रीवा: विंध्य क्षेत्र के कई भ्रष्ट अधिकारियों पर रीवा लोकायुक्त पुलिस द्वारा कार्रवाई की गई है. भ्रष्टाचार के सबसे ज्यादा मामले रजस्व विभाग में सामने आये हैं. वहीं, भ्रष्टाचार के मामले में सरकारी कर्मचारियों पर एक्शन पर का सबसे ज्यादा मामला रीवा जिले में आया है. यहां पिछले 3 सालों में 47 कर्मचारियों और अधिकारियों के खिलाफ लोकायुक्त पुलिस की कार्रवाई की गई है.
170 अधिकारी चढ़े लोकायुक्त पुलिस के हत्थे
रीवा लोकायुक्त विभाग द्वारा मिली जानकारी के अनुसार, विभाग ने पिछले 3 सालों में 170 भ्रष्ट अधिकारियों और सरकारी कर्मचारियों के खिलाफ भ्रष्टाचार से संबंधित मामलों में कार्रवाई की. इसमें से 47 मामले तो सिर्फ राजस्व विभाग से हैं. इसके पीछे लोकायुक्त पुलिस का मानना है कि, राजस्व संबंधी मामलों में फरियादी को ज्यादा परेशान होना पड़ता है. उस काम को आसानी से करा देने के बदले राजस्व कर्मचारी रिश्वत लेने में कामयाब हो जाते हैं. इसके अलावा पंचायत विभाग, लोक निर्माण विभाग, तहसील कार्यालय, स्कूल शिक्षा और वन विभाग सहित कई विभागों के सरकारी कर्मचारियों के भ्रष्टाचार के मामलों में संलिप्तता पाई गई.
कार्रवाई के मामले में रीवा सबसे अव्वल
लोकायुक्त एसपी, गोपाल सिंह धाकड़ ने ईटीवी भारत से बात करते हुए लोकायुक्त द्वारा की गई कार्रवाईयों के बारे में कई जानकारी दी. उन्होंने बताया कि, "साल 2022, 2023 और 2024 में अब तक रीवा लोकायुक्त ने पूरे विंध्य संभाग में 170 मामलों में कार्रवाई की है. इनमें 2022 में 63 मामले और 2023 में 66 केस में लोकायुक्त पुलिस ने एक्शन लिया था. इसमें सबसे ज्यादा मामले राजस्व विभाग के हैं. सबसे ज्यादा कार्रवाई रीवा जिले में की गई. इसके बाद दूसरे नंबर पर सतना और तीसरे नंबर पर सीधी है. सबसे कम मामले उमरिया और अनूपपुर में आए."
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शिकायत में आई है कमी
लोकायुक्त एसपी गोपाल सिंह धाकड़ ने बताया कि, "इस साल शिकायतों की संख्या घटी है. कुछ लोग शिकायत लेकर आते हैं लेकिन उनकी शिकायत सही नहीं पाई जाती जिस वजह से कार्रवाई नहीं होती." उन्होंने कहा कि, "लोकायुक्त की कार्रवाई की खबरें मीडिया में आने से अधिकारियों के अन्दर डर हो गया है कि अगर रिश्वत लेंगे तो पकड़े जाएंगे. इस वजह से इस साल मामले में कुछ कमी आई है." बड़ी कार्रवाई के बारे में पूछने पर उन्होंने बताया कि, "इसमें सबसे बड़ा एक्शन उमरिया में हुआ था. उमरिया जिला आबकारी अधिकारी को 1 लाख 20 हजार रुपयों के भ्रष्टाचार के मामले में पकड़ा गया था. इसके अलावा मैहर में सीएओ को 1 लाख रुपये की रिश्वत मामले में पकड़ा गया था."