चंडीगढ़: एक तरफ हरियाणा कांग्रेस अपने नेताओं की नाराजगी से दो चार हो रही है. वहीं, हरियाणा कांग्रेस में पूर्व सीएम भूपेंद्र सिंह हुड्डा मजबूत होते जा रहे हैं. इसी कड़ी में सोमवार को जननायक जनता पार्टी के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष निशान सिंह और जेजेपी के कई नेता पूर्व सीएम भूपेंद्र हुड्डा, प्रदेश अध्यक्ष उदय भान, पंजाब की पूर्व सीएम राजिंदर कौर भट्ठल और राज्यसभा सांसद दीपेंद्र हुड्डा की मौजूदगी में पार्टी में शामिल हुए.
कांग्रेस में शामिल होने पर नेताओं की तारीफ: इस मौके पर जेजेपी से कांग्रेस में शामिल हुए निशान सिंह ने पूर्व सीएम भूपेंद्र सिंह हुड्डा और उनके बेटे दीपेंद्र हुड्डा और उदयभान की जमकर तारीफ की. जो यह बताने के लिए काफी है कि हरियाणा कांग्रेस में भूपेंद्र सिंह हुड्डा के अलावा भी कोई और नेता नहीं जिसके दम पर पार्टी हरियाणा में लोकसभा और विधानसभा चुनाव जीतने की उम्मीद करती हो.
दीपेंद्र हुड्डा के साथ खुश नजर आए नेता: इस मौके पर जिस तरह का पार्टी में शामिल होने वाले नेताओं में पूर्व सीएम भूपेंद्र सिंह हुड्डा को लेकर क्रेज दिखा उससे भी ज्यादा उनके बेटे दीपेंद्र हुड्डा को लेकर नजर आया. पार्टी में शामिल होने वाला हर नेता और कार्यकर्ता उनके साथ सेल्फी खिंचवाने के लिए आतुर दिखा. इससे पार्टी में जॉइनिंग के इस कार्यक्रम में कुछ समय के लिए अव्यवस्था का आलम भी रहा.'
'निशान सिंह के आने से पार्टी को मिलेगा बल': इस दौरान राज्यसभा सांसद दीपेंद्र हुड्डा ने कहा कि 'हमारा परिवार बढ़ा है. पिछले 40 दिनों में पूर्व विधायक और अन्य नेता कांग्रेस में शामिल हुए हैं. सरदार निशान सिंह से कहना चाहूंगा कि आपने पिछली पार्टी में जिम्मेदारी निभाई. लेकिन पार्टी की कुछ बातों की वजह से आप आज कांग्रेस में आए हैं. आपके आने से कांग्रेस को और बल मिलेगा'.
बीजेपी पर बरसे उदय भान: चौधरी उदयभान ने कहा कि 'आज आप सब संघर्ष के समय में कांग्रेस के साथी बने हैं. आज कुछ लोग भारत के संविधान को बदलने की चाह रखते हैं. हमें इस सरकार को देश और प्रदेश से बाहर निकाल कर फेंकना है. ये लोग अपने काम के नाम पर नहीं बल्कि धर्म और जाति के नाम पर वोट मांगते हैं. आज इन लोगों को गांव में घुसने नहीं दिया जा रहा है. लोग इनसे पुछते हैं कि हरियाणा बेरोजगारी, मंहगाई, अपराध में नंबर एक क्यों है'.
बीजेपी पर भूपेंद्र हुड्डा: पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने कहा कि 'ये बात साफ है कि आज कांग्रेस और गठबंधन को जो समर्थन मिल रहा है उससे साफ है कि हरियाणा में सरकार तो कांग्रेस की बनेगी. आज देश में संविधान पर प्रश्नचिन्ह लगाया जा रहा है. जहां तक हरियाणा का सवाल है तो हरियाणा कभी नौकरियों में, खेती में, और खेलों में नंबर एक था. आज हरियाणा अपराध, बेरोजगारी और भ्रष्टाचार में नंबर एक बन गया है'.
