जयपुर : राजस्थान में सात सीटों पर उपचुनाव के नतीजे आ चुके हैं, लेकिन चुनावी गहमा-गहमी में दिए बयानों की तपिश अभी ठंडी पड़ती नहीं दिख रही है. राजस्थान में हालांकि, मौसम में सर्दी का अहसास होने लगा है, लेकिन खींवसर सीट पर उपचुनाव के प्रचार के दौरान खुलकर सामने आई मूंछ की लड़ाई की तपन अब जयपुर से लेकर सुदूर बाड़मेर के धोरों तक महसूस की जा रही है. अब यह भी देखना दिलचस्प होगा कि आगे मूंछ पर शुरू हुई यह सियासत किस मोड़ तक जाती है.
मंत्री के बयान पर समर्थकों ने बजाई तालियां : दरअसल, उपचुनाव में खींवसर सीट पर प्रचार के दौरान सरकार के कैबिनेट मंत्री गजेंद्र सिंह खींवसर ने यह बयान देकर सबको चौंका दिया था कि अगर भाजपा खींवसर सीट पर हारी तो वे अपने बाल और मूंछ कटवा लेंगे. उनके इस बयान पर समर्थकों ने खूब तालियां बजाई थी.
इसे भी पढ़ें - खींवसर में भाजपा की जीत के बाद सिविल लाइंस में लगे मूंछों की होर्डिंग, मंत्री गजेंद्र सिंह बोले- मर्द तो यही बोलेगा...
जीत के बाद भाजपा खेमे में उत्साह : अब 23 नवंबर को आए नतीजों में खींवसर से भाजपा प्रत्याशी रेवंतराम डांगा ने राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के सुप्रीमो हनुमान बेनीवाल की पत्नी कनिका बेनीवाल को 12 हजार से ज्यादा वोट से हराया तो रेवंतराम डांगा के साथ ही मंत्री गजेंद्र सिंह खींवसर और उनके समर्थक भी उत्साह से लबरेज हैं. खींवसर हनुमान बेनीवाल की परंपरागत सीट है. साल 2008 से वे लगातार इस सीट से जीत रहे थे. साल 2019 में सांसद बने तो भाई नारायण बेनीवाल को चुनाव लड़वाया और वे जीतकर विधायक बने.
चुनाव एक लोकतांत्रिक प्रक्रिया है जो आमजन के मुद्दों, विचारधारा व भविष्य निर्माण की लड़ाई है।
— Harish Chaudhary (@Barmer_Harish) November 25, 2024
लेकिन दुर्भाग्य से पिछले कुछ सालों से इसे व्यक्तिगत प्रतिष्ठा से जोड़कर सभ्य समाज में विवादों को जन्म दिया जा रहा है।
हार जीत चुनाव के दो पहलू हैं इसमें इस तरह की बातें करना छोटी सोच… https://t.co/E7bZT7SXwY
मंत्री के बंगले के पास लगे मूंछ वाले पोस्टर : इस बीच जयपुर में सिविल लाइंस में मूंछ के बड़े-बड़े पोस्टर दिखने लगे. हालांकि, जहां ये पोस्टर लगे हैं, उसके पास ही मंत्री गजेंद्र सिंह खींवसर का बंगला है. इसके फोटो सोशल मीडिया पर वायरल हुए तो पूर्व मंत्री व बायतु विधायक हरीश चौधरी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर नसीहत देने के अंदाज में बयान जारी किया. उन्होंने कहा कि चुनाव को व्यक्तिगत प्रतिष्ठा से जोड़कर सभ्य समाज में विवाद को जन्म दिया जा रहा है.
इसे भी पढ़ें - उपचुनाव फतह का अब मंत्रिमंडल और संगठन में भी दिख सकता है असर, परिणाम ने बढ़ाया सीएम का सियासी मान
हरीश चौधरी बोले- चुनाव को प्रतिष्ठा से जोड़न ठीक नहीं: हरीश चौधरी ने अपने पोस्ट में लिखा कि चुनाव एक लोकतांत्रिक प्रक्रिया है, जो आमजन के मुद्दों, विचारधारा व भविष्य निर्माण की लड़ाई है. दुर्भाग्य से पिछले कुछ सालों से इसे व्यक्तिगत प्रतिष्ठा से जोड़कर सभ्य समाज में विवादों को जन्म दिया जा रहा है. हार जीत चुनाव के दो पहलू हैं इसमें इस तरह की बातें करना छोटी सोच को दर्शाता है.
वहीं, खींवसर में जीत दर्ज करने के बाद रेवंतराम डांगा से जब मंत्री गजेंद्र सिंह के मूंछ वाले बयान पर सवाल किया गया तो उन्होंने कहा कि वहां गजेंद्र सिंह खींवसर हमारे मुखिया हैं. उनका दायित्व है कि सीट निकले और खींवसर की जनता की सरकार में भागीदारी हो. यह उनकी जनता को भोळावण थी कि मजबूती के साथ डटकर भाजपा को जीत दिलवानी है.