ETV Bharat / state

रियल है ये स्टोरी, एक ही हाथ से बल्लेबाजी और गेंदबाजी, फिल्म घूमर से मिलती है हिमाचल के शुभम की कहानी - हिमाचल प्रदेश न्यूज

हिमाचल प्रदेश के जिला सिरमौर के रहने वाले 23 साल के शुभम शर्मा एक हादसे में अपना हाथ गंवा बैठे, लेकिन कहते हैं ना ''लोग आपको कैसे देखते हैं वो महत्वपूर्ण नहीं है, आप अपने आप को कैसे देखते हैं ये महत्वपूर्ण है''. आज शुभम शर्मा ने बेहतरीन खिलाड़ी के तौर पर अपनी पहचान बनाई. कैसे? पढ़ें पूरी खबर...

Shubham Sharma of Sirmaur
शुभम शर्मा एक ही हाथ से बल्लेबाजी और गेंदबाजी करता है.
author img

By ETV Bharat Himachal Pradesh Team

Published : Jan 24, 2024, 9:57 AM IST

Updated : Jan 24, 2024, 10:06 AM IST

सिरमौर: बॉलीवुड स्टार अभिषेक बच्चन और स्यामी खेर की फिल्म घूमर तो आपने देखी होगी. इस फिल्म की कहानी महिला क्रिकेटर स्यामी खेर के संघर्ष के ईद-गिर्द बुनी गई है. फिल्म घूमर की कहानी बेशक काल्पनिक हो, लेकिन देवभूमि हिमाचल प्रदेश के सिरमौर जिले में इसी फिल्म से मिलती-जुलती एक हाथ से क्रिकेटर के संघर्ष और समर्पण की सच्ची कहानी मौजूद है. शिलाई विधानसभा क्षेत्र की रोनहाट उपतहसील की पनोग पंचायत के सिधोटी गांव के रहने वाले 23 साल के शुभम शर्मा हादसे में अपना एक हाथ गंवा बैठे, लेकिन वह इसे अपनी कमजोरी न बनाकर ग्रामीण क्षेत्र की क्रिकेट प्रतियोगिताओं में अपना पूरा दमखम दिखा रहे हैं.

दरअसल शुभम अचानक करीब 10 महीने पहले एक हादसे में उस वक्त अपना एक हाथ गंवा बैठे, जब उसने क्रिकेट में उच्च स्तर खेलने का सपना संजोया हुआ था, लेकिन शुभम ने हार नहीं मानी. अवसाद को खुद पर हावी नहीं होने दिया, बल्कि ग्रामीण क्षेत्रों में होने वाली क्रिकेट प्रतियोगिताओं में एक बेहतरीन खिलाड़ी के तौर पर अपनी पहचान बनाई. वर्तमान में क्रिकेट के मैदान में शुभम स्वस्थ खिलाड़ियों के बीच चौके-छक्के लगाते हुए उम्दा बल्लेबाजी करते हैं, तो वहीं जिस तरह से फिल्म में स्यामी खेर एक हाथ से गेंदबाजी करते हुए अपने कोच अभिषेक बच्चन को प्रभावित करती हैं, ठीक उसी तरह शुभम भी राइट आर्म मीडियम फास्ट गेंदबाजी करते हुए लोगों को अचंभित कर रहे हैं. गांव की पिच पर जब शुभम खेलता है, तो हर कोई टकटकी नजरों से उसे देखता है.

Shubham Sharma of Sirmaur
शुभम शर्मा

तीन प्रतियोगिताओं में दिखाया उम्दा खेल: बेशक ही शुभम बड़े टूर्नामेंट न खेले, लेकिन बड़ी बात यह है कि हादसे का सामना करने के बाद भी वह डिप्रेशन में नहीं आया और तमाम मुश्किलों का सामना करते हुए मैदान में अपना हुनर दिखा रहा है. बता दें कि गिरिपार क्षेत्र में जनवरी व फरवरी के दौरान क्रिकेट के सीजन की खुमारी सिर चढ़कर बोलती है. शुभम ने हाल ही में तीन क्रिकेट प्रतियोगिताओं में उम्दा प्रदर्शन किया. कुल मिलाकर शुभम से उन युवाओं को प्रेरणा लेनी चाहिए, जो मामूली सी असफलता या फिर दिव्यांगता पर भी डिप्रेशन का शिकार हो जाते हैं.

