत्रियों को प्रभारी बनाया गया था. वहां भी नतीजे भाजपा के पक्ष में नहीं आए.

इसे भी पढ़ें - Live Update: एनडीए के नेता चुने गए नरेंद्र मोदी, आडवाणी-जोशी से की मुलाकात - Nda Pm Modi India Alliance Rahul Gandhi

मंत्री सुमित गोदारा, अविनाश गहलोत, गौतम दक, संजय शर्मा, जवाहर बेढम, राज्यवर्धन सिंह, मदन दिलावर, कन्हैया लाल चौधरी, जोराराम कुमावत और बाबूलाल खराड़ी के प्रभार वाले लोकसभा में भाजपा प्रत्याशी को हार का सामना करना पड़ा. वहीं, झुंझुनू में विधायक बाबा बालकनाथ को प्रभारी बनाया गया था, लेकिन शेखावाटी पूरी तरह से भाजपा के हाथ से निकल गई.

मंत्रियों की परफॉर्मेंस

डिप्टी सीएम दीया कुमारी : दीया कुमारी अपने विधानसभा क्षेत्र विद्याधर नगर में भाजपा को जीत दर्ज करने में कामयाब रहीं. साथ ही प्रभार वाले अजमेर में भी पार्टी को सफलता मिली है.

डिप्टी सीएम प्रेमचंद बैरवा : बैरवा अपने विधानसभा क्षेत्र दूदू में भाजपा को जीत दर्ज करने में कामयाब रहे. साथ ही प्रभार वाले कोटा लोकसभा सीट पर भी पार्टी को जीत मिली है.

मंत्री सुरेश रावत : रावत अपने विधानसभा क्षेत्र पुष्कर में भाजपा को जिताने में कामयाब रहे. साथ ही प्रभार वाले अलवर में भी पार्टी को जीत मिली है.

मंत्री विजय सिंह चौधरी : चौधरी अपने विधानसभा क्षेत्र नावा में जीती दर्ज कराने में कामयाब रहे. साथ ही प्रभार वाले लोकसभा में भी पार्टी को जीत मिली है.

मंत्री ओटाराम देवासी : देवासी अपने विधानसभा क्षेत्र सिरोही से बढ़त दिलाने में कामयाब रहे. साथ ही प्रभार वाले लोकसभा बारां-झालावाड़ में भी पार्टी बड़ी जीत मिली है.

मंत्री हेमंत मीणा : मीणा अपने विधानसभा क्षेत्र प्रतापगढ़ से बढ़त दिलाने में कामयाब रहे. साथ ही प्रभार वाले लोकसभा क्षेत्र उदयपुर में भी पार्टी को जीत दर्ज कराने में सफल रहे.

मंत्री हीरा लाल नागर : नागर ने अपने सांगोद विधानसभा में भाजपा को लीड दिलाई. साथ ही प्रभार वाले लोकसभा क्षेत्र भीलवाड़ा में जीत दर्ज करने में कामयाब रहे.

मंत्री सुमित गोदारा : गोदारा अपने विधानसभा क्षेत्र लूणकरणसर में पिछड़ गए. साथ ही अपने प्रभार वाली श्रीगंगानगर हनुमानगढ़ सीट भी नहीं जीता सके.

मंत्री कर्नल राज्यवर्धन राठौड़ : राठौड़ ने अपने विधानसभा झोटवाड़ा में भाजपा को बड़ी बढ़त दिलाने में कामयाब रहे, लेकिन प्रभार वाले दौसा सीट पर जीत नहीं दिला सके.

मंत्री संजय शर्मा : शर्मा अपनी विधानसभा अलवर क्षेत्र में तो भाजपा को बढ़त दिलाने में कामयाब रहे, लेकिन प्रभार वाले भरतपुर लोकसभा सीट पर जीत नहीं दिला सके.

