गोरखपुर : मदन मोहन मालवीय प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय (MMMUT) के 1996 बैच (कंप्यूटर साइंस) के पुरा छात्र और वर्तमान में आईआईटी बीएचयू के कंप्यूटर साइंस विभाग के प्रो. राजीव श्रीवास्तव को भारतीय सूचना प्रौद्योगिकी संस्थान रांची का निदेशक नियुक्त किया गया है. शिक्षा मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा उनकी नियुक्ति कार्यभार ग्रहण करने की तिथि से पांच वर्ष के लिए की गई है.
मूल रूप से जौनपुर के निवासी प्रो. राजीव श्रीवास्तव ने वर्ष 1996 में मदन मोहन मालवीय इंजीनियरिंग कॉलेज से कंप्यूटर साइंस में बैचलर ऑफ इंजीनियरिंग की उपाधि हासिल की. उसके बाद उन्होंने दिल्ली कॉलेज ऑफ इंजीनियरिंग से कंप्यूटर प्रौद्योगिकी एवं अनुप्रयोग में एमई और दिल्ली विश्वविद्यालय के प्रौद्योगिकी संकाय से कंप्यूटर इंजीनियरिंग में पीएचडी की उपाधि प्राप्त की.
मदन मोहन मालवीय प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय की तरफ से अपने पूर्व छात्र की उपलब्धि पर जारी एक विज्ञप्ति के माध्यम से यह बताया गया है कि वर्ष 2007 में आईआईटी बीएचयू के कंप्यूटर साइंस विभाग में सह प्रोफेसर के रूप में नियुक्ति से पूर्व प्रो. श्रीवास्तव ने नेताजी सुभाष प्रौद्योगिकी संस्थान, नई दिल्ली एवं जीबी पंत इंजीनियरिंग कॉलेज, पौड़ी गढ़वाल में सहायक आचार्य के रूप में भी शिक्षण कार्य किया है. आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, मशीन लर्निंग, इमेज प्रोसेसिंग, डीप लर्निंग आदि प्रो. श्रीवास्तव की विशेषज्ञता के क्षेत्र हैं.
प्रो. श्रीवास्तव द्वारा 100 से अधिक शोध पत्र, 4 संदर्भ ग्रंथ एवं 20 पुस्तक अध्याय प्रकाशित किए गए हैं. प्रो. श्रीवास्तव के नाम से 4 पेटेंट भी प्रकाशित हैं. बीएचयू में अपने कार्यकाल के दौरान प्रो. श्रीवास्तव द्वारा विभागाध्यक्ष, संकायाध्यक्ष सहित अन्य प्रशासनिक दायित्वों का बखूबी निर्वहन किया गया है. प्रो. श्रीवास्तव विभिन्न ख्याति प्राप्त पेशेवर संगठनों जैसे इंस्टीट्यूशन ऑफ इंजीनियर्स (इंडिया), इंस्टीट्यूशन ऑफ इलेक्ट्रॉनिक्स एंड टेलीकम्युनिकेशन इंजीनियर्स के फेलो रहे हैं.
प्रो. श्रीवास्तव ने शिक्षा मंत्रालय, भारत सरकार तथा रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन द्वारा सहायतित शोध परियोजनाओं पर कार्य किया है. वह विभिन्न प्रतिष्ठित संस्थाओं जिसमें यूजीसी, संघ लोक सेवा आयोग, राष्ट्रीय प्रत्यायन बोर्ड, रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन के विशेषज्ञ पैनल के सदस्य भी रहे हैं. प्रो. श्रीवास्तव के आईआईआईटी, रांची के निदेशक के रूप में नियुक्त होने पर विश्वविद्यालय के शिक्षकों सहित पूर्व छात्रों द्वारा बधाई दी गई है.