टिकट न मिलने पर छलका नेताओं का दर्द: एक तरफ हुड्डा के नेतृत्व में पार्टी में नेता शामिल हो रहे हैं. वहीं लोकसभा चुनाव के लिए चौधरी बीरेंद्र सिंह के बेटे और किरण चौधरी की बेटी को टिकट न मिलने से इनका दर्द मीडिया में छलक रहा है. चौधरी बीरेंद्र सिंह बेटे को टिकट न मिलने के लिए हरियाणा के नेताओं को जिम्मेदार बता रहे हैं. तो वहीं ऐसा ही कुछ हाल किरण चौधरी का है जो खुलकर पार्टी के खिलाफ तो कुछ नहीं कह पा रही हैं. लेकिन बेटी को टिकट न मिलने का दर्द उनके बयानों से साफ छलक रहा है.
करण दलाल ने भी की महापंचायत: इस सबके बीच फरीदाबाद से लोकसभा टिकट न मिलने का दर्द करण दलाल का भी सामने आया है. कांग्रेस नेता करण दलाल ने फरीदाबाद में महापंचायत का आयोजन किया. उन्होंने कहा कि उन्हें उम्मीद थी कि पार्टी उन्हें टिकट देगी. लेकिन पार्टी ने उन्हें टिकट नहीं दी. चुनाव लड़ने को लेकर कहा कि इसके लिए कमेटी गठन किया गया है. कमेटी का जो भी फैसला होगा, उसी के आधार पर घोषणा होगी. हालांकि कांग्रेस पार्टी के नेताओं की लोकसभा चुनाव की टिकट न मिलने को लेकर चल रही नाराजगी जगजाहिर है. वहीं, जब पार्टी के इन नेताओं की नाराजगी खासतौर पर चौधरी बीरेंद्र सिंह को लेकर उन्होंने कहा कि टिकट तो एक को ही मिलना था. कोई नाराजगी नहीं है.
क्या कहते हैं एक्सपर्ट: इधर निशान सिंह और कई अन्य नेताओं की कांग्रेस में एंट्री होने पर राजनीतिक मामलों के जानकार धीरेंद्र अवस्थी कहते हैं कि इससे निश्चित तौर पर पार्टी को फायदा होगा. वे कहते हैं कि राजनीति परसेप्शन का खेल है. जब किसी पार्टी में कोई अन्य दल का नेता शामिल होता है तो इससे एक धारणा तो बनती ही है कि उस पार्टी का आने वाले चुनाव में असर देखने को मिल सकता है. वे यह भी कहते हैं कि इन नेताओं के पार्टी में आने से हरियाणा कांग्रेस पर हुड्डा की पकड़ और मजबूत हुई है.
वहीं, पार्टी नेताओं की नाराजगी को लेकर वे कहते हैं कि भले की कुछ नेता लोकसभा चुनाव में टिकट न मिलने से नाराज हो, लेकिन वे खुलकर कुछ भी कहा की स्थिति में नहीं है. इसकी वजह यह भी है कि जो सरकार के खिलाफ एक माहौल बना हुआ दिखाई देता है. उसमें वे अगर खुलकर विरोध करते हैं, तो उन्हें अपने नुकसान का भी डर है. ऐसे में वे चाहकर भी कुछ करने की स्थिति में नहीं है.
निशान सिंह के कांग्रेस में शामिल होने पर क्या कहते हैं विशेषज्ञ: निशान सिंह के कांग्रेस में शामिल होने पर वरिष्ठ पत्रकार राजेश मोदगिल कहते हैं कि जब किसी पार्टी में कोई नेता शामिल होता है तो उसका कुछ न कुछ लाभ तो होता ही है. हरियाणा के कुछ क्षेत्रों में कांग्रेस इसका फायदा उठा सकती है. वहीं वे कहते हैं कि हुड्डा की अगुवाई में यह नेता पार्टी में शामिल हो रहे हैं तो उससे उनको मजबूती मिल रही है. जिससे कहीं न कहीं उनका विरोधी खेमा भी परेशान है. वहीं निशान सिंह के कांग्रेस में शामिल होने को वे जेजेपी का सबसे बड़ा नुकसान मानते हैं.
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