2-3 महीने रिकवर होने में लग गए: वहीं, शुभम ने बताया कि वह घर पर काम कर रहे थे. इसी बीच वह हादसे में अपना बायां हाथ गंवा बैठे. इस हादसे से रिकवर होते-होते उन्हें 2 से 3 महीने का समय लग गया. बचपन से क्रिकेट का बहुत शौक था. इसलिए वह मैदान से दूर नहीं रह सकते थे. एक हाथ से बल्लेबाजी व गेंदबाजी का अभ्यास करते रहे और आज कुछ ही समय में वह ग्रामीण स्तर पर होने वाली क्रिकेट प्रतियोगिताओं में भी खेल रहे हैं. अब वह दाएं हाथ से ही बल्लेबाजी करते है. साथ ही राइट आर्म मीडियम फास्ट गेंदबाजी करते हैं. परिवार का भी पूरा सहयोग मिलता है. उन्होंने कहा कि यदि क्रिकेट के क्षेत्र में उन्हें आगे बढ़ने का उचित मौका मिलता है, तो वह जरूर हिस्सा लेंगे. उन्होंने कहा कि यदि अभ्यास और अपना लक्ष्य प्राप्त करने का हौंसला हो, तो कोई भी बाधा आपको नहीं रोक सकती. बस लक्ष्य प्राप्त करने का दृढ़ संकल्प होना चाहिए.

शुभम ने अपने जुनून को नहीं छोड़ा: रवि शुभम के बड़े भाई रवि शर्मा ने बताया कि करीब 10 महीने पहले शुभम को हादसे में एक हाथ गंवाना पड़ा था. क्रिकेट का बेहतरीन खिलाड़ी रहा. अच्छी बात ये है कि शुभम ने अपने जुनून को नहीं छोड़ा. कहा कि वह आज भी ग्रामीण क्षेत्रों की क्रिकेट प्रतियोगिताओं में खेलता है. उन्होंने बताया कि दिव्यांगता के बावजूद भी शुभम घर के कार्यों में खासा हाथ बंटाता है. साथ ही पढ़ाई भी कर रहा है.

ये भी पढ़ें- बाहरी राज्यों के लहसुन ने हिमाचल की मंडियों पर किया कब्जा, 400 रुपये प्रति किलो तक बिक्री

सिरमौर: बॉलीवुड स्टार अभिषेक बच्चन और स्यामी खेर की फिल्म घूमर तो आपने देखी होगी. इस फिल्म की कहानी महिला क्रिकेटर स्यामी खेर के संघर्ष के ईद-गिर्द बुनी गई है. फिल्म घूमर की कहानी बेशक काल्पनिक हो, लेकिन देवभूमि हिमाचल प्रदेश के सिरमौर जिले में इसी फिल्म से मिलती-जुलती एक हाथ से क्रिकेटर के संघर्ष और समर्पण की सच्ची कहानी मौजूद है. शिलाई विधानसभा क्षेत्र की रोनहाट उपतहसील की पनोग पंचायत के सिधोटी गांव के रहने वाले 23 साल के शुभम शर्मा हादसे में अपना एक हाथ गंवा बैठे, लेकिन वह इसे अपनी कमजोरी न बनाकर ग्रामीण क्षेत्र की क्रिकेट प्रतियोगिताओं में अपना पूरा दमखम दिखा रहे हैं.

