इंदौर। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने 140 करोड़ देशवासियों के नाम पत्र लिखकर अपने 10 साल के कार्यकाल की उपलब्धियां बताई हैं. पत्र में उन्होंने ना तो राम मंदिर का जिक्र किया है और ना ही नागरिकता संशोधन बिल यानि सीएए का. अब इसको लेकर राजनीति शुरू हो गई है. जहां कांग्रेस ने इस पत्र को कई तरह के सवाल खड़े किए हैं तो वहीं, बीजेपी पीएम के इस पत्र का प्रचार करने में जुटी है. बीजेपी का कहना है कि पीएम मोदी दुनिया के सबसे लोकप्रिय नेता हैं.
कांग्रेस ने पीएम के पत्र को लेकर बीजेपी को घेरा
गौरतलब है कि 15 मार्च को देशवासियों को संबोधित करते हुए पीएम नरेंद्र मोदी ने एक पत्र जारी किया है. पत्र में पीएम ने केंद्र सरकार की योजनाओं और विकास का ब्यौरा दिया है. लेकिन पत्र में राम मंदिर का जिक्र नहीं है. इसके अलावा कई अन्य मुद्दों का कोई जिक्र है. इस बारे में कांग्रेस का कहना है कि बीजेपी राम मंदिर व सीएए के मुद्दों के माध्यम से हिंदू वोटों का ध्रुवीकरण पहले ही कर चुकी है. उन्होंने तीन तलाक का जिक्र भी किया है. कांग्रेस प्रवक्ता राकेश सिंह यादव का कहना है कि इसका साफ मतलब है कि वह अब दूसरे धर्म के लोगों को अपनी ओर आकर्षित करना चाहते हैं. यह एक राजनीतिक चाल है.
बीजेपी नेताओं ने पीएम मोदी के पत्र को सराहा
वहीं, बीजेपी नेताओं का कहना है कि दोनों मुद्दे भारत के अस्मिता, संस्कृति और गौरव गाथा के हैं. इसका बार-बार जिक्र करने की आवश्यकता पीएम ने नहीं समझी. पीएम ने अपने पत्र में विकास, जन कल्याण, गरीब कल्याण, सामाजिक सरोकार और सरकार की परफॉर्मेंस का जिक्र किया है. बीजेपी प्रवक्ता गोविंद मालू का कहना है कि हमने कोई राजनीतिक बात नहीं की. पीएम ने देश के हरेक वर्ग के लिए काम किया है. गौरतलब है कि ये पत्र विकसित भारत संपर्क केंद्र द्वारा देशभर के लोगों को व्हाट्सएप के माध्यम से भेजा गया है.