मंत्री जवाहर सिंह बेढम : बेढम अपनी विधानसभा नगर क्षेत्र में भी हार गए और प्रभार वाले करौली-धौलपुर लोकसभा सीट पर पार्टी को नहीं जीता सके.

मंत्री किरोड़ीलाल मीणा : मीणा अपने विधानसभा क्षेत्र सवाई माधोपुर में भी पार्टी को नहीं जीता सके, लेकिन अपने प्रभार वाले जयपुर ग्रामीण सीट पर पार्टी को जिताने में कामयाब रहे.

मंत्री कन्हैयालाल चौधरी : चौधरी अपने विधानसभा क्षेत्र मालपुरा में भाजपा को बढ़त दिलाने में कामयाब रहे, लेकिन प्रभार वाली नागौर लोकसभा सीट पर जीत नहीं दिला सके.

मंत्री मंजू बाघमार : बाघमार अपने विधानसभा क्षेत्र जायल में हारी, लेकिन प्रभार वाले लोकसभा क्षेत्र राजसमंद में जीत दर्ज करने में कामयाब रही.

मंत्री जोराराम कुमावत : कुमावत अपनी सुमेरपुर विधानसभा क्षेत्र में जीत दर्ज कराने में तो कामयाब रहे, लेकिन प्रभार वाले लोकसभा क्षेत्र बाड़मेर में जीत नहीं दिला सके.

मंत्री अविनाश गहलोत : गहलोत अपने विधानसभा क्षेत्र जैतारण में तो पार्टी को जिताने में सफल रहे, लेकिन उनके प्रभार वाले चूरू लोकसभा सीट पर पार्टी को हार का सामना करना पड़ा.

चिकित्सा मंत्री गजेंद्र सिंह खींवसर : खींवसर अपने विधानसभा क्षेत्र लोहावट को भी हार गए, लेकिन प्रभार वाले लोकसभा क्षेत्र बीकानेर में पार्टी को जीत मिली.

संसदीय मंत्री जोगाराम पटेल : पटेल अपने विधानसभा क्षेत्र लूणी में जीत दिलाने में असफल रहे, लेकिन जयपुर शहर सीट से जीत दर्ज कराने में कामयाब रहे.

मंत्री केके विश्नोई : विश्नोई अपने विधानसभा क्षेत्र गुढामालानी में बढ़त नहीं दिला सके, लेकिन प्रभार वाले जालोर-सिरोही लोकसभा में जीत दर्ज करने में कामयाब रहे.

मंत्री बाबूलाल खराड़ी : खराड़ी अपने विधानसभा क्षेत्र झाडोल में बढ़त दिलाने में कामयाब रहे, लेकिन प्रभार वाले बांसवाड़ा-डूंगरपुर लोकसभा सीट पर जीत दर्ज करने में कामयाब नहीं हुए.

मंत्री गौतम दक : दक अपने विधानसभा क्षेत्र बड़ी सादड़ी में बढ़त दिलाने में कामयाब रहे, लेकिन प्रभार वाले लोकसभा क्षेत्र सीकर में जीत दर्ज नहीं करा पाए.

मदन दिलावर : दिलावर अपने विधानसभा क्षेत्र से बढ़त दिलाने में कामयाब रहे, लेकिन प्रभार वाले लोकसभा क्षेत्र टोंक-सवाई माधोपुर से जीत दर्ज नहीं करा पाए.

हार पर मंथन : चुनाव परिणामों के बाद मंत्री भी अब परफॉर्मेंस रिपोर्ट को लेकर चिंतित हैं. मंत्री सुरेश रावत ने कहा कि परिणाम अपेक्षा के अनुरुप नहीं आए. ऐसे में अब परिणामों की समीक्षा की जाएगी. उधर, मंत्री झाबर सिंह खर्रा ने कहा कि हार के कारणों की समीक्षा होनी चाहिए. किस पर क्या एक्शन लेना है, इसका फैसला पार्टी शीर्ष नेतृत्व का है. हार के कई कारण हैं. उन सब पर चर्चा होनी चाहिए.

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