दरअसल शुभम अचानक करीब 10 महीने पहले एक हादसे में उस वक्त अपना एक हाथ गंवा बैठे, जब उसने क्रिकेट में उच्च स्तर खेलने का सपना संजोया हुआ था, लेकिन शुभम ने हार नहीं मानी. अवसाद को खुद पर हावी नहीं होने दिया, बल्कि ग्रामीण क्षेत्रों में होने वाली क्रिकेट प्रतियोगिताओं में एक बेहतरीन खिलाड़ी के तौर पर अपनी पहचान बनाई. वर्तमान में क्रिकेट के मैदान में शुभम स्वस्थ खिलाड़ियों के बीच चौके-छक्के लगाते हुए उम्दा बल्लेबाजी करते हैं, तो वहीं जिस तरह से फिल्म में स्यामी खेर एक हाथ से गेंदबाजी करते हुए अपने कोच अभिषेक बच्चन को प्रभावित करती हैं, ठीक उसी तरह शुभम भी राइट आर्म मीडियम फास्ट गेंदबाजी करते हुए लोगों को अचंभित कर रहे हैं. गांव की पिच पर जब शुभम खेलता है, तो हर कोई टकटकी नजरों से उसे देखता है.

Shubham Sharma of Sirmaur
शुभम शर्मा

तीन प्रतियोगिताओं में दिखाया उम्दा खेल: बेशक ही शुभम बड़े टूर्नामेंट न खेले, लेकिन बड़ी बात यह है कि हादसे का सामना करने के बाद भी वह डिप्रेशन में नहीं आया और तमाम मुश्किलों का सामना करते हुए मैदान में अपना हुनर दिखा रहा है. बता दें कि गिरिपार क्षेत्र में जनवरी व फरवरी के दौरान क्रिकेट के सीजन की खुमारी सिर चढ़कर बोलती है. शुभम ने हाल ही में तीन क्रिकेट प्रतियोगिताओं में उम्दा प्रदर्शन किया. कुल मिलाकर शुभम से उन युवाओं को प्रेरणा लेनी चाहिए, जो मामूली सी असफलता या फिर दिव्यांगता पर भी डिप्रेशन का शिकार हो जाते हैं.

2-3 महीने रिकवर होने में लग गए: वहीं, शुभम ने बताया कि वह घर पर काम कर रहे थे. इसी बीच वह हादसे में अपना बायां हाथ गंवा बैठे. इस हादसे से रिकवर होते-होते उन्हें 2 से 3 महीने का समय लग गया. बचपन से क्रिकेट का बहुत शौक था. इसलिए वह मैदान से दूर नहीं रह सकते थे. एक हाथ से बल्लेबाजी व गेंदबाजी का अभ्यास करते रहे और आज कुछ ही समय में वह ग्रामीण स्तर पर होने वाली क्रिकेट प्रतियोगिताओं में भी खेल रहे हैं. अब वह दाएं हाथ से ही बल्लेबाजी करते है. साथ ही राइट आर्म मीडियम फास्ट गेंदबाजी करते हैं. परिवार का भी पूरा सहयोग मिलता है. उन्होंने कहा कि यदि क्रिकेट के क्षेत्र में उन्हें आगे बढ़ने का उचित मौका मिलता है, तो वह जरूर हिस्सा लेंगे. उन्होंने कहा कि यदि अभ्यास और अपना लक्ष्य प्राप्त करने का हौंसला हो, तो कोई भी बाधा आपको नहीं रोक सकती. बस लक्ष्य प्राप्त करने का दृढ़ संकल्प होना चाहिए.

शुभम ने अपने जुनून को नहीं छोड़ा: रवि शुभम के बड़े भाई रवि शर्मा ने बताया कि करीब 10 महीने पहले शुभम को हादसे में एक हाथ गंवाना पड़ा था. क्रिकेट का बेहतरीन खिलाड़ी रहा. अच्छी बात ये है कि शुभम ने अपने जुनून को नहीं छोड़ा. कहा कि वह आज भी ग्रामीण क्षेत्रों की क्रिकेट प्रतियोगिताओं में खेलता है. उन्होंने बताया कि दिव्यांगता के बावजूद भी शुभम घर के कार्यों में खासा हाथ बंटाता है. साथ ही पढ़ाई भी कर रहा है.

ये भी पढ़ें- बाहरी राज्यों के लहसुन ने हिमाचल की मंडियों पर किया कब्जा, 400 रुपये प्रति किलो तक बिक्री

Last Updated : Jan 24, 2024, 10:06 